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जांच दल को मदनी या सूफिया के खिलाफ आगे जांच करने की इजाजत नहीं दी जा रही है।भले ही माकपा और राज्य का गृह विभाग मदनी के आतंक से जुड़ाव को रफा-दफा करने की जी तोड़ कोशिश में लगा हो, उसके खिलाफ आतंक और कट्टरवाद से जुड़े होने के सबूत रोज सामने आ रहे हैं। विशेष जांच दल के पास इस बात के पक्के सबूत है कि कलमाशेरी बस अग्निकांड के आरोपी उमर फारुख और साबिर के जिहादियों से संबंध है। इस दल के सामने पेश हुए कुछ गवाहों ने बताया कि उमर और साबिर पीडीपी के कार्यकर्ता रहे हैं और मदनी की बीवी, सूफिया मदनी के निकट सहयोगी रहे हैं। एक और झकझोर देने वाला खुलासा है कि पेरुमबावुर का निवासी साबिर के सीआईए द्वारा मस्कट में पकड़े गए सरफराज नवाज से संबंध हैं, जो केरल में आतंकवादी गतिविधियों के लिए पैसा भेजता रहा है। पिछली अक्तूबर में सरफराज ने एर्नाकुलम के सुबेर, जो साबिर का दोस्त है, के जरिए साबिर को पचास हजार रुपये भेजे थे। इंडियन मुजाहिदीन के दक्षिण क्षेत्र कमांडर सेनुद्दीन उर्फ अब्दुल सत्तार, जो अभी कर्नाटक पुलिस की हिरासत में है, के मदनी और सूफिया से नजदीकी रिश्ते रहे हैं। सत्तार की बेटी फजीला बेगम जब कोच्ची के स्कूल में पढ़ती थी तब सूफिया के घर में ही रह रही थीं। वह उसकी स्थानीय अभिभावक थी, जो स्कूल के रजिस्टरों में दर्ज है। पुलिस को यह भी पता लगा है कि पिछले दिनों कश्मीर में मारे गए केरल के चार आतंकवादियों ने पिछली ईद सूफिया के घर पर मनाई थी। कहा जाता है कि इन सब जानकारियों के बावजूद जांच दल को मदनी या सूफिया के खिलाफ आगे जांच करने की इजाजत नहीं दी गई। माकपा नहीं चाहती थी कि मदनी से रिश्ते खराब हों। द23
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