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कांग्रेस की सर्वेसर्वा सोनिया माइनो के खासमखास विन्सेंट जार्ज भी आय से अधिक सम्पत्ति के मामले में साफ-साफ बच निकले। बचते भी क्यों नहीं, आखिर उनकी जांच 'कांग्रेस ब्यूरो आफ इंवेस्टीगेशन' (सी.बी.आई.) ही कर रही थी। उसने विन्सेंट के खिलाफ जांच की फाइल यह कहते हुए बंद कर दी कि उसे कोई पुख्ता सुबूत नहीं मिले। 10 साल की पड़ताल के बाद भी यह जांच एजेंसी खाली हाथ ही रही। उल्लेखनीय है कि विन्सेंट जार्ज रातों-रात करोड़पति बन गए थे। उन्होंने दिल्ली, चेन्नै, बेंगलुरु और केरल के अनेक स्थानों पर व्यावसायिक और रिहायशी भूखण्ड खरीदे, दिल्ली से सटे एक गांव में बड़ी-सी खेतिहर जमीन खरीदी। बैंक खाते में भी 1.5 करोड़ रुपए नगद मिले। सन् 2002 में जांच सी.बी.आई. के सुपुर्द की गई और अचानक सत्ता परिवर्तन हुआ, सोनिया माइनो की अध्यक्षता वाली कांग्रेस सरकार सत्तासीन हुई, जिसमें विन्सेंट जार्ज बहुत प्रभावी व्यक्ति हैं। विन्सेंट ने कहा था कि उन्हें यह सारी रकम अमरीका स्थित उनके परिजनों ने उपहार स्वरूप दी थी, पर इसे जांचने में अमरीका की ओर से सीबीआई को 'सहयोग' नहीं मिला, लिहाजा सुबूतों के अभाव में मामला बंद। जबकि इसकी पूरी संभावना जताई गयी थी कि विन्सेंट ने पहले हवाला के जरिए कालाधन देश से बाहर भेजा, फिर उपहार बताकर, उसे सफेद कराकर वापस मंगाया।
उधर केरल के बहुचर्चित सूर्यनेल्ली बलात्कार काण्ड में आरोपी राज्यसभा के उपसभापति पी.जे. कुरियन ने भी आखिरकार अपने प्रभाव से 'सब ठीक-ठाक' कर लिया। इस मामले में भगोड़े धर्मराजन ने फरवरी, 2013 में एक टी.वी. चैनल पर जो कहा था, पकड़े जाने के बाद अदालत में उससे पूरी तरह पलट गया। तब धर्मराजन ने कहा था कि 1996 में जिस कार में सवार होकर कुरियन इडुकी के कुमिले गेस्ट हाउस गए थे, वह मेरी कार थी और मैं भी उसमें सवार था। इसी आधार पर अदालत ने 23 मार्च को कुरियन को नोटिस भेजा था। अब इडुकी जिले के तोडुपुजा सत्र न्यायालय में उसने हलफनामा देकर कहा कि न तो वह कुरियन को जानता है और न ही उसके पास तब कार थी। उल्लेखनीय है कि सूर्यनेल्ली की रहने वाली एक 16 वर्षीय छात्रा का जनवरी, 1996 में अपहरण किया गया था और उसे इडुकी के कुमिले गेस्ट हाउस में रखा गया था। वहां उसके साथ 41 दिन में 42 लोगों ने बलात्कार किया। आरोप है कि कुरियन भी उनमें से एक थे। 17 साल बाद भी वह युवती न्याय पाने को तरस रही है। और उधर कुरियन पिछले दिनों क्वालालम्पुर (मलेशिया) में आयोजित एक संगोष्ठी के मुख्य वक्ता बनकर पहुंचे, जिसका विषय महिला सशक्तिकरण था। बलात्कार के आरोपी और महिला शक्तिकरण की बात, है न हास्यास्पद।पाञ्चजन्य ब्यूरो
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