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गत 6 फरवरी को संघ के वरिष्ठ प्रचारक एवं पूर्व अ.भा.बौद्धिक प्रमुख श्री रंगाहरि ने तिरुअनंतपुरम में तीन दिवसीय हिन्दू जागरण मंच के सम्मेलन का उद्घाटन किया। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि दुनिया अब हिन्दू संस्कारों और सनातन धर्म को मौजूदा वैश्विक संकट के एकमात्र हल के रूप में पहचान रही है। अमरीका के सीनेट में पूजा की जाती है और दुनिया भर में वेद और गायत्री मंत्र के जाप हो रहे हैं। कनाडा की संसद में दीपावली मनाई गई। उन्होंने कहा कि भारत के वे राजनीतिक दल भी जो हिन्दू विरोधी कार्य करते हैं अब हिन्दू विचारों के महत्व को समझ रहे हैं। चांद पर गए चंद्रयान में तीन तरफ तिरंगा है तो चौथी तरफ ऋग्वेद का सोम सूक्त अंकित है।उन्होंने आगे कहा कि हिन्दू समाज के सामने राष्ट्रीय, क्षेत्रीय और आर्थिक खतरे हैं। छद्म सेकुलर हिन्दू के अलावा सभी मत-पंथों के एक होने की बात करते हैं। लेकिन यह विचार गलत है कि केवल हम ही ठीक हैं बाकी सब गलत। केरल में एक कम्युनिटी द्वारा बाइबिल प्रकाशित की गई है जिसमें हर पृष्ठ के नीचे उपनिषदों के उद्धरण हैं। इसी तरह मुसलमानों में भी बदलाव आ रहा है और वो आतंकवाद तथा हिन्दू भावनाओं से जुड़े मुद्दे, जैसे गोवध आदि का विरोध कर रहे हैं।तीन दिवसीय सम्मेलन में हिन्दू जागरण मंच ने आज देश के सामने मौजूद आतंकवाद, मतांतरण तथा सामाजिक बुराइयों पर विस्तार से चर्चा की। माता अमृतानंदमयी आश्रम में सम्पन्न इस सम्मेलन में देश भर से 300 प्रतिनिधियों ने भाग लिया। 8 फरवरी को एक विशाल हिन्दू सम्मेलन आयोजित किया गया था जिसे रा.स्व.संघ कार्यकारी मंडल के सदस्य श्री इन्द्रेश कुमार सहित अन्य गण्यमान्यजन ने सम्बोधित किया। द प्रतिनिधि28
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