बिहार विधानसभा का शीतकालीन सत्र 12 दिसंबर को शुरू हुआ। परम्परा के अनुसार सत्र शुरू होने से पहले राष्ट्रगान गाया जा रहा था, लेकिन इस दौरान बिहार कांग्रेस के विधायक अबिदुर रहमान अपने स्थान पर बैठे रहे। जब विवाद बढ़ा तो अबिदुर रहमान ने कहा कि उनके पैर में दर्द है। इस वजह से वे खड़े नहीं हुए। उनकी इस हरकत के बाद भाजपा नेताओं ने नाराजगी जताते हुए रहमान पर राष्ट्रद्रोह का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है।
भाजपा नेताओं की नाराजगी का कारण यह भी है कि 55 वर्षीय रहमान इसी सत्र में एक दिवंगत सदस्य के सम्मान में 2 मिनट तक मौन रखने के लिए खड़े हुए थे, लेकिन राष्ट्रगान के दौरान उन्होंने खड़ा होना उचित नहीं समझा।
आपको बता दें कि अबिदुर रहमान अररिया विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं। रहमान की इस हरकत के बाद भाजपा विधायक नीरज सिंह ने कहा कि यदि रहमान के पैर में दर्द था, तो 2 मिनट के मौन धारण करते वक्त उनका दर्द कहां गायब हो गया था? जबकि राष्ट्रगान में इससे भी कम समय लगता है। नीरज सिंह के अनुसार रहमान ने जानबूझकर राष्ट्रगान का अपमान किया है।
इस घटना के बाद भाजपा नेताओं ने उनकी निंदा करने के साथ-साथ विधानसभा अध्यक्ष अवध बिहारी चौधरी से राष्ट्रगान के अपमान का संज्ञान लेने और कार्रवाई करने की मांग की है।
आपको बता दें कि पूरे राष्ट्रगान की धुन 52 सेकेंड की होती है, वहीं इसका छोटा संस्करण 20 सेेकेंड लंबा होता है। इसके बावजूद कुछ लोग खड़े नहीं होते हैं।
इसी तरह की एक घटना गत 25 फरवरी को भी हुई थी। बजट सत्र शुरू होने से पहले एआईएमआईएम के विधायकों ने वंदे मातरम गाने से इंकार कर दिया था। हालांकि उस दौरान भाजपा और जदयू का गठबंधन था। वंदे मातरम का विरोध करते हुए एआईएमआईएम के विधायक अख्तरुल इमान ने कहा था कि वंदे मातरम एक भूमि के टुकड़े और अन्य चीजों की पूजा करने का आभास देता है, जिसका इस्लाम में उल्लेख नहीं है।
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