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पीटर मेरित्जबर्ग स्टेशन पर लगेगी गांधी जी की प्रतिमाराम प्रताप मिश्र7 जून, 1893 का वह दिन था, जब दक्षिण अफ्रीका के पीटर मेरित्जबर्ग सिटी स्टेशन पर गांधी जी को धक्का मारकर अंग्रेज टी.टी. ने प्रथम श्रेणी डिब्बे से खींचकर रेलगाड़ी से नीचे धकेल दिया था। यद्यपि गांधी जी के पास प्रथम श्रेणी का टिकट था किन्तु रंगभेद की मानसिकता वाले अंग्रेजों ने गांधी को काला चमड़ी वाला होने की सजा देने में कोई कोताही नहीं बरती। आज, जब इस घटना को बीते 112 वर्ष हो चुके हैं, उसी स्थान पर गांधी जी की स्मृति में आगामी 2 अक्तूबर को दक्षिण अफ्रीका सरकार द्वारा उनकी मूर्ति स्थापित करने जा रही है। इस मूर्ति की स्थापना में जिनके प्रयासों की सर्वत्र सराहना हो रही है, वह हैं वरिष्ठ कांग्रेसी नेता और पूर्व केन्द्रीय मंत्री सतपाल महाराज।गत जनवरी में सतपाल महाराज ने अपनी धर्मपत्नी अमृता रावत के साथ दक्षिण अफ्रीका की यात्रा की थी। उनके प्रयासों से दक्षिण अफ्रीकी सरकार, पीटर मेरित्जबर्ग शहर प्रशासन एवं वहां की महापौर ने रेलवे स्टेशन पर गांधी जी की प्रतिमा की स्थापना को अपनी स्वीकृति प्रदान की। सतपाल महाराज ने गांधी जी की स्मृति में दक्षिण अफ्रीका में “गांधी रेनबो शांति मार्च” भी निकाला था जिसमें दक्षिण अफ्रीका के सैकड़ों लोगों ने भाग लिया था। इस पदयात्रा में भारतीय प्रतिनिधिमण्डल के 44 सदस्य सतपाल महाराज के नेतृत्व में तिरंगे के साथ शामिल हुए थे। पद यात्रा के समापन पर सिटी हाल में एक भव्य समारोह में सतपाल महाराज ने युवा गांधी की प्रतिमा शहर की महापौर जनले श्लचवायो को भेंट की। यही प्रतिमा मेरित्जबर्ग स्टेशन पर लगाई जाएगी। सतपाल महाराज के सम्मान में महापौर ने नागरिक अभिनन्दन कार्यक्रम भी आयोजित किया।राम प्रताप मिश्रNEWS
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