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वर्ष 2007 में हुए समझौता एक्सप्रेस रेल विस्फोट मामले में स्वामी असीमानंद को पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय से 10 दिन की पैरोल मिल गई। हालांकि उन पर उच्च न्यायालय ने निगरानी बनाए रखने के आदेश भी दिए हैं।
गत 30 जून को मामले की सुनवाई के दौरान उच्च न्यायालय ने उन्हें इस आधार पर पैरोल दे दी क्योंकि उनकी माताजी का स्वास्थ्य खराब है। उनके पक्षकार वकील ने उच्च न्यायालय के समक्ष कहा कि मानवता के नाते उन्हें बीमार मां से मिलने की अनुमति दी जानी चाहिए। इस आधार पर उन्हें 10 दिनों की पैरोल दे दी गई। इसके साथ ही उन्हें पश्चिम बंगाल जाने की अनुमति मिल गई है, जहां वे अब अपनी माताजी से मिल सकेंगे। इस दौरान हरियाणा और राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) दोनों ही स्वामी असीमानंद पर निगरानी रखेंगे। समझौता एक्सप्रेस रेल विस्फोट मामले में एनआईए ने ही स्वामी असीमानंद को गिरफ्तार किया था। इसके बाद से लगातार मामले की सुनवाई जारी थी
भूस्खलन ने 38 को
लीला
पश्चिम बंगाल के दार्जिलिंग शहर में भारी बरसात के बाद हुए भूस्खलन से 38 लोगों की मौत हो गई, जबकि सैकड़ों लोग बेघर हो गए।
भारी बरसात से ग्रामीण क्षेत्रों में जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। हालात काबू करने के लिए तत्काल सेना की मदद ली गई। सेना द्वारा दार्जिलिंग के आसापास बेघर हुए लोगों को राहत शिविरों में पहुंचाया गया। इस हादसे के बाद करीब 15 लोग लापता हैं और काफी लोग घायल हो गए। दार्जिलिंग में 25 स्थानों पर भूस्खलन हुआ है। कलिमपोंग और कुरसियांग क्षेत्र पूरी तरह से आपदा से प्रभावित हुए हैं। राज्य मार्ग से भी इनका संपर्क टूट गया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मृतकों के प्रति संवेदना प्रकट करते हुए उनके परिजनों को तत्काल 2-2 लाख रुपए की राहत राशि देने की घोषणा की है। वहीं गृहराज्य मंत्री किरण रिजिजू ने कहा कि दार्जिलिंग में आई विपदा के बाद से एनडीआरएफ की टीमें राहत कार्य में जुटी हुई हैं। उन्होंने आपदा के समय में पीडि़तों को हरसंभव सहायता करने का आश्वासन भी दिया है।
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