सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद मध्य प्रदेश में होने वाले नगरीय निकाय और पंचायत चुनाव के लिए ओबीसी आरक्षण का रास्ता साफ हो गया है। मुख्यमंत्री ने सुप्रीम फैसले का स्वागत करते हुए आज के दिन को ऐतिहासिक बताया है।
बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार के पुनर्विचार आवेदन पर सुनवाई करते हुए राज्य पिछड़ा वर्ग कल्याण आयोग के ट्रिपल टेस्ट की रिपोर्ट को मान्य किया है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अब नगरीय निकाय और त्रिस्तरीय पंचायत के चुनाव में ओबीसी के लिए जनसंख्या के हिसाब से अधिकतम 35 प्रतिशत सीट 50 प्रतिशत के आरक्षण की सीमा में रहते हुए आरक्षित की जा सकेंगी। वहीं, चुनाव 2022 के परिसीमन से कराने की मांग को भी मान लिया गया है।
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि आज का दिन ऐतिहासिक दिन है और मैं अभिभूत हूं, सत्यमेव जयते। सुप्रीम कोर्ट को मैं प्रणाम करता हूं, आखिरकार सत्य की विजय हुई है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत करते हैं। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि कांग्रेस ने पाप किया था। जिन्होंने षडयंत्र किया वो पराजित हुए। कांग्रेस और कमलनाथ हमेशा षडयंत्र करते रहे। उन्होंने केवल ओबीसी को वोट बैंक माना। आज मुझे यह कहते हुए संतोष है कि सुप्रीम कोर्ट ने ओबीसी आरक्षण के साथ चुनाव कराने का फैसला दिया है। अब पूरे आनंद के साथ ओबीसी आरक्षण के साथ चुनाव संपन्न होगा।
(सौजन्य सिंडिकेट फीड)
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