दिल्ली पुलिस के प्लेटिनम जुबली कार्यक्रम में पहुचें गृहमंत्री अमित शाह ने कोरोनाकाल में दिल्ली पुलिस के सहयोग को याद किया। उन्होंने कहा कि महामारी के दौर में भी दिल्ली पुलिस ने अपने कदम पीछे नहीं हटाए। उन्होंने कहा कि दिल्ली में हुए दंगों के दौरान और दंगों के बाद निष्पक्ष जांच में दिल्ली पुलिस ने अच्छा काम किया।
केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि पिछले आठ दशकों में दिल्ली पुलिस ने कई ऊंचाइयों को छुआ। कठिन समय में अपने आप को साबित किया और सभी चुनौतियों को स्वीकार करते हुए अपने स्वरूप में बहुत बदलाव किया। आजादी के बाद देश के पहले गृह मंत्री सरदार वल्लभभाई पटेल के नेतृत्व में दिल्ली पुलिस की स्थापना हुई और उसके बाद शांति, सेवा और न्याय के सूत्रवाक्य के साथ दिल्ली पुलिस ने अपना काम शुरू किया।
अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आजादी के ‘अमृत महोत्सव’ में देश की जनता के सामने कई लक्ष्य रखे हैं। पहला उद्देश्य है कि 1857 से 15 अगस्त, 1947 तक आजादी की जंग में अपनी जान गंवाने, अपना सबकुछ बलिदान करने वाले बहादुरों के उज्ज्वल इतिहास से देश के युवा परिचित हों और उनसे प्रेरणा लेकर नए और मजबूत भारत के निर्माण के लिए अपने आप को समर्पित करें।
दूसरा उद्देश्य है कि आज़ादी का अमृत महोत्सव पूरे देश की जनता के लिए संकल्प का वर्ष बने और देश के 130 करोड़ लोग इस वर्ष में एक संकल्प लें जो देश को आगे बढ़ाने, मजबूत करने, समृद्ध, शिक्षित और स्वस्थ बनाने वाला हो। 75 से 100 साल की यात्रा को देश के प्रधानमंत्री ने ‘अमृत काल’ कहा है और इन 25 वर्षों में हर क्षेत्र में देश को ऊंचाईयों और दुनिया में प्रथम स्थान पर ले जाने का हमें संकल्प करना है। यह 25 वर्ष संकल्प सिद्धि, पुरुषार्थ की पराकाष्ठा और लक्ष्य सिद्धि के 25 वर्ष होने चाहिए। पिछले आठ दशकों में दिल्ली पुलिस ने कई ऊंचाइयों को छुआ, कठिन समय में अपने आप को साबित किया और सभी चुनौतियों को स्वीकार करते हुए अपने स्वरूप में बहुत बदलाव किया
दिल्ली पुलिस के ये हैं लक्ष्य
यह वर्ष दिल्ली पुलिस के लिए दो प्रकार के लक्ष्य तय करने का वर्ष है। पहला लक्ष्य, 75 से 80 साल के कालखंड में दिल्ली पुलिस में हर क्षेत्र में जहां भी जो भी गैप दिखाई देते हैं उन्हें भरें। दूसरा लक्ष्य, अपनी स्थापना के शताब्दी वर्ष में दिल्ली पुलिस स्वयं को किस स्थान पर पहुंचाना चाहती है। पांच साल और 25 साल के लक्ष्यों का निर्धारण समयबद्ध तरीके से रोडमैप के साथ दिल्ली पुलिस को करना चाहिए।
पुलिस के समक्ष सुरक्षा की चुनौतियां
देश की राजधानी होने के नाते आतंकवाद, नारकोटिक्स और डिप्लोमेटिक एरिया की सुरक्षा की भी चुनौतियां दिल्ली पुलिस के सामने हैं। दिल्ली पुलिस ने समय के साथ और आने वाली चुनौतियों के साथ-साथ अपने आपको तैयार किया है और बदला भी है और इसीलिए दिल्ली पुलिस का आज दुनिया भर में सम्मान है।
आतंकवाद, साइबर हमले, फेक करंसी जैसी चुनौतियों का किया सामना
गृह मंत्री ने कहा कि नारकोटिक्स, आतंकवाद, साइबर हमले, फेक करंसी और रोजमर्रा के अपराधों की समस्या जैसी चुनौतियों का दिल्ली पुलिस ने बहुत अच्छे से सामना किया है। दिल्ली पुलिस के सुधार के लिए कई गतिविधियां चल रही हैं, दिल्ली पुलिस में परसेप्शन मैनेजमेंट विभाग भी बनाया गया है। परसेप्शन मैनेजमेंट विभाग पुलिस विभाग की कठिनाइयों को जनता के सामने तो रखेगा ही साथ ही कठिन जीवन के कारण स्वभाव में जो परिवर्तन आता है उसको भी किस प्रकार से मैनेज किया जा सके, इसका भी काम करेगा।
जनता अपना नजरियां बदल के देखे पुलिस को
पुलिस की ड्यूटी को एक अलग नजरिए से देखना चाहिए। कुछ कहानियों और किस्सों के आधार पर पुलिस के त्याग, तपस्या, बलिदान और उनके फर्ज निभाने की गंभीरता को हमें नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। “हम जब रक्षाबंधन के दिन बहन से राखी बंधवाते हैं, या होली, दीपावली और ईद जैसे त्यौहार मनाते हैं, उस समय पुलिस का जवान चौराहे पर खड़ा होकर कोई हादसा न हो इसकी चिंता करते हुए ड्यूटी करता है।
35 हजार जवान हुए बलिदान
गृह मंत्री ने कहा कि सबसे कठिन ड्यूटी देशभर की पुलिस निभाती है और देश की आंतरिक सुरक्षा को संभालते हुए, सभी सीएपीएफ और सभी राज्यों की पुलिस के 35 हजार जवान बलिदान हुए हैं। 2019 में हाउसिंग सेटिस्फेक्शन अनुपात 19 प्रतिशत था, उसे हम 2024 से पहले 40 प्रतिशत तक ले जाने में सफल होंगे। कार्यक्रम समाप्त होने के बाद अमित शाह ने रोहिणी में नवनिर्मित उपायुक्त कार्यालय परिसर का भी उद्घाटन भी किया। इस अवसर पर केन्द्रीय मंत्री देव सिंह चौहान, केन्द्रीय गृह सचिव और दिल्ली पुसिल आयुक्त सहित अनेक वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
(सौजन्य सिंडिकेट फीड)
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