यूपी कैसे चला महाराष्ट्र और गुजरात की राह पर
July 23, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • अधिक ⋮
    • ऑपरेशन सिंदूर
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • जनजातीय नायक
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • अधिक ⋮
    • ऑपरेशन सिंदूर
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • जनजातीय नायक
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • धर्म-संस्कृति
  • पत्रिका
होम भारत उत्तर प्रदेश

यूपी कैसे चला महाराष्ट्र और गुजरात की राह पर

राजनीतिक हस्तक्षेप और भ्रष्ट नौकरशाही की छवि से बाहर निकल रहा है उत्तर प्रदेश

by विवेक शुक्ला
Dec 10, 2022, 09:59 am IST
in उत्तर प्रदेश
राजनीतिक हस्तक्षेप और भ्रष्ट नौकरशाही की छवि से बाहर निकल रहा है उत्तर प्रदेश

राजनीतिक हस्तक्षेप और भ्रष्ट नौकरशाही की छवि से बाहर निकल रहा है उत्तर प्रदेश

FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

उत्तर प्रदेश को लेकर एक आम धारणा थी कि यहां राजनीतिक हस्तक्षेप और भ्रष्ट नौकरशाही के चलते कोई काम नहीं हो पाता। हालांकि यूपी अब अपनी इस छवि से बाहर निकल रहा है। यह न केवल भारत में पसंदीदा निवेश स्थल के रूप में तेजी से उभर रहा है बल्कि विभिन्न योजनाओं (प्रोजेक्ट) को भी तेजी से लागू कर रहा है। योजनाओं को लागू करने के मामले में महाराष्ट्र के बाद उत्तर प्रदेश दूसरे नंबर पर है। वित्तीय वर्ष 2022 में महाराष्ट्र में 17.31 लाख करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट या तो लागू किए जा चुके हैं या कार्यान्वयन के अंतिम चरण में हैं। वहीं, उत्तर प्रदेश की बात करें तो यह योजनाओं को लागू करने के मामले में दूसरे नंबर पर है। सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी एंड केयरएज से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार, उत्तर प्रदेश में 9.79 लाख करोड़ रुपये की योजनाएं या तो लागू की जा चुकी हैं या कार्यान्वयन के अंतिम चरण में हैं। इस सूची में ओडिशा (9.11 लाख करोड़ रुपये) और गुजरात (8.95 लाख करोड़ रुपये) क्रमशः तीसरे और चौथे स्थान पर हैं, जबकि आंध्र प्रदेश पांचवें नंबर पर है। यहां 8.73 लाख करोड़ रुपये की योजनाएं लागू करने के अंतिम चरण में हैं। उत्तर प्रदेश में पिछले पांच वर्षों में 3 लाख करोड रुपये के निवेश संबंधी प्रस्ताव लागू किए गए। यह चौंकाने वाला है।

उत्तर प्रदेश की प्रकृति में बड़ा बदलाव

यह स्पष्ट है कि महाराष्ट्र, गुजरात, कर्नाटक और आंध्र प्रदेश जैसे राज्य निवेशकों को आकर्षित करने के साथ ही योजनाओं को लागू भी कर रहे हैं। इस सूची में उत्तर प्रदेश का शामिल होना स्वागत और आश्चर्यचकित, दोनों करता है। आश्चर्य इसलिए कि कुछ साल पहले तक उत्तर प्रदेश निवेशकों को लुभाने और यह सुनिश्चित करने के लिए कि योजनाएं समय पर लागू की जाए, इसपर बमुश्किल ही ध्यान देता था। अब उत्तर प्रदेश की प्रकृति में एक बड़ा बदलाव आया है। निश्चित रूप से इस तरह के बदलाव से निवेशक प्रोत्साहित और खुश होते हैं कि अब उनके प्रोजेक्ट समय पर शुरू होंगे। इससे उन निवेशकों को भी प्रोत्साहन मिलता है तो निवेश की योजना बना रहे हैं।

इन राज्यों से आगे है यूपी

स्वाभाविक रूप से, योजनाओं को लागू करने में उत्तर प्रदेश का प्रदर्शन कम से कम कहने के लिए अभूतपूर्व है। उत्तर प्रदेश केवल महाराष्ट्र से पीछे है और परियोजनाओं के कार्यान्वयन के मामले में गुजरात, आंध्र प्रदेश, दिल्ली और कर्नाटक जैसे राज्यों से आगे है। यह कहना पर्याप्त होगा कि यह कारपोरेट क्षेत्र से निजी निवेश को आकर्षित करने में काफी मददगार साबित होगा। यह उच्च विकास दर और आर्थिक विकास के लिए भी महत्वपूर्ण है। अधिक निवेश प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष, दोनों तरह से रोजगार पैदा करके, खपत को बढ़ावा देकर और आगे के विकास को बढ़ाकर अर्थव्यवस्था में योगदान देते हैं।

