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जयपुर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा का उद्घाटन गत 15 मार्च को पूज्य सरसंघचालक श्री मोहनराव भागवत एवं सरकार्यवाह श्री भैयाजी जोशी द्वारा भारतमाता के चित्र के सम्मुख दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। उद्घाटन सत्र के पश्चात संवाददाताओं को सम्बोधित करते हुए सह-सरकार्यवाह श्री दत्तात्रेय होसबले ने कहा कि अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा में 1395 प्रतिनिधि अपेक्षित हैं, सभा में संघ के गत वर्ष के कार्य की समीक्षा संख्यात्मक, गुणात्मक तथा प्रभावात्मक आधार पर की जाएगी तथा आगामी लक्ष्य निर्धारित किये जाएंगे। उन्होंने बताया की विविध क्षेत्र में किये जा रहे कार्यों का लेखा-जोखा भी प्रस्तुत किया जाएगा।
श्री होसबले ने बताया की गत वर्ष फिन्स (फोरम फार इन्टीग्रेटिड नेशनल सिक्योरिटी) द्वारा आयोजित 'सरहद को प्रणाम' कार्यक्रम में देश के सुदूर क्षेत्रों के 6000 स्वयंसेवकों ने देश की सीमओं पर जाकर प्रत्यक्ष अनुभव किया कि विपरीत परिस्थितियों में सैनिक किस प्रकार देश की रक्षा करते हैं, सीमावर्ती गांवों के नागरिक किन परेशानियों का सामना करते हैं।
उन्होंने इस वर्ष स्वामी विवेकानन्द की 150 वीं जयंती पर गठित सार्द्ध शती समारोह समिति द्वारा देशभर में किए जाने वाले कार्यक्रमों की चर्चा करते हुए बताया कि 12 जनवरी, 2013 को विवेकानन्द जी के जन्मदिवस पर शोभायात्रा के कार्यक्रमों में लाखो की संख्या में सभी आयु वर्ग व जाति-बिरादरी के लोगों का सहभाग रहा। इससे समाज में भारतीयता और हिन्दुत्व का भाव प्रकट हुआ। 18 फरवरी, 2013 को सामूहिक सूर्य नमस्कार में लगभग 2.5 करोड़ विद्यार्थियांे ने भाग लिया, जिसमें मुस्लिम व ईसाई विद्यार्थी भी शामिल थे।
प्रतिनिधि सभा में पारित होने वाले प्रस्ताव की जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि भारत के विभाजन के 60 वर्ष पश्चात आज भी पश्चिमी पाकिस्तान व पूर्वी पाकिस्तान (वर्तमान में बंगलादेश) से लाखों की संख्या में हिन्दू प्रताड़ित होकर भारत में शरण ले रहे हैं। उनके जीवन के लिए आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराने की दृष्टि से सरकार को ठोस नीति बनानी चाहिए।
देश की वर्तमान आर्थिक स्थिति, सुरक्षा, आतंकवाद, तुष्टीकरण व नदियों की स्वच्छता, एकात्मता व पर्यावरण आदि विषयों पर भी बैठक में चिंतन-मंथन किया जाएगा। उन्होंने देश में नारी उत्पीड़न की बढ़ती घटनाओं पर चिन्ता व्यक्त करते हुए इसे अत्यन्त दु:खद बताया।
अफजल गुरु का शव उसके परिजनों को सौंपे जाने के लिए पाकिस्तान की संसद में पारित प्रस्ताव की कड़े शब्दों में भर्त्सना करते हुए संघ का कहना है कि यह भारत के आंतरिक मामलों और भारत की सम्प्रभुता और सार्वभौमिकता पर सीधा हस्तक्षेप है। एक तरफ तो पाकिस्तान मुंबई की आतंकी घटनाओं में शामिल अजमल कसाब और अन्य पाकिस्तानी आतंकवादियों के शवों को लेने से मना करता है, दूसरी ओर अफजल गुरु के मामले में हस्तक्षेप करता है, इससे पाकिस्तान का दोहरा चरित्र सामने आया है।
राम मंदिर निर्माण के बारे में पूछे गए सवाल के जवाब में श्री होसबले ने कहा कि देशभर के संतों-महात्माओं और धर्माचार्यों ने प्रयाग महाकुंभ में आयोजित संत सम्मेलन में मंदिर निर्माण का संकल्प दोहराया है। इलाहाबाद उच्च न्यायालय के निर्णय के बाद यह सिद्ध हो गया है कि वहां मंदिर था। ऐसे में सरकार को संसद में कानून बनाकर मंदिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त करना चाहिए।
प्रतिनिधि सभा के उद्घाटन से एक दिन पूर्व 14 मार्च को अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख श्री मनमोहन वैद्य ने बताया कि प्रतिनिधि सभा में संघ के 41 प्रांतो के प्रांत प्रचारक, प्रांत संघचालक, प्रांत कार्यवाह, प्रमुख पदाधिकारी, विभाग प्रचारक और संघ के विविध संगठनों के प्रमुख पदाधिकारियों के अलावा पूरे देश से निर्वाचित 425 प्रतिनिधि शामिल हो रहे हैं। प्रतिनिधि सभा की पूर्व संध्या पर अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल की बैठक हुई जिसमें 350 प्रतिनिधियों ने भाग लिया।
देश में 28,788 स्थानों पर 42,981 शाखाएँ 9,557 स्थानों पर साप्ताहिक मिलन 7,178 स्थानों पर संघ मंडली
गत वर्ष (2012-13) में देशभर में 50 स्थानों पर 52 संघ शिक्षा वर्ग संपन्न हुए। प्रथम वर्ष में 7,408 स्थानों से 12,549 शिक्षार्थी, द्वितीय वर्ष में 2,320 स्थानों से 3,063 शिक्षार्थी तथा तृतीय वर्ष के प्रशिक्षण हेतु 923 स्थानों से 1,003 शिक्षार्थी सहभागी हुए। 2012-13 में सामान्य वर्गों के समान ही प्रथम वर्ष तथा द्वितीय वर्ष के विशेष वर्ग भी संपन्न हुए। प्रथम वर्ष में 895 स्थानों से 1,218 शिक्षार्थी तथा द्वितीय वर्ष में 621 स्थानों से 768 शिक्षार्थी सहभागी हुए। वर्तमान में देश में 28,788 स्थानों पर 42,981 शाखाएं चल रही है। 9,557 स्थानों पर साप्ताहिक मिलन तथा 7,178 स्थानों पर संघ मंडली के रूप में कार्य चल रहा है।
विशेष प्रयोग
इस वर्ष शारीरिक विभाग ने सभी शाखाओं के लिए प्रहार यज्ञ कार्यक्रम दिया था। 15,924 शाखाओं में प्रहार यज्ञ का आयोजन हुआ जिसमें 1,66,959 स्वयंसेवकों ने भाग लेकर कुल 5,71,76,520 प्रहार लगाए। 1000 एवं उससे अधिक प्रहार लगाने वाले स्वयंसेवकों की संख्या 18,421 है।
बौद्धिक विभाग ने इस वर्ष भी चयनित 78 तरुण कार्यकर्ताओं का विशेष प्रशिक्षण वर्ग भोपाल में आयोजित किया। 40 कार्यकर्ताओं द्वारा विषय प्रस्तुति हुई।
प्रचार विभाग ने प्रान्तों में पत्र लेखन प्रशिक्षण का आयोजन किया गया। परिणामत: समाचार पत्रों में प्रतिक्रिया देने का प्रमाण बढ़ा है। टी.वी. चैनल्स पर होने वाली चर्चाओं में सहभागी हो सकें इस दृष्टि से प्रान्तों में कार्यशालाओं का आयोजन हुआ। विश्व संवाद केन्द्रों द्वारा आयोजित नारद जयंती पर 72 स्थानों पर 182 पत्रकारों को सम्मानित किया गया। देशभर में 31 जागरण पत्रिकाओं द्वारा देश के 1.7 लाख ग्रामों तक विभिन्न जानकारी एवं राष्ट्रीय विचार पहुंचाने का कार्य हो रहा है।
पुण्य स्मरण
राष्ट्र जीवन को समर्पित उन पुण्य आत्माओं को श्रद्धाञ्जलि जो गत 1 वर्ष में हमसे विदा ले गए–
श्री श्रीकांत जोशी, श्री सुरेन्द्र सिंह चौहान, श्री बापूसाहेब केंदुरकर, श्री नाना जोशी, श्री भैयाजी गाडे, श्री नाना लाभे, श्री शरदराव चौथाईवाले, सद्गुरु जगजीत सिंह नामधारी, पूज्यपाद बाल गंगाधरनाथ स्वामी, श्री कैलाशपति मिश्र जी, श्री देवकीनंदन माथुर जी, श्री सुधीर जी दवंडे, प्रो. एस. आर. राव, श्री बालासाहेब ठाकरे, पं. रविशंकर, श्री ठाकुरदास बंग, श्री इंद्रकुमार गुजराल, श्री जेकॉम रीबा, श्री इंद्रवदन मोदी, श्रीमती जशुबहन शिल्पी, श्री देवप्रसाद बरुआ, श्री सीताराम सूतिया, प्रयाग में संपन्न पावन कुंभ मे मृत्यु के ग्रास बने भक्त, विभिन्न आतंकवादी घटनाओं के शिकार बने निर्दोष जन, कश्मीर सीमा पर शहीद होने वाले सीमा सुरक्षा बल के दो बहादुर जवान सदा ही हमारी स्मृति में रहेंगे। दिल्ली सहित अन्य स्थानों पर महिलाओं के उत्पीड़न और उसके पश्चात् हुईं हत्या की घटनाएं अत्यंत व्यथित करने वाली रही हैं।
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