सनातन धर्म की महानता की महिमा ही ऐसी है, जो भी इसे जानने और समझने की कोशिश करता है वो बस उसी का होकर रह जाता है। ऐसी ही एक घटना राजस्थान के अजमेर जिले से सामने आई है, जहां इलैन डिक्सन (22) नाम की ईसाई लड़की ने ईसाइयत को त्यागकर सनातन धर्म में घर वापसी कर ली। इसी के साथ डिक्सन ने अपना नाम बदलकर वैष्णवी पंत रख लिया।
क्या है पूरा मामला
मामला कुछ यूं है कि इलैन की मां हिन्दू हैं और पिता ईसाई हैं। ईलैन बचपन से ही अपनी नानी की छत्रछाया में सनातन धर्म के संस्कारों से पलित और पोषित होती रहीं। अजमेर के कृष्णगंज क्षेत्र की रहने वाली इलैन बताती हैं कि वह बचपन से ही सनातन धर्म का पालन करती रही हैं। वह बताती हैं कि अपनी नानी के साथ रहकर मैं पूजा अर्चना करने के साथ ही भगवान को भोग लगाने और उनसे बातचीत, हंसी मजाक करती थी। मेरे पिता नो तो बचपन से ही मेरी कभी परवाह नहीं की। इसलिए नानी के पास रहते हुए सनातन धर्म को काफी करीब से देखा।
मुझे हमेशा से सनातन धर्म से एक अलग ही जुड़ाव महसूस होता था। ऐसा लगता था कि मेरा सबकुछ तो यहीं है। लेकिन, ईसाई पिता होने के कारण खुद को अधूरा महसूस करती थी। लेकिन, सनातन धर्म में घर वापसी के बाद अब मैं पूर्ण सनातनी हो गई हूं।
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कैसे हुई घर वापसी
सनातन धर्म अपनाने के लिए वैष्णवी ने हिन्दू संगठनों से संपर्क किया। इसके बाद हिन्दू संगठनों के लोगों ने इलैन की घर वापसी की पूरी व्यवस्था की और फिर वैदिक रीतियों के अनुसार, उनकी घर वापसी कराई गई।
नानी बोली-बेटी की कमी पूरी हुई
वैष्णवी की नानी कहती हैं कि मेरी खुद की बेटी तो ईसाई बन गई थीं, लेकिन, दोहिती ने सनातन धर्म में वापसी करके बेटी की कमी को पूरा कर दिया है। इसलिए मैं उसे अपना गोत्र पंत देती हूं।
वैष्णवी ही क्यों नाम
इलैन डिक्सन के वैष्णवी बनने के पीछे की कहानी कुछ यूं है कि उन्होंने भगवान विष्णु के पाटोत्सव के मौके पर सनातन धर्म अपनाया है। इस कारण से उनका नाम वैष्णवी रखा गया। बहरहाल, घर वापसी के बाद इलैन ने जिला कलेक्टर को धर्मान्तरण के लिए अर्जी दी है।
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