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केशुभाई की सहधर्मिणीलीलाबेन पटेल का अवसानगत 21 अगस्त को गांधीनगर में गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री एवं वरिष्ठ भाजपा नेता श्री केशुभाई पटेल की धर्मपत्नी श्रीमती लीलाबेन का असामयिक निधन हो गया। 76 वर्षीया श्रीमती लीलाबेन प्रात: अपने घर में ही व्यायाम कर रही थीं। बताया जाता है कि इसी समय शार्ट सर्किट के कारण कमरे में आग लगी और वह इस दुर्घटना का शिकार हो गर्इं। उनके निधन का समाचार पाते ही भाजपा अध्यक्ष श्री राजनाथ सिंह, वरिष्ठ भाजपा नेता श्री लालकृष्ण आडवाणी, गुजरात के मुख्यमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी श्री पटेल के घर गए और स्व. लीलाबेन के प्रति श्रद्धासुमन अर्पित किए। स्व. लीलाबेन को पाञ्चजन्य परिवार की ओर से विनम्र श्रद्धाञ्जलि।श्री राम साठेएक अन्वेषक इतिहासकारभारतीय संस्कृति प्रचार समिति के संस्थापक, प्रख्यात इतिहासविद् श्री श्रीराम साठे का गत् 21 सितम्बर की दोपहर हैदराबाद में निधन हो गया। वे 86 वर्ष के थे। उनका जन्म सन् 1920 में महाराष्ट्र के सतारा जिले में वई नामक स्थान पर हुआ। किशोरावस्था में ही वे रा.स्व.संघ के सम्पर्क में आए। 1942 में मुम्बई विश्वविद्यालय से बी.एससी. की उपाधि प्राप्त कर वे संघ के प्रचारक बने। और अपनी सांगठनिक कुशलता का परिचय देते हुए उन्होंने पहले मुम्बई, फिर आंध्र प्रदेश और म.प्र. में संघ कार्य को गति प्रदान की।पिछले 3 दशकों से भारतीय इतिहास संकलन योजना से जुड़कर उन्होंने भारतीय इतिहास के अनेक अनसुलझे और विवादित सवालों का सटीक समाधान प्रस्तुत किया। इतिहास से सम्बंधित उनकी 15 से अधिक पुस्तकें भी प्रकाशित हो चुकी हैं। इनमें “महाभारत युद्ध का वास्तविक कालखण्ड”, “क्या सेंड्राकोट्स चंद्रगुप्त मौर्य है”? “भगवान बुद्ध की तिथि”, “आर्य कौन थे”, “यूरोपीय सेकुलरवाद-भ्रांतियों का जनक” आदि पुस्तकें शामिल हैं। सन् 1996 में श्री साठे ने हैदराबाद में भारतीय संस्कृति प्रचार समिति की स्थापना की। समिति ने हिन्दी, तेलुगू, अंग्रेजी, मराठी आदि भाषाओं में भारतीय संस्कृति से सम्बंधित विषयों पर अनेक बहुमूल्य पुस्तकों का प्रकाशन किया है। 1998 में श्री साठे को डा. वी.एस. वर्णेकर राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित भी किया गया। संपूर्ण जीवन राष्ट्र-देवता के चरणों में अर्पित करने वाले स्व. साठे को पाञ्चजन्य परिवार की ओर से हार्दिक श्रद्धाञ्जलि।9
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