मुर्शिदाबाद में केंद्रीय बलों ने रोका कट्टरपंथियों का उत्पात, हालात सामान्य
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पश्चिम बंगाल : मुर्शिदाबाद में केंद्रीय बलों ने रोका कट्टरपंथियों का उत्पात, उन्मादियों ने उजाड़ा हिन्दू जनजीवन

पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद में वक्फ अधिनियम के विरोध की आड़ में हिंदू समुदाय पर हमला हुआ। केंद्रीय बलों की तैनाती से हालात काबू में हैं। 210 गिरफ्तारियां, दर्जनों घर-दुकानें जलीं, कई परिवारों ने किया पलायन।

by WEB DESK
Apr 15, 2025, 03:38 pm IST
in भारत, पश्चिम बंगाल
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पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले में वक्फ (संशोधन) अधिनियम के विरोध के नाम पर भड़की हिंसा के बाद केंद्रीय बलों की सख्त कार्रवाई और तैनाती से स्थिति धीरे-धीरे सामान्य हो रही है। जंगीपुर, धुलियान, सूती और शमशेरगंज जैसे संवेदनशील इलाकों में बीएसएफ, सीआरपीएफ और रैपिड एक्शन फोर्स की मौजूदगी ने शांति बहाली में अहम भूमिका निभाई है। अधिकारियों का कहना है कि पिछले 48 घंटों में कोई नई हिंसक घटना सामने नहीं आई, जिससे क्षेत्र में जनजीवन पटरी पर लौट रहा है।

बता दें की जुम्मे वाले दिन, यानि शुक्रवार को नमाज के बाद मुर्शिदाबाद के मुस्लिम बहुल इलाकों में वक्फ अधिनियम के विरोध की आड़ में मुस्लिम कट्टरपंथियों ने जमकर उत्पात मचाया, ये उत्पात शनिवार को और बढ़ गया। इस दौरान उन्मादियों ने हिंदू समुदाय को चुन-चुनकर निशाना बनाया गया। हिंदुओं की दुकानों, मकानों और वाहनों में तोड़फोड़ और आगजनी की गई, जिससे भारी नुकसान हुआ। हिंसा की वजह से कई हिंदू परिवारों को डर के मारे घर छोड़कर पलायन करना पड़ा। हिन्दुओं को अपने ही देश में अपने ही क्षेत्र में शरणार्थियों की तरह स्कूलों और अस्थायी शिविरों में रातें गुजारने को मजबूर होना पड़ा।

वहीं केंद्र सरकार के निर्देश पर तैनात केंद्रीय बलों ने त्वरित कार्रवाई करते हुए स्थिति को नियंत्रित किया। केंद्र सरकार की इस पहल से हिंसा प्रभावित क्षेत्रों में भय का माहौल कम हुआ और लोग अपने घरों को लौटने लगे हैं।

बीएसएफ के अतिरिक्त महानिदेशक रवि गांधी ने सोमवार को हिंसाग्रस्त सूती, शमशेरगंज और धुलियान का दौरा कर कहा- “केंद्रीय बलों और राज्य पुलिस ने मिलकर संयुक्त रणनीति बनाई है। गश्त बढ़ाई गई है ताकि शांति व्यवस्था बनी रहे”

पुलिस के अनुसार, हिंसा में तीन लोगों की मौत हुई और कई घायल हुए। अब तक 210 उपद्रवियों को गिरफ्तार किया गया है। वहीं स्थानीय लोगों का कहना है कि कट्टरपंथियों ने सुनियोजित तरीके से हिंदू संपत्तियों को निशाना बनाया, जबकि मुस्लिम दुकानों को कोई नुकसान नहीं पहुंचा। एक पीड़ित ने बताया- “हमारी दुकानें लूट ली गईं, घरों में आग लगा दी गई। यह सब वक्फ कानून के विरोध के नाम पर हुआ, लेकिन असल में हिंदुओं को डराने की साजिश थी।”

केंद्र के हस्तक्षेप और केंद्रीय बलों की तैनाती से अब जनजीवन सामान्य हो रहा है। वहीं केंद्रीय बलों की सतर्कता ने न केवल हिंसा को रोका, बल्कि हिंदू समुदाय में विश्वास भी जगाया है कि वे अपने घरों में सुरक्षित रह सकते हैं।

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