मिलिंद परांडे, संगठन महामंत्री, विश्व हिन्दू परिषद
औरंगजेब की कब्र को हटाने के मुद्दे पर सोमवार की रात नागपुर में कट्टरपंथियों ने जमकर हिंसा की। गाड़ियां तोड़ी, जलाई गईं, घरों और अस्पतालों पर भी हमले किए गए। इस घटना पर विश्व हिन्दू परिषद के संगठन महामंत्री मिलिंद परांडे ने कहा कि नागपुर में जिस प्रकार से मुस्लिम समाज के एक वर्ग ने बजरंग दल के कार्यकर्ताओं, उनके घरों और महिलाओं पर हमले किए हैं। यह बहुत ही निंदनीय है और विश्व हिन्दू परिषद इसका विरोध करता है।
नागपुर हिंसा से पहले कट्टरपंथियों ने एक फेक न्यूज फैलाई कि हिन्दुओं ने कुरान की आयतें जलाई हैं। इस घटना को मिलिंद परांडे ने खारिज किया और इसे झूठा करार दिया। उन्होंने झूठ फैलाकर हिंसा भड़काने की कोशिश करने वालों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की मांग की।
इसके साथ ही मिलिंद परांडे ने ये भी कहा कि छत्रपति संभाजी नगर के खुल्ताबाद क्षेत्र में स्थित मुगल आक्रांता औरंगजेब की कब्र का महिमामंडन बंद करना चाहिए और इसमें किसी प्रकार के सुधार करने के बारे में भी सोचना नहीं चाहिए। बल्कि उसके स्थान पर औरंगजेब को पराजित करने वाले मराठा योद्धा श्री धनाजी, संताजी और श्री राजा राम महाराज का एक स्मारक बनाने और वहां इस बात को उद्धृत करने कि वहां औरंजेब की मृत्यु हुई है। ऐसी मांग विश्व हिन्दू परिषद ने की है।
इसके साथ ही मिलिंद परांडे ने सरकार से मांग की कि औरंगजेब का समर्थन करने वालों और हिंसा फैलाने वालों के खिलाफ सरकार को कठोर से कठोर कार्रवाई करनी चाहिए और इनका दमन करना चाहिए।
मामला कुछ यूं है कि नागपुर के महल इलाके में अफवाह के बाद पथराव और आगजनी की घटना हुई। पुलिस पर भी हमला किया गया। बताया जा रहा है कि अफवाह के बाद दो गुट आमने-सामने आ गए थे और उसके बाद हालात तनावपूर्ण हुए। आग लगाए गए वाहनों में धमाकों की भी आवाज सुनी गई। इसके बाद यह हिंसा पूरे नागपुर में फैल गई। दावा किया जाता है कि इस हिंसा की साजिश पहले से ही रची गई थी। शाम के करीब साढ़े सात बजे चिटनिस पार्क इलाके में झड़प हुई। कट्टरपंथियों ने पुलिस की टीम पर पत्थरबाजी की। इसमें 6 लोग और तीन पुलिस अधिकारी बुरी तरह से घायल हो गए। इसके बाद कट्टरपंथियों की यह भीड़ कोतवाली और गणेशपेठ पहुंच गई। करीब 1000 से अधिक कट्टरपंथियों ने बड़े पैमाने पर पत्थरबाजी, तोड़फोड़ और आगजनी शुरू कर दी।
नागपुर पुलिस कमिश्नर ने बताया कि कट्टरपंथियों के द्वारा की जा रही हिंसा रात के 8 से साढ़े 8 बजे के दौरान सबसे अधिक चरम पर थी। दंगाइयों ने हंसपुरी इलाके में दुकानों में घुसकर तोड़फोड़ की। दंगाइयों ने कई गाड़ियों में आग लगा दी। इसी तरह के हालात महल इलाके में भी रहे। यहीं नहीं दंगाइयों ने लोगों के घरों और अस्पतालों तक को नहीं छोड़ा। कई गाड़िया धू-धू कर जलती नजर आईं।
इस बीच हालात को देखते पुलिस प्रशासन ने कोतवाली, गणेशपेठ, तहसील, लकड़गंज, पचपावली, शांतिनगर, सक्करदरा, नंदनवन, इमामवाड़ा, यशोधरानगर और कपिलनगर समेत कई अन्य पुलिस स्टेशनों के अंतर्गत आने वाले क्षेत्रों में कर्फ्यू लगा दिया गया है।
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