पश्चिमी संस्कृति के अनुकरण से युवाओं को नहीं मिल पा रहा वास्तविक जीवनसाथीः इलाहाबाद हाई कोर्ट
July 13, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • धर्म-संस्कृति
  • पत्रिका
होम भारत उत्तर प्रदेश

पश्चिमी संस्कृति के अनुकरण से युवाओं को नहीं मिल पा रहा वास्तविक जीवनसाथीः इलाहाबाद हाई कोर्ट

कोर्ट ने कहा कि इस देश के युवा सोशल मीडिया, फिल्मों, धारावाहिकों और दिखाई जा रही वेब श्रृंखलाओं के प्रभाव में अपने जीवन के सही मार्ग के बारे में निर्णय नहीं ले पा रहे हैं

by WEB DESK
Jul 25, 2023, 08:59 am IST
in उत्तर प्रदेश
इलाहाबाद हाईकोर्ट

इलाहाबाद हाईकोर्ट

FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

प्रयागराज। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने संचार माध्यमों से हो रहे सामाजिक बदलावों पर अहम टिप्पणी की है। कोर्ट ने कहा कि देश का युवा पश्चिमी संस्कृति का अनुकरण करते हुए अपने विपरीत लिंगी के साथ मुक्त संबंधों को तवज्जो दे रहे हैं। इसके चलते वह अपना जीवन बर्बाद कर रहे हैं। ऐसे में उन्हें कोई वास्तविक जीवनसाथी नहीं मिल पाता है।

कोर्ट ने कहा कि इस देश के युवा सोशल मीडिया, फिल्मों, टीवी धारावाहिकों और दिखाई जा रही वेब श्रृंखलाओं के प्रभाव में अपने जीवन के सही मार्ग के बारे में निर्णय नहीं ले पा रहे हैं। सही साथी की तलाश में वे अक्सर गलत व्यक्ति की संगति में पहुंच जाते हैं। कोर्ट ने कहा कि सोशल मीडिया, फिल्में आदि दिखाती हैं कि कई मामले और जीवन साथी के साथ बेवफाई सामान्य है और इससे प्रभावशाली दिमागों की कल्पना भड़क जाती है और वे उसी के साथ प्रयोग करना शुरू कर देते हैं। लेकिन वे प्रचलित मानदंडों में फिट नहीं बैठते हैं।

यह टिप्पणी न्यायमूर्ति सिद्धार्थ ने एक लड़की को कथित तौर पर आत्महत्या के लिए उकसाने के आरोपित जय गोविंद उर्फ रामजी यादव की जमानत अर्जी मंजूर करते हुए की। कोर्ट ने अपने आदेश में टिप्पणी की है कि पश्चिमी संस्कृति का पालन करने के परिणामों से अनजान युवा पीढ़ी सोशल मीडिया, फिल्मों आदि पर प्रसारित होने वाले रिश्तों में प्रवेश कर रहे हैं और उसके बाद अपनी पसंद के साथी को सामाजिक मान्यता से वंचित करने के बाद उनका मोहभंग हो जाता है। कोर्ट ने कहा कि ऐसे युवा कभी-कभी समाज के खिलाफ, कभी-कभी अपने माता-पिता के खिलाफ और कभी-कभी अपनी पसंद के साथ के खिलाफ भी व्यवहार करते हैं। जब उन्हें उस स्थिति से बाहर निकलने का कोई रास्ता नहीं मिलता है, जिससे वे इस तरह के रिश्ते में प्रवेश करने के बाद फंस जाते हैं।

कोर्ट ने कहा कि भारतीय परंपराओं में ऐसे रिश्तों को स्वीकार नहीं किया जाता है। भारतीय समाज इस बात को लेकर भ्रम में है कि क्या अपने छोटे बच्चों को पश्चिमी मानदंडों को अपनाने की अनुमति दी जाए या उन्हें भारतीय संस्कृति की सीमा के भीतर से मजबूती से रखा जाए।

कोर्ट ने कहा कि उनका परिवार अपने बच्चे द्वारा चुने गए साथी की जाति, धर्म, वित्तीय स्थिति आदि के मुद्दों पर भी लड़खड़ाता है और इसके कारण कभी-कभी उनके बच्चे अपनी पसंद के व्यक्ति से शादी करने के लिए घर से भाग जाते हैं। कभी-कभी आत्महत्या कर लेते हैं और कभी-कभी पहले असफल रिश्ते द्वारा छोड़ी गई भावनात्मक कमी को पूरा करने के लिए जल्दी में रिश्ता आगे बढ़ा लेते हैं।

कोर्ट ने कहा कि इस स्थिति के कारण शादी का झूठा वादा करके बलात्कार का अपराध करना, आत्महत्या और आत्महत्या के लिए उकसाने का अपराध करना, बिछड़े दोस्त या उसके साथियों की मदद से हत्या का अपराध या गैर इरादतन हत्या का अपराध करना, झूठे आरोप लगाने जैसे मामले अदालत में बड़ी संख्या में आ रहे हैं।

