बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस ने दी चुनाव की नई समयसीमा: मगर तारीखें नदारद
July 10, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • धर्म-संस्कृति
  • पत्रिका
होम विश्व

बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस ने दी चुनाव की नई समयसीमा: मगर तारीखें नदारद

मोहम्मद यूनुस ने अप्रैल 2026 में चुनाव की घोषणा की, लेकिन बीएनपी और 90% दलों की दिसंबर मांग को नजरअंदाज कर अस्थिरता बढ़ गई। अवामी लीग पर बैन और यूएन की बदलती भूमिका पर सवाल उठ रहे हैं।

by सोनाली मिश्रा
Jun 7, 2025, 01:15 pm IST
in विश्व, विश्लेषण
dr muhammad yunus

मोहम्मद यूनुस

FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

बांग्लादेश अब भी अस्थिरता के दौर से गुजर रहा है। हर गुजरता दिन वहाँ के आम लोगों के दिलों में यही प्रश्न उत्पन्न कर रहा है कि चुनाव कब होंगे? कब वे लोकतंत्र की प्रक्रिया का हिस्सा बनेंगे। हालांकि चुनावों को लेकर जहाँ बीएनपी और अन्य दल बार-बार प्रश्न कर रहे हैं तो वहीं मोहम्मद यूनुस का कहना है कि जब तक आवश्यक सुधार नहीं होंगे, तब तक चुनाव नहीं होंगे।

यही रस्साकशी चल रही है। मगर अब मोहम्मद यूनुस ने कहा है कि अप्रैल 2026 तक बांग्लादेश में चुनाव हो जाएंगे। बांग्लादेश में अवामी लीग को फिलहाल प्रतिबंधित कर दिया गया है और यह भी दिख रहा है कि कट्टरपंथी नेताओं को जमानतें मिल रही हैं। ऐसा लगता है कि जैसे सारी परिभाषाएं ही बांग्लादेश में परिवर्तित की जा रही हैं। वहीं बांग्लादेश में यूनाइटेड नेशंस रेज़िडेंन्ट कॉर्डिनेटर गवीन लूइस का भी कहना है कि यदि अवामी लीग चुनावों में सम्मिलित नहीं होती है तो भी बांग्लादेश के आगामी चुनाव समावेशी हो सकते हैं।

इस पर कई राजनीतिक विशेषज्ञों का कहना है कि यह बांग्लादेश को नियंत्रित करने का एक षड्यन्त्र है। तस्कीन वाहेद आकाश बांग्लादेश के स्वतंत्र स्वरों में से एक स्वर हैं। वे राष्ट्र की एकता और बंगबंधु की विरासत की बात करते हैं और बांग्लादेश की इस बिना चुनी सरकार के राजनीतिक नाटकों की खुलकर आलोचना करते हैं। उन्होंने एक्स पर लिखा कि यूएन के दोहरे मापदंड आज दिख गए। वर्ष 2018 में इसी यूएन ने स्पष्ट किया था कि एक विश्वसनीय चुनाव के लिए सभी पार्टियों की संलग्नता आवश्यक है। मगर वर्ष 2025 यूएन की भूमिका बदल गई है। अब कहा जा रहा है कि यदि अवामी लीग, जो कि बांग्लादेश की सबसे बड़ी और सबसे ऐतिहासिक पार्टी है, वह भी अनुपस्थित रहती है तो भी चुनाव समावेशी हो सकते हैं।

इसका अर्थ हुआ कि लाखों मतदाताओं को तो बाहर ही कर दिया जाएगा। वे लिखते हैं कि इससे किसका फायदा होगा? इससे एक ऐसा चुनाव होगा जिसके परिणामों का निर्धारण लोगों द्वारा नहीं बल्कि उनके द्वारा होगा जिन्हें एक विभाजित और कमजोर बांग्लादेश पसंद है।

A Plan to Control Bangladesh: UN’s Double Standards

In 2018, the United Nations made it clear: a credible election requires the participation of all major political parties. Importantly, no major party was forced to stay out. While a few smaller parties chose to boycott for… pic.twitter.com/x0GigWoyJR

