आगरा में राजस्थान और एमपी सीमा पर बहने वाली नदियों में अवैध खनन की शिकायतों को देखते हुए पुलिस ने अपना अभियान शुरू कर दिया है। पुलिस की सख्ती के बाद से नदियों में जाने वाले वाहन गायब हो गए हैं।
जानकारी के मुताबिक एसएसपी प्रभाकर चौधरी ने आगरा की नदियों में हो रहे गैर कानूनी खनन की शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए एक अभियान शुरू किया है। राजस्थान और एमपी की सीमा पर बहने वाली नदियों में हो रहे अवैध खनन को रोकने के लिए उन्होंने पुलिस स्कॉड बनाए हैं, बॉर्डर एरिया पर लंबे समय से जमे हुए दारोगाओं और पुलिसकर्मियों के ट्रांसफर कर दिए। पिछले एक हफ्ते में 61 मामले अवैध खनन के दर्ज हुए हैं। एसएसपी ने इन सभी मामलों में नामजद लोगों की कुंडली खंगालनी शुरू करने के लिए भी अपने स्काड को लगाया है।
एसएसपी चौधरी ने राजस्थान और मध्यप्रदेश के संबंधित जिलों के पुलिस प्रमुखों से बातचीत की है कि वो अवैध खनन करने वालों को अपने यहां पनाह न लेने दें। जानकारी के मुताबिक एक हफ्ते की पुलिस सख्ती में ही मलपुरा, सैयो, ईरादतननगर थाना क्षेत्रों की नदियों की तरफ वाहनों का जाना बंद हो गया है। आगरा पुलिस ने वन विभाग को भी कहा है कि वो अवैध खनन को रोकने के लिए नदियों की तरफ जाने वाले रास्तों को चिन्हित करके गड्ढे खुदवाए। पुलिस की अचानक हुई सख्ती से नदी में रेता बालू की चोरी करने वाले मजदूर भी भाग खड़े हुए हैं।
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