मामले में याची और पीड़िता के बीच प्रेम संबंध था। याची और सह अभियुक्तों पर आरोप है कि उन्होंने मिलकर उसका अपहरण कर लिया। नशीला पदार्थ खिलाकर उसका बलात्कार किया। उसका वीडियो बना लिया। वह अवसाद में चली गई। नौ जून 2022 को उसका फिर से अपहरण कर लिया गया और उसे बाजार में छोड़ दिया गया। इसके बाद उसने मच्छर भगाने वाली दवा पी ली और उसे अस्पताल ले जाया गया, जहां 10 जून 2022 को उसकी मृत्यु हो गई। याची और सह अभियुक्तों के खिलाफ सामूहिक बलात्कार, अपहरण, नशा और हत्या करने का आरोप लगाया गया और झांसी के नवाबाद थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई। जांच के बाद पुलिस ने आईपीसी की धारा 306, 504 और 506 के तहत आरोप पत्र दाखिल किया। याची की ओर से कहा गया कि दोनों शादी करना चाहते थे लेकिन मृतक के परिवार के सदस्य उनके रास्ते में आ गए और उसके बाद पीड़िता ने दूसरे लड़के के साथ संबंध बना लिया। कोर्ट ने कहा कि याची के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने के लिए आवश्यक तथ्य नहीं हैं। लिहाजा, जमानत मंजूर की जाती है।

(सौजन्य सिंडिकेट फीड)

Topics: पश्चिमी संस्कृतिफिल्में और वेब सीरीजWestern CultureMovies and Web SeriesAllahabad High Courtइलाहाबाद हाई कोर्ट
Share1TweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

सोशल मीडिया पर अश्लील तस्वीरों का प्रसार जीवन को बर्बाद कर सकता है : इलाहाबाद हाईकोर्ट

Disrobbing women an attempt of rape

इलाहाबाद हाई कोर्ट: ‘महिला के कपड़े जबरन उतारना बलात्कार का प्रयास, 10 साल की सजा बरकरार’

Emergency Indira Gandhi Democracy

आपातकाल: लोकतन्त्र की हत्या का वीभत्स दौर

Emergency 1975

आपातकाल: जब लोकतंत्र पर पड़ा तानाशाही का काला पर्दा

राहुल गांधी

सेना पर टिप्पणी मामले में राहुल गांधी को झटका, हाईकोर्ट ने खारिज की याचिका

Yogi Aaditynath

सालार मसूद गाजी की दरगाह पर नहीं लगेगा ‘गाजी मियां’ का मेला, योगी सरकार के फैसले पर लगी मुहर

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

RSS का शताब्दी वर्ष : संघ विकास यात्रा में 5 जनसंपर्क अभियानों की गाथा

Donald Trump

Tariff war: अमेरिका पर ही भारी पड़ सकता है टैरिफ युद्ध

कपिल शर्मा को आतंकी पन्नू की धमकी, कहा- ‘अपना पैसा वापस ले जाओ’

देश और समाज के खिलाफ गहरी साजिश है कन्वर्जन : सीएम योगी

जिन्होंने बसाया उन्हीं के लिए नासूर बने अप्रवासी मुस्लिम : अमेरिका में समलैंगिक काउंसिल वुमन का छलका दर्द

कार्यक्रम में अतिथियों के साथ कहानीकार

‘पारिवारिक संगठन एवं विघटन के परिणाम का दर्शन करवाने वाला ग्रंथ है महाभारत’

नहीं हुआ कोई बलात्कार : IIM जोका पीड़िता के पिता ने किया रेप के आरोपों से इनकार, कहा- ‘बेटी ठीक, वह आराम कर रही है’

जगदीश टाइटलर (फाइल फोटो)

1984 दंगे : टाइटलर के खिलाफ गवाही दर्ज, गवाह ने कहा- ‘उसके उकसावे पर भीड़ ने गुरुद्वारा जलाया, 3 सिखों को मार डाला’

नेशनल हेराल्ड घोटाले में शिकंजा कस रहा सोनिया-राहुल पर

‘कांग्रेस ने दानदाताओं से की धोखाधड़ी’ : नेशनल हेराल्ड मामले में ईडी का बड़ा खुलासा

700 साल पहले इब्न बतूता को मिला मुस्लिम जोगी

700 साल पहले ‘मंदिर’ में पहचान छिपाकर रहने वाला ‘मुस्लिम जोगी’ और इब्न बतूता

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • ऑटो
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • लोकसभा चुनाव
  • वोकल फॉर लोकल
  • बोली में बुलेटिन
  • ओलंपिक गेम्स 2024
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies