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आरोग्य मित्र निर्माण की योजनाचिकित्सा क्षेत्र में कार्यरत संस्था आरोग्य भारती के अखिल भारतीय प्रतिनिधिमण्डल की दो दिवसीय बैठक विगत दिनों हैदराबाद (आंध्र प्रदेश) स्थित राष्ट्रीय विद्या केन्द्र के परिसर में सम्पन्न हुई।बैठक का विधिवत् उद्घाटन कार्यक्रम के मुख्य अतिथियों- डा. ए.पी. रंगाराव एवं डा. विजयालक्ष्मी देशमाने द्वारा दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया। इस अवसर पर रा.स्व.संघ के अखिल भारतीय सेवा प्रमुख श्री सीताराम केदिलाय विशेष रूप से उपस्थित थे। आरोग्य भारती के अ.भा. सचिव श्री मधुसूदन देशपांडे ने कार्यक्रम के अतिथियों का परिचय कराते हुए आरोग्य भारती के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि विगत 40-50 वर्ष में आरोग्य के क्षेत्र में हुए कार्य एवं चिंतन के आधार पर आरोग्य भारती का जन्म हुआ। वर्ष 2002 में धन्वंतरी जयंती पर इसकी स्थापना हुई। श्री देशपांडे ने कहा कि स्वस्थ व्यक्ति के स्वास्थ्य का रक्षण एवं संवर्धन तथा रुग्ण के रोग का निवारण हमारा भारतीय चिंतन रहा है। लेकिन हमारे देश में स्वास्थ्य सेवाएं केवल रुग्ण चिकित्सा तक ही सीमित रह गई हैं, वह भी अस्पताल एवं डाक्टर केन्द्रित होकर रह गई हैं। हमें उसे पुन: परिवार केन्द्रित बनाकर परिवार की मां के हाथ सौंपना है। “दादी मां का बटुआ” जैसी विकेन्द्रित व्यवस्था निर्माण करनी है, तभी हर ग्राम स्वस्थ होगा।आरोग्य भारती के कार्यकारी अध्यक्ष डा. राघवेन्द्र कुलकर्णी ने कहा कि हम सभी अपने प्रयास से आरोग्य मित्र का निर्माण करेंगे। आरोग्य मित्र का चयन कर तथा उन्हें प्रशिक्षित कर सुदूर गांव में चिकित्सा सेवा के लिए भेजेंगे तथा “स्वस्थ भारत-समर्थ भारत” की संकल्पना को साकार करेंगे।मुख्य अतिथि डा. ए.पी. रंगाराव ने कहा कि समय के प्रवाह में सभी बातें बदल रही हैं, किंतु हमारा मनोविज्ञान तथा जैव रसायन नहीं बदला। इस प्रवाह में हम अपनी पारम्परिक चिकित्सा पद्धतियां तथा परम्पराएं खो रहे हैं। हमें आधुनिक वैद्यकीय ज्ञान एवं पारम्परिक ज्ञान को सुयोग्य ढंग से समन्वित कर कार्य करना होगा। बैठक के उद्घाटन सत्र के पश्चात् आरोग्य भारती द्वारा देशभर में संचालित सेवा प्रकल्पों का वृत निवेदन हुआ। बैठक में आरोग्य भारती के कार्यकर्ताओं के अलावा चिकित्सा क्षेत्र से जुड़ी अन्य संस्थाओं को भी आमंत्रित किया गया।बैठक के समापन पर आरोग्य भारती के कार्यकारी अध्यक्ष डा. राघवेन्द्र कुलकर्णी ने आरोग्य भारती की कार्यकारी समिति के पुनर्गठन की घोषणा की। महाराष्ट्र के चालीसगांव के प्रसिद्ध चिकित्सक डा. सुनील घाटे कोषाध्यक्ष नियुक्त किए गए, जबकि पूर्व कोषाध्यक्ष डा. प्रवीण भावसार को उपाध्यक्ष बनाया गया। इसी प्रकार पूर्व सह-सचिव डा. रमेश गौतम को सचिव तथा मेरठ प्रांत के सह-संयोजक डा. राज तायल को सह-सचिव की जिम्मेदारी दी गई। द प्रतिनिधि22
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