इन कंपनियों ने दिखाई दिलचस्पी

समग्र रूप से भारत भर में बहुत उत्साहित करने वाला माहौल दिख रहा है। भारत के अधिकांश राज्य निवेश और निवेशकों की तलाश कर रहे हैं। हाल के दिनों में, हमने देखा है कि उत्तर प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र और तेलंगाना ने वैश्विक इलेक्ट्रॉनिक कंपनियों को आकर्षित किया है। इनमें एप्पल, इंटेल, सैमसंग और एलजी की प्रतिनिधि कंपनियों के साथ-साथ फॉक्सकॉन और जाबिल जैसे कांट्रैक्टर और असेंबलर (संयोजनकर्ता) भी शामिल हैं। उत्तर प्रदेश और रियायतें देने का वादा कर रहा है – रियायती भूमि से लेकर जीएसटी पर छूट और पूंजी और ब्याज सब्सिडी तक। उत्तर प्रदेश स्पष्ट रूप से संभावित निवेशकों को ऐसे समय में लुभाने के लिए लगातार प्रयास कर रहा है जब आर्थिक गतिविधियों को गति देने के लिए निवेश की आवश्यकता है।

राज्यों के बीच प्रतिस्पर्धा

भारत के विकास के लिए, राज्यों के बीच सहयोग और प्रतिस्पर्धा के बीच एक स्वस्थ संतुलन समय की आवश्यकता है। प्रधानमंत्री ने अपने स्वतंत्रता दिवस भाषण में भी ‘सहकारी प्रतिस्पर्धी संघवाद’ का आह्वान किया था। उच्च आर्थिक विकास हासिल करने और विकास के मापदंडों पर एक-दूसरे को मात देने के लिए राज्यों के बीच प्रतिस्पर्धा, भारत के लिए अच्छा है। बुनियादी ढांचे और दीर्घकालिक निवेश के महत्वपूर्ण क्षेत्रों में सरकार और निजी क्षेत्र के बीच प्रभावी भागीदारी से विकास में तेजी आएगी। चूंकि उत्तर प्रदेश विशाल आबादी वाला एक बडा राज्य है, इसलिए समग्र विकास के लिए इसे सभी क्षेत्रों से निवेश की आवश्यकता है। हालांकि, यह सभी राज्यों पर लागू होता है। उत्तर प्रदेश सरकार ने निजी निवेश को आकर्षित करने के लिए विभिन्न प्रारुपों की घोषणा की हैं, खासकर सड़क और राजमार्गों, हवाई अड्डों, औद्योगिक पार्कों और उच्च शिक्षा और कौशल विकास क्षेत्रों में।

10 लाख करोड़ रुपये के निवेश का लक्ष्य

10-12 फरवरी को लखनऊ में ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (जीआईएस) का आयोजन होना है। यूपी ने शिखर सम्मेलन के माध्यम से 10 लाख करोड़ रुपये के निवेश का लक्ष्य रखा है। यह याद रखना जरूरी है कि कोई भी देश या राज्य तब बड़ी छलांग लगाता है जब नेतृत्व सक्रिय होकर इस दिशा में कार्य करता है। इस संबंध में, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ निवेशकों को लुभाने की पूरी कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने वैश्विक और घरेलू उद्योगों को उत्तर प्रदेश द्वारा प्रदान किए जा रहे बड़े अवसरों का लाभ उठाने का आह्वान किया है। ताकि समृद्ध और शक्तिशाली “न्यू इंडिया” बनाया जा सके।

और अगर उत्तर प्रदेश सरकार बेहतरी के लिए बदली है, तो यह सही समय है कि राज्य के युवा नौकरी करने से परे सोचें। उन्हें एक उद्यमी बनने पर विचार करना चाहिए। उद्यमिता एक गतिशील वैश्विक बाजार में एक नए व्यापार विचार के जरिए जोखिम लेने, योजना बनाने, व्यवस्थित करने और लागू करने की सहज प्रवृत्ति है। उद्यमिता नौकरी की तलाश के बजाय नौकरी सृजन के लिए जानी जाती है। उद्यमी स्वतंत्र सोच वाले, नवोन्मेषी लोग होते हैं। उद्यमिता कठिन हो सकती है, लेकिन यह एक पुरस्कृत यात्रा है।

पढ़िये रवीश पीपल की कहानी

आर्थिक उदारीकरण के बाद, हजारों युवाओं ने अपना उद्यम शुरू किया है और बहुत अच्छा कर रहे हैं। रवीश पीपल, आगरा के ऐसे ही एक युवा हैं। ताजमहल वाले शहर में उनके पिता की जूतों की एक छोटी सी फैक्ट्री थी। कॉलेज के बाद रवीश पीपल नौकरी या व्यवसाय के अंर्तद्वंद से जूझ थे। अंत में, उन्होंने अपने पारिवारिक व्यवसाय को चुना और इसका बड़े पैमाने पर विस्तार किया। पीपल कहते हैं, “जब तक मैंने कारोबार नहीं चुना था उस समय तक हम छोटा व्यवसाय कर रहे थे। मैंने अपने उत्पादों के लिए स्थानीय बाजार के बजाय विदेशी बाजार को देखा। विदेशी बाजार, मेरी उम्मीद से अधिक बडा था। मैंने इसे ध्यान से टैप किया और इस समय अच्छा बिजनेस कर रहा हूं। उनके अनुसार, नौकरी करने के बजाय कुछ व्यवसाय शुरू करने का यह एक अच्छा समय है क्योंकि इस समय आसानी से ऋण प्राप्त किया जा सकता है।

एक बात बहस से परे है, उत्तर प्रदेश को राजनीति से परे सोचना है, तो निवेशकों को निवेश करने के लिए एक आदर्श स्थिति बनानी होगी और राज्य के युवाओं को भी नौकरी मांगने के बजाय खुद का मालिक बनने के बारे में सोचना होगा। कई कारणों से यह बिहार के बजाय महाराष्ट्र और गुजरात जैसे प्रगतिशील राज्यों के साथ रहने जैसा है। उत्तर प्रदेश को मौजूदा निवेशकों के अनुकूल नीतियों को बनाए रखना है ताकि निवेशक भगवान राम और भगवान कृष्ण को जन्म देने वाली पवित्र भूमि में निवेश करना पसंद करें।

Topics: गुजरातयूपीविकाससीएम योगीDevelopmentCM yogiGujaratupराजनीतिक हस्तक्षेपमहाराष्ट्रpolitical interferenceउत्तर प्रदेशMaharashtraUttar Pradeshयोगी आदित्यनाथYogi Adityanath
ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

ऑनलाइन गेम्स के दुष्प्रभाव सामने आने लगे हैं।

ऑनलाइन गेम्स की लत से परिवार तबाह, महाराष्ट्र में बैन की उठी मांग !

हिंदू वेश में उन्माद की साजिश नाकाम : मुजफ्फरनगर में 5 मुस्लिम गिरफ्तार, कांवड़ियों के बीच भगवा वेश में रच रहे थे साजिश

चाकू दिखाकर डराता युवक

महाराष्ट्र: युवक ने स्कूल से घर लौटी छात्रा की गर्दन पर चाकू रख किया ड्रामा, भीड़ ने जमकर की धुनाई

देवेंद्र फडणवीस, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री

‘मेरे जन्मदिन पर होर्डिंग पर पैसा खर्च न करें, मुख्यमंत्री सहायता निधि में करें दान’, फडणवीस की कार्यकर्ताओं से अपील

योगी आदित्यनाथ, मुख्यमंत्री, उत्तर प्रदेश

पूर्वी पाकिस्तान से विस्थापित परिवारों को मिलेगा भूमि स्वामित्व, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का बड़ा निर्देश

मराठी बोलने का बना रहे थे दबाव, महिला ने जवाब दिया- हिंदी बोलो, हिंदूस्तानी नहीं हो क्या?­ VIDEO वायरल

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

हेनले पासपोर्ट इंडेक्स 2025 में भारत की रैंकिंग में 8 स्थानों की छलांग

Henley Passport Index 2025 : भारत की पासपोर्ट रैंकिंग में जबरदस्त सुधार, अब 59 देशों में वीज़ा-मुक्त प्रवेश

नोएडा, दिल्ली और गुजरात से अलकायदा के आतंकी गिरफ्तार

अलकायदा के 4 आतंकी गिरफ्तार, भारत में बड़े हमले की साजिश का पर्दाफाश, गुजरात एटीएस ने नोएडा और दिल्ली से दबोचा

Election

उत्तराखंड : ग्राम जिला पंचायत चुनाव का पहला मतदान कल 24 को, दूसरा 28 को

कार्तिकेय महादेव मंदिर में पूजा-पाठ करते श्रद्धालु

संभल में 46 साल बाद कार्तिकेय महादेव मंदिर में हुआ जलाभिषेक, सावन की शिवरात्रि रही खास

अमेरिका-चीन के बीच दोस्ती.? : ट्रंप ने दिए चाइना दौरे के संकेत, कहा- ‘चीन जाना अब दूर की बात नहीं’

…ये मेरे लिए उचित नहीं : CJI गवई ने जस्टिस वर्मा मामले से खुद को किया अलग, जानिए अब आगे क्या होगा..?

डिप्लोमैटिक कारें, विदेशी प्रोटोकॉल, भर-भर कर पैसा : गाजियाबाद में ‘फर्जी राजदूत’ के अवैध दूतावास का खुलासा

ऑस्ट्रेलिया में भारतीय छात्र चरणप्रीत सिंह पर नस्लीय हमला, हमलावरों ने बेरहमी से पीटा

पाकिस्तान सरकार बलूच विद्रोहियों के बढ़ते प्रभाव को नकार नहीं पा रही है  (File Photo)

Balochistan के खौफ में घिरे जिन्ना के देश की सरकार का नया हुक्म, ‘रात के वक्त बलूचों के इलाके में न जाएं’

मोहम्मद यूनुस ने आखिर ऐसा क्या किया जो लोग कह रहे हैं- भीख मांग रहा बांग्लादेश

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • जीवनशैली
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies