मन्दिरों की जमीनें, सेकुलरों के कब्जे!
December 4, 2023
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
Panchjanya
  • ‌
  • भारत
  • विश्व
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • बिजनेस
  • अधिक ⋮
    • राज्य
    • वेब स्टोरी
    • Vocal4Local
    • विश्लेषण
    • मत अभिमत
    • रक्षा
    • संस्कृति
    • विज्ञान और तकनीक
    • खेल
    • मनोरंजन
    • शिक्षा
    • साक्षात्कार
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • लव जिहाद
    • ऑटो
    • जीवनशैली
    • पर्यावरण
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • जनजातीय नायक
SUBSCRIBE
No Result
View All Result
  • ‌
  • भारत
  • विश्व
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • बिजनेस
  • अधिक ⋮
    • राज्य
    • वेब स्टोरी
    • Vocal4Local
    • विश्लेषण
    • मत अभिमत
    • रक्षा
    • संस्कृति
    • विज्ञान और तकनीक
    • खेल
    • मनोरंजन
    • शिक्षा
    • साक्षात्कार
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • लव जिहाद
    • ऑटो
    • जीवनशैली
    • पर्यावरण
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • जनजातीय नायक
No Result
View All Result
Panchjanya
  • होम
  • भारत
  • विश्व
  • सम्पादकीय
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • संस्कृति
  • संघ
  • पत्रिका
  • वेब स्टोरी
  • My States
  • Vocal4Local
होम Archive

मन्दिरों की जमीनें, सेकुलरों के कब्जे!

by
Dec 7, 2015, 12:00 am IST
in Archive
FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

दिंनाक: 07 Dec 2015 12:37:29

 

केरल उच्च न्यायालय द्वारा पिछले दिनों राज्य सरकार को मालाबार देवासम बोर्ड की कब्जाई भूमि खाली कराने के आदेश दिए थे। देवासम बोर्ड मंदिरों का परिचालन करता है, लेकिन अदालती आदेश के बावजूद बोर्ड ने मंदिरों की जमीनें सेकुलर कब्जों से खाली नहीं करार्इं, बल्कि कब्जे और बढ़ गए हैं। उत्तरी केरल में मंदिरों की करीब 25 हजार एकड़ भूमि पर मालाबार परिक्षेत्र में कुछ संस्थाओं और व्यक्तियों ने अतिक्रमण कर रखा है। हाल ही में केरल उच्च न्यायालय ने इस भूमि से अतिक्रमण हटाकर खाली करवाने के लिए आयोग का गठन किया था। इस आदेश की हिन्दू संगठनों ने काफी प्रशंसा भी की थी। हिन्दू एक्य वेदी संगठन के महासचिव कुम्मनम राजशेखरन ने कहा कि केरल सरकार को उच्च न्यायालय के आदेश का पालन करते हुए अतिक्रमण हटाना चाहिए क्योंकि केरल सरकार वर्षों से मामले की अनदेखी करती आ रही है जिस कारण उच्च न्यायालय को यह आदेश जारी करना पड़ा। साथ ही राजस्व विभाग को चाहिए कि वह अतिक्रमण की गई भूमि को चिह्नित कर खाली करवाकर उसका सीमांकन करे। इसके बाद ही इस भूमि को पट्टे पर दिया जाना चाहिए। न्यायालय के आदेश पर राजस्व सचिव के. आर. ज्योतिलाल ने 12 सितम्बर, 2014 को मंदिर की भूमि खाली करवाने का आदेश दिया गया था जिसकी पूरी तरह से अनदेखी की गई है। सूत्रों की मानें तो जिलाधिकारी को नोटिस जारी कर मंदिर की भूमि को भूमि सुधार अधिनियम 1957 के तहत खाली करवाने का आदेश दिया था। अतिक्रमण की हुई भूमि को 15 दिनों में मुक्त कराने के बाद कब्जा करने वालों से भूमि की कीमत का तीन गुना जुर्माना वसूल करना था। यह आदेश जिलाधिकारी के माध्यम से उप जिलाधिकारी और तहसीलदार को भी दिया गया था। इस आदेश की एक प्रति देवासम बोर्ड के आयुक्त को भेजी गई थी। हैरानी की बात यह है कि केरल उच्च न्यायालय द्वारा एक वर्ष पूर्व जारी किए आदेश पर अभी तक कार्रवाई नहीं की गई। हाल ही में न्यायालय ने एक सुनवाई के दौरान चोट्टनिकारा मंदिर की भूमि से अतिक्रमण हटाने का आदेश भी जारी किया, जो कि कोच्चि देवासम बोर्ड के अंतर्गत आता है। राज्य सरकार को इस पर की गई कार्रवाई की रपट तीन माह के भीतर न्यायालय में पेश करनी होगी। मालाबार में मंदिरों का संचालन मालाबार देवासम बोर्ड द्वारा किया जाता है जिसका गठन 2008 में हुआ था। बोर्ड को भूमि संबंधी सभी अधिकार प्राप्त हैं और यदि मंदिर की भूमि पर अतिक्रमण होता है तो रोकना सीधे-सीधे राज्य सरकार की जिम्मेदारी बनती है। मालाबार देवासम बोर्ड ने 2014 में केरल उच्च न्यायालय में शपथपत्र दाखिल किया था कि मंदिर की भूमि पर बार-बार हो अतिक्रमण के लिए राज्य सरकार जिम्मेदार है। स्वयं को फंसता देख सरकार न्यायालय में सारा ठीकरा राजस्व सचिव ज्योतिलाल पर फोड़ रही है कि उनके द्वारा नोटिस जारी किया गया था जिसके बाद मामले को दबा दिया गया। लेकिन हिन्दू संगठनों के बार-बार मंदिर की भूमि मुक्त करवाने की मांग पर प्रशासन ने पूरी तरह से चुप्पी साध रखी है। मंदिर की हजारों एकड़ भूमि पर इलाके के प्रभावशाली मुसलमान और ईसाइयों ने कब्जा कर रखा है, जिनके ऊपर सेकुलरदलों का हाथ बना हुआ है। इस तरह मंदिर की भूमि पर कब्जा करवाकर अल्पसंख्यकों को राज्य में बढ़ावा दिया जा रहा है। इससे साफ है कि राज्य सरकार और देवासम बोर्ड जानबूझकर पर्दे के पीछे रहकर तमाशा देखते हुए हिन्दू संगठनों की आंखों में धूल झोंक रहे हैं। यह लोकतांत्रिक व्यवस्था के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है कि किस तरह से न्यायालय के आदेश के बाद भी केरल की सेकुलर सरकार मंदिरों की अनदेखी कर रही है। लंबे समय से मालाबार देवासम बोर्ड और राज्य सरकार की मिलीभगत के चलते यह स्थिति बनी हुई है।    प्रदीप कृष्णन

ShareTweetSendShareSend

संबंधित समाचार

एक दिन में 18 GI प्रमाण पत्र प्राप्त करने वाला पहला राज्य बना उत्तराखण्ड

एक दिन में 18 GI प्रमाण पत्र प्राप्त करने वाला पहला राज्य बना उत्तराखण्ड

जानिये विदेशी विद्वानों की नजर में क्या है “गीता”, श्लोकों में छिपे हैं मैनेजमेंट के सूत्र

जानिये विदेशी विद्वानों की नजर में क्या है “गीता”, श्लोकों में छिपे हैं मैनेजमेंट के सूत्र

उत्तराखंड: कॉर्बेट प्रशासन ने दो बाघों को बेहोश कर पकड़ा, आबादी क्षेत्र में इंसानों पर हमलावर होने का था अंदेशा

उत्तराखंड: कॉर्बेट प्रशासन ने दो बाघों को बेहोश कर पकड़ा, आबादी क्षेत्र में इंसानों पर हमलावर होने का था अंदेशा

अमृतसर : बीजेपी नेता गुरमुख सिंह पर कार सवार हमलावरों ने की फायरिंग

अमृतसर : बीजेपी नेता गुरमुख सिंह पर कार सवार हमलावरों ने की फायरिंग

राजस्थान : चुनाव जीतते ही एक्शन में आए विधायक महंत बालमुकुंद, कहा- सड़क से तुरंत हटाओ नॉनवेज के ठेले

राजस्थान : चुनाव जीतते ही एक्शन में आए विधायक महंत बालमुकुंद, कहा- सड़क से तुरंत हटाओ नॉनवेज के ठेले

इमरान की गई कमान, बैरिस्टर गौहर खान बने पीटीआई के नए निजाम, पीटीआई का क्या होगा इंतजाम?

इमरान की गई कमान, बैरिस्टर गौहर खान बने पीटीआई के नए निजाम, पीटीआई का क्या होगा इंतजाम?

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

एक दिन में 18 GI प्रमाण पत्र प्राप्त करने वाला पहला राज्य बना उत्तराखण्ड

एक दिन में 18 GI प्रमाण पत्र प्राप्त करने वाला पहला राज्य बना उत्तराखण्ड

जानिये विदेशी विद्वानों की नजर में क्या है “गीता”, श्लोकों में छिपे हैं मैनेजमेंट के सूत्र

जानिये विदेशी विद्वानों की नजर में क्या है “गीता”, श्लोकों में छिपे हैं मैनेजमेंट के सूत्र

उत्तराखंड: कॉर्बेट प्रशासन ने दो बाघों को बेहोश कर पकड़ा, आबादी क्षेत्र में इंसानों पर हमलावर होने का था अंदेशा

उत्तराखंड: कॉर्बेट प्रशासन ने दो बाघों को बेहोश कर पकड़ा, आबादी क्षेत्र में इंसानों पर हमलावर होने का था अंदेशा

अमृतसर : बीजेपी नेता गुरमुख सिंह पर कार सवार हमलावरों ने की फायरिंग

अमृतसर : बीजेपी नेता गुरमुख सिंह पर कार सवार हमलावरों ने की फायरिंग

राजस्थान : चुनाव जीतते ही एक्शन में आए विधायक महंत बालमुकुंद, कहा- सड़क से तुरंत हटाओ नॉनवेज के ठेले

राजस्थान : चुनाव जीतते ही एक्शन में आए विधायक महंत बालमुकुंद, कहा- सड़क से तुरंत हटाओ नॉनवेज के ठेले

इमरान की गई कमान, बैरिस्टर गौहर खान बने पीटीआई के नए निजाम, पीटीआई का क्या होगा इंतजाम?

इमरान की गई कमान, बैरिस्टर गौहर खान बने पीटीआई के नए निजाम, पीटीआई का क्या होगा इंतजाम?

MP Assembly Election: केंद्रीय गृह मंत्री इंदौर में बूथ कार्यकर्ताओं को करेंगे संबोधित, जानें मिनट टू मिनट कार्यक्रम

‘इंद्रप्रस्थ नगर’ में होगा एबीवीपी का 69वां राष्ट्रीय अधिवेशन, अमित शाह करेंगे उद्घाटन, जुटेंगे 10 हजार विद्यार्थी

Mary milben praises BJP for 3 state election victory

3 राज्यों में बीजेपी की जीत से गदगद् अमेरिकी गायिका मैरी मिलबेन, कहा-‘ये 2024 में PM मोदी की प्रचंड जीत की झांकी’

दुविधा दूर करने के लिए पढ़ें गीता

दुविधा दूर करने के लिए पढ़ें गीता

‘‘हिंदू इतना समर्थ होगा कि कोई टेढ़ी आंख करके देख नहीं सकेगा’’- मिलिंद परांडे

‘‘हिंदू इतना समर्थ होगा कि कोई टेढ़ी आंख करके देख नहीं सकेगा’’- मिलिंद परांडे

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

No Result
View All Result
  • होम
  • भारत
  • विश्व
  • सम्पादकीय
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • संघ
  • राज्य
  • रक्षा
  • संस्कृति
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • बिजनेस
  • विज्ञान और तकनीक
  • खेल
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • साक्षात्कार
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • जीवनशैली
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • संविधान
  • पर्यावरण
  • ऑटो
  • लव जिहाद
  • श्रद्धांजलि
  • बोली में बुलेटिन
  • Web Stories
  • पॉडकास्ट
  • Vocal4Local
  • पत्रिका
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies