नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच को निर्देश दिया कि वो उस रेप के मामले की गुण-दोष के आधार पर सुनवाई करे, जिसमें हाई कोर्ट ने ज्योतिष विभाग को एक महिला की कुंडली की जांच करने का निर्देश दिया था ताकि ये पता लगाया जा सके कि वो मांगलिक है या नहीं।
मामले की सुनवाई के दौरान उत्तर प्रदेश सरकार ने कोर्ट को बताया था कि जमानत अर्जी खारिज की जा चुकी है। पुलिस ने इस मामले में चार्जशीट दाखिल कर दी है। दरअसल, सुप्रीम कोर्ट ने स्वत: संज्ञान लेते हुए इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच के एक आदेश पर रोक लगा दी थी। इसमें 23 मई को इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने लखनऊ विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभाग को एक महिला की कुंडली की जांच करने का निर्देश दिया गया था ताकि ये पता लगाया जा सके कि वो मांगलिक है या नहीं।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि पीड़िता के निजता के अधिकार को ठेस पहुंची है। ज्योतिष का इससे क्या लेना-देना है, हम तथ्यों को जोड़ना नहीं चाहते हैं। केस के मुताबिक आरोपित ने शादी का झूठा वादा कर पीड़िता के साथ यौन संबंध बनाए। आरोपित के वकील ने हाई कोर्ट में दलील दी कि आरोपित और पीड़िता के बीच विवाह नहीं हो सकता, क्योंकि पीड़िता ‘मांगलिक’ है। हाई कोर्ट ने लखनऊ विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभाग के विभागाध्यक्ष को निर्देश दिया कि वो कथित बलात्कार पीड़िता की कुंडली की जांच करके बताएं कि वो मांगलिक है या नहीं।
(सौजन्य सिंडिकेट फीड)
टिप्पणियाँ