“मैंने अपनी मानसिक शांति खो दी है… अगर कॉलेज कुछ नहीं करेगा तो मैं आत्महत्या कर लूंगी”… यह कोई फिल्मी डायलॉग नहीं, बल्कि ओडिशा की एक 20 वर्षीय छात्रा की आखिरी चीख थी।
ओडिशा के बालासोर ज़िले में एक छात्रा ने खुद को आग लगा ली। आत्मदाह करने से पहले उसने कई बार गुहार लगाई थी। अस्पताल में ज़िंदगी और मौत के बीच झूलते हुए, आख़िरकार 14 जुलाई की रात 11 बजकर 46 मिनट पर छात्रा ने दम तोड़ दिया। वहीं अब पीड़िता द्वारा कार्रवाई के लिए लिखा हुआ पत्र भी सामने आया है. जिसमे उसने HoD पर गंभीर आरोप लगाए हैं।
क्या लिखा था पत्र में..?
फकीर मोहन (स्वायत्त) महाविद्यालय में B.Ed की पढ़ाई कर रही इस 20 साल की लड़की ने एक सप्ताह पहले कॉलेज को पत्र लिखा था।
उसने साफ तौर पर लिखा-
“B.Ed विभाग के HoD प्रोफेसर समीर कुमार साहू मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रहे हैं। बार-बार धमकी दे रहे हैं कि मैं फेल हो जाऊंगी। वह मेरे निजी जीवन की बातें मेरे परिवार को बताने की धमकी देते हैं। और सबसे भयानक बात ये है कि वो मुझसे यौन संबंध बनाने की ज़िद कर रहे हैं। मैंने मना किया, फिर भी शोषण चलता रहा। मैंने आत्महत्या की कोशिश की है… अगर कॉलेज ने कार्रवाई नहीं की, तो मैं अपनी जान दे दूंगी… और इसके ज़िम्मेदार HoD और कॉलेज प्रशासन होंगे।”
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पत्र लिखने के चार दिन बाद, इस पीड़ित छात्र ने खुद को आग लगा ली। जब कोई कुछ कर पता वह 90% जल चुकी थी। जिसके बाद उसे पहले बालासोर के ज़िला अस्पताल में भर्ती कराया गया, फिर हालात गंभीर होने पर AIIMS भुवनेश्वर ले जाया गया। जहां ICU, वेंटिलेटर, एंटीबायोटिक्स, किडनी सपोर्ट के साथ डॉक्टरों ने भरसक प्रयास किया। लेकिन उसकी जान नहीं बाख सकी।
क्या हो रहा है अब..?
वहीं अब पीड़िता की दुखद मृत्यु के बाद प्रशासन हरकत में आया है और एक्शन लेकर प्रोफेसर समीर कुमार साहू, कॉलेज प्रिंसिपल दिलीप घोष को गिरफ्तार कर लिया है। वहीं जांच के बाद अभी और कार्रवाई होंना भी तय माना जा रहा है।
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