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तीन-तीन महत्वपूर्ण पद दे रखे थे यादव सिंह को
करोड़ों की नकदी, आभूषण व संपत्ति से जुड़े कागज जब्त
आयकर विभाग की छापेमारी में नोएडा, ग्रेटर नोएडा और यमुना एक्सप्रेसवे के प्रमुख अभियंता यादव सिंह के घर के बाहर खड़ी गाड़ी से दस करोड़ रुपए नकद बरामद किए गए। आयकर विभाग की 20 टीमों द्वारा दिल्ली, नोएडा और गाजियाबाद में हुई छापेमारी में 13 लॉकर सील किए गए। करोड़ों रुपए की बेनामी संपत्ति और प्रॉपर्टी रखने के साथ यादव सिंह द्वारा बड़े स्तर पर कर चोरी होने पर यह कार्रवाई की गई है। खास बात यह है कि राजनीतिक व प्रशासनिक पहंुच से यादव सिंह सपा-बसपा दोनों ही सरकारों में मलाई खाता रहा। आयकर विभाग के अनुसार मेंकॉन इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड और मीनू क्रिएशन प्राइवेट लिमिटेड के व्यावसायिक और निदेशकों के रिहायशी ठिकानों पर गत 27 नवम्बर को छापेमारी शुरू की गई थी। मेकॉन के निदेशकों में राजेन्द्र मनोचा, नम्रता मनोचा और यादव सिंह की पत्नी कुसुमलता शामिल हैं। छापेमारी में संपत्ति से जुड़े कई दस्तावेज बरामद किए गए। 28 नवम्बर को हुई छापेमारी में यादव सिंह के घर से हीरे और सोने के दो किलो आभूषण और 12 लाख रुपए नकद बरामद किए गए। यादव सिंह की पत्नी के साझेदार राजेन्द्र मनोचा की फार्च्यूनर गाड़ी से दस करोड़ रुपए बरामद किए गए, जो कि यादव के घर के बाहर खड़ी हुई थी। मनोचा के घर हुई छापेमारी में सोफे में छिपाकर रखी गई एक चाबी मिली थी, जो कि फार्च्यूनर गाड़ी की थी जिसमें नकदी रखी हुई थी। कुसुमलता की कपड़ा फैक्टरी से 12.5 करोड़ रुपए के कपड़े जब्त किए गए। मीनू क्रिएशंस के निदेशक के घर से 40 लाख रुपए जब्त किए गए। आरोप है कि कुसुमलता और उनके साझेदारों को नोएडा प्राधिकरण की ओर से बड़ी संख्या में प्लॉट आवंटित किए गए थे।
आयकर विभाग की छापेमारी के बाद यादव सिंह को उ. प्र. सरकार ने तीनों पदों से हटा दिया। सपा सरकार की मेहरबानी के चलते अभी यादव सिंह को एक नहीं तीन-तीन महत्वपूर्ण पद दिए गए थे, बसपा सरकार में भी उसकी मजबूत पकड़ रही थी। फिलहाल उसे नोएडा प्राधिकरण कार्यालय के साथ लगाया गया है। आरोप है कि यादव सिंह ने 40 फर्जी कंपनियां खोलकर कीमती भूमि सस्ते दामों में खरीदकर उसे मोटे दाम पर बेचकर मुनाफा कमाया था। यादव सिंह पर ठेके देने के बदले भी मोटी घूस लेने का आरोप है। इसके बाद प्रवर्तन निदेशालय भी यादव सिंह के खिलाफ 'मनी लांडरिंग' का मामला दर्ज करने की तैयारी में है। इसके लिए वर्ष 2012 में उ. प्र. में उसके खिलाफ सीबीसीआईडी के मामले को आधार बनाया जा सकता है। ल्ल प्रतिनिधि
नियमों को दरकिरार कर पाई तरक्की
यूं तो तरक्की पाने में लोगों का जीवन गुजर जाता है, लेकिन यादव सिंह चाहे सपा हो या बसपा, जो भी सरकार रही उन सभी के चहेते बने रहे। यही वजह रही कि यादव सिंह को नियमों को ताक पर रखकर तरक्की पर तरक्की दे दी गई। यादव सिंह ने 1980 में कनिष्ठ अभियंता के रूप में नौकरी पाई थी। यही तरक्की देने पाने वाले यादव सिंह को सरकारी महकमे से भी पूरी मदद मिली और इंजीनियरिंग की डिग्री पाने के लिए तीन वर्ष का समय भी दिया गया। यादव सिंह ने इंजीनियरिंग की डिग्री दिलाने वाले लोगों के बच्चों को भी नोएडा प्राधिकरण में नौकरी देकर खुश कर दिया।
समुद्र मार्ग से कर सकते हैं
आतंकी हमला
जम्मू-कश्मीर में लगातार पाकिस्तान की ओर से हो रहे हमले के बाद अब आशंका जताई जा रही है कि समुद्र के रास्ते भी आतंकी हमला कर सकते हैं। भारतीय नौसेना प्रमुख ने हिन्द महासागर में समुद्र के रास्ते भारत में आतंक मचाने का अंदेशा जताया है। नौसेना दिवस पर नौसेना प्रमुख एडमिरल आर. के. धोवन ने आतंकी संगठनों की समुद्री क्षेत्र में सक्रियता बढ़ने की बात कही है। उनके मुताबिक समुद्र में दो से ढाई लाख मछुआरों की नौकाओं में से आतंकी किसी भी नौका का अगवा कर उसे अपना निशाना बना सकते हैं। भारत के एक हजार से अधिक द्विपीय क्षेत्रों व साढ़े सात हजार किलोमीटर से लंबी समुद्री सीमा के चलते सुरक्षा व निगरानी रखना बेहद चुनौतीपूर्ण है।
भारतीय नौसेना प्रत्येक तकनीक का सहारा लेकर आतंकियों की मंशा रोकने के लिए प्रयत्न कर रही है। बीते छह वर्षों में तटीय सुरक्षा को मजबूत करने के लिए वृहद स्तर पर उच्च क्षमता के कैमरे व रडार नेटवर्क की योजनाएं शुरू की गई हैं। गौरतलब है कि हाल ही में पाकिस्तान नौसैनिक युद्धपोत पीएनएस जुल्फिकार को आतंकियों द्वारा हथियाने की नापाक कोशिश की गई थी। इन सभी को ध्यान में रखते हुए नौसेना प्रमुख द्वारा जताई गई चिंता काफी अहम है। गौरतलब है कि मुंबई में हुए आतंकी हमले के दौरान भी आतंकियों ने समुद्र मार्ग का प्रयोग किया था। इस दृष्टि से आतंकी गतिविधियों पर समुद्री मार्ग से कड़ी निगरानी बरती जा रही है।
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