— Taskin Wahed Akash (@taskinakash71) June 4, 2025

मोहम्मद यूनुस ने हालांकि वर्ष 2026 के अप्रैल में चुनावों की बात की है, मगर यह भी ध्यान रखा जाए कि बांग्लादेश में अवामी लीग के बाद सबसे बड़ी पार्टी बीएनपी ने मार्च में यह कहा था कि यदि दिसंबर के बाद भी चुनावों को टाला जाता है तो अस्थिरता उत्पन्न हो सकती है।

मगर मोहम्मद यूनुस ने दिसंबर तक की टाइम लाइन को अनदेखा किया है। अब अप्रेल 2026 की नई तारीख दी है। इसे लेकर लोगों के दिलों में संदेह है। क्योंकि मोहम्मद यूनुस ने चुनावों को लेकर किसी भी तारीख की घोषणा नहीं की है। न ही उन्होंने यह बताया है कि क्या तैयारी की गई है, किस प्रक्रिया का पालन किया जाएगा, या फिर कैसे प्रशासन क्या कदम उठाएगा? बस उन्होंने यह घोषणा की है कि चुनाव अप्रैल 2026 में कराए जाएंगे।

prothomalo के अनुसार बांग्लादेश की कम्युनिस्ट पार्टी जहाँ दिसंबर तक चुनाव चाहती है तो वहीं कथित छात्रों की पार्टी नेशनल सिटीजन पार्टी का कहना है कि यदि जुलाई चार्टर, जुलाई घोषणापत्र और सुधारों पर अप्रैल तक प्रभावी कदम उठाए जाते हैं, तो उन्हें मुख्य सलाहकार द्वारा घोषित समय सीमा में देश में चुनाव कराने में कोई आपत्ति नहीं है।

वहीं इस घोषणा को लेकर बांग्लादेश की मुख्य विपक्षी पार्टी बीएनपी खुश नहीं है। इस घोषणा पर प्रतिक्रिया देते हुए पार्टी की स्थाई समिति के सदस्य अमीर खसरू महमूद चौधरी ने कहा कि जब 90 प्रतिशत राजनीतिक दलों ने मांग की है कि चुनाव दिसंबर तक करा लिए जाएं, तो सवाल उठता है कि 90 प्रतिशत की इच्छा को दरकिनार करके ऐसा निर्णय कैसे लिया जा सकता है। prothomalo के अनुसार उन्होंने कहा कि जब बार-बार यह कहा गया कि सभी निर्णय आम सहमति के आधार पर बनाए जाएंगे तो इतने बड़े निर्णय में से 90% की सहमति को क्यों निकाल दिया गया?

ढाका ट्रिब्यून के अनुसार, बीएनपी के नेता रुहुल कबीर रिजवी ने 5 जून को अंतरिम सरकार पर यह आरोप लगाया था कि वह चुनावों को लेकर टालमटोल की स्थिति में है। वह राष्ट्रीय चुनाव टाल रही है और लोगों की आशा और अपेक्षाओं की उपेक्षा कर रही है। उन्होंने कहा कि शेख हसीना ने स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनावों को बीते कल की बात बना दिया था और जब उन्हें पद से हटाया गया तो लोगों को उम्मीद थी कि डॉ. मोहम्मद यूनुस जल्द ही उनके वोट देने के अधिकार को बहाल कर देंगे। लेकिन, चुनाव के मुद्दे को विभिन्न हथकंडों के जरिए केवल टाला जा रहा है।

यह तो नेताओं की बात है, मगर आम लोग भी सोशल मीडिया पर प्रश्न कर रहे हैं कि आखिर चुनाव कब तक होंगे? बांग्लादेश की सेना ने भी यह कहा था कि दिसंबर तक चुनाव हो जाने चाहिए, और जनता के मत से निर्वाचित सरकार को ही नीतिगत निर्णय लेने चाहिए। यह फिर सभी को पता है कि कैसे एक नाटक सा हुआ, जिसमें मोहम्मद यूनुस ने एनसीपी के नेता नाहिद इस्लाम से कहा कि वे अपने पद से इस्तीफा देने का सोच रहे हