छत्तीसगढ़ का बस्तर इलाका ईसाई मिशनरियों के निशाने पर रहा है। लेकिन लोग अब सनातन की ओर वापस लौट रहे हैं। बस्तर में 16 परिवारों के 81 लोगों ने सनातन धर्म में घर वापसी की है। बताया जा रहा है कि बस्तर में पहली बार इतने लोगों ने घर वापसी की है।
जगलदपुर के लोहंडीगुड़ा ब्लॉक के अंतर्गत कस्तुरपाल में 16 परिवारों के 81 लोगों ने अपनी मूल संस्कृति और सनातन धर्म में वापसी की है। इस दौरान गांव के सरपंच समेत तमाम लोग मौजूद थे। इससे पहले छत्तीसगढ़ के रायपुर में 250 से ज्यादा परिवारों के 1000 लोगों ने सनातन धर्म में वापसी की थी।
पिछले दिनों छत्तीसगढ़ के रायपुर में पंडित धीरेंद्र शास्त्री के कथा कार्यक्रम में एक हजार लोगों ने हिंदू धर्म में घर वापसी की थी। भाजपा नेता प्रबल प्रताप जूदेव ने पैर धोकर उनका सनातन धर्म में स्वागत किया था। ये वे परिवार हैं, जो अलग-अलग कारणों से सनातन धर्म छोड़कर दूसरे पंथ में चले गये थे, अब वो फिर से हिंदू धर्म में वापसी कर रहे हैं। वहीं इनमें दो मुस्लिम परिवारों के 2 लोगों ने भी इस्लाम त्याग कर घर वापसी की है।
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पं. धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने कहा था कि जिन लोगों ने बहकावे में आकर अपना धर्म छोड़ दिया है, यदि वे पुन: घर वापसी करना चाहते हैं, तो समाज के लोग उन्हें स्वीकार करें, हृदय से अपनाएं। केवल घर वापसी कराना ही उद्देश्य नहीं होना चाहिए। घर वापसी के बाद उन लोगों को सनातन धर्म की शिक्षा दें।
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वहीं भाजपा नेता प्रबल प्रताप जूदेव ने कहा कि एक समय था। जब अफगानिस्तान से लेकर इंडोनेशिया तक हिंदू थे। हिंदुओं का कन्वर्जन हुआ और ये क्षेत्र भारत से अलग हो गए। जहां हिंदू घटा है, वहां देश बंटा है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ में कन्वर्जन का खेल करने वाले अपना काम तत्काल बंद कर लें।
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