विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के प्रमुख डॉ. तेद्रोस घेबरेयसस ने भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ कल बाली में जी—20 के मौके पर भेंट की। इस दौरान डॉ. तेद्रोस ने वैश्विक पारंपरिक स्वास्थ्य केंद्र अपने यहां आयोजित करने तथा निर्माण को लेकर विश्व स्वास्थ्य इकाई से मिलकर सहयोग करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को धन्यवाद दिया। उन्होंने मोदी से हुई इस भेंट की फोटो भी ट्वीट की और उसे कैप्शन दिया-थैंक यू।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के प्रमुख डॉ. तेद्रोस ने मोदी का धन्यवाद इसलिए भी किया कि उन्होंने ‘हेल्थ फॉर ऑल’ सुनिश्चित करने में सहयोग दिया है। वैश्विक स्वास्थ्य केंद्र को स्थापित करने में भारत की तरफ से व्यक्त किए गए समर्थन के प्रति भी उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रशंसा की और उनका आभार भी जताया।
उल्लेखनीय है कि इंडोनेशिया के बाली में जी—20 शिखर सम्मेलन चल रहा है। इसमें दुनिया के अन्य अनेक बड़े नेताओं के साथ मोदी और विश्व स्वास्थ्य संगठन के प्रमुख भी भाग ले रहे हैं। सम्मेलन में अपने वक्तव्य में डॉ. तेद्रोस ने कोरोना महामारी तथा स्वास्थ्य संकट के संदर्भ में भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी ने दुनिया की अर्थव्यवस्था को तबाह करके रख दिया है।
दिलचस्प बात है कि प्रधानमंत्री मोदी के साथ अपनी फोटो ट्वीट करते हुए डॉ. तेद्रोस ने लिखा है कि वैश्विक पारंपरिक स्वास्थ्य केन्द्र की मेजबानी तथा निर्माण के लिए डब्ल्यूएचओ के साथ आपके सहयोग हेतु भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का धन्यवाद। ‘सभी के लिए स्वास्थ्य’ में हम साथ हैं।
यहां बता दें कि गुजरात के जामनगर शहर में इसी साल अप्रैल माह में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, डब्ल्यूएचओ महानिदेशक डॉ. तेद्रोस तथा मॉरीशस के प्रधानमंत्री प्रविंद जगन्नाथ ने डब्ल्यूएचओ के वैश्विक पारंपरिक स्वास्थ्य केंद्र की नींव रखी थी। डब्ल्यूएचओ ने बताया है कि भारत से 25 करोड़ अमेरिकी डॉलर के निवेश वाले इस केंद्र का उद्देश्य लोगों तथा धरती के स्वास्थ्य में सुधार के लिए आधुनिक विज्ञान तथा प्रौद्योगिकी के जरिए दुनियाभर से पारंपरिक चिकित्सा की सामर्थ्य का दोहन करना है।
डब्ल्यूएचओ का कहना है कि दुनिया की करीब 80 प्रतिशत आबादी पारंपरिक चिकित्सा पर चलती है। डब्ल्यूएचओ के 194 सदस्य देशों में से 170 ने अपने यहां पारंपरिक चिकित्सा के प्रयोग की जानकारी दी है। उन देशों की सरकारों ने पारंपरिक चिकित्सा पद्धतियों तथा उत्पादों पर प्रामाणिक साक्ष्य और डाटा की एक इकाई बनाने में वैश्विक स्वास्थ्य निकाय को समर्थन देना स्वीकार किया है।
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