मुंबई । महाराष्ट्र के छत्रपति संभाजीनगर में प्रतिबंधित आतंकी संगठन आईएसआईएस के संपर्क में रहने वाले 50 से अधिक युवाओं का पता चला है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की कोर्ट में पेश की गई चार्जशीट से यह चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है।
एनआईए ने बताया कि मजहबी कट्टरतावाद के नाम पर आतंकवाद फैलाने वाला आईएसआईएस का नेटवर्क छत्रपति संभाजीनगर जिले में तेजी से फैल रहा है। एनआईए की टीम ने 15 फरवरी को छत्रपति संभाजीनगर के हरसुल इलाके में छापेमारी कर जोएब खान मोहम्मद को गिरफ्तार किया था।
चार्जशीट के मुताबिक, जोएब खान लीबिया के आईएसआईएस सदस्य शोएब के संपर्क में था। भारत में बड़े आतंकवादी हमले की योजना बनाने की साजिश रचते हुए, शोएब को लीबिया से धनराशि प्राप्त हुई थी। इस पैसे का उपयोग करते हुए जोएब छत्रपति संभाजीनगर के युवाओं को आईएसआईएस में शामिल करने का प्रयास कर रहा था।
शोएब की योजना थी कि वह भारत में आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने के बाद अफगानिस्तान या तुर्की भाग जाए। एनआईए ने शोएब से गहन पूछताछ के बाद इस साजिश का पर्दाफाश किया है।
एनआईए के इस खुलासे से छत्रपति संभाजीनगर और आसपास के क्षेत्रों में आतंकवाद के बढ़ते खतरे पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। एजेंसी का कहना है कि वह इस नेटवर्क को पूरी तरह से ध्वस्त करने के लिए लगातार कार्रवाई कर रही है।
यह मामला यह भी इंगित करता है कि कैसे आतंकवादी संगठन अपने नेटवर्क का विस्तार कर स्थानीय युवाओं को अपने जाल में फंसा रहे हैं। एनआईए की इस कार्रवाई से यह स्पष्ट है कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में सतर्कता और दृढ़ता की कितनी आवश्यकता है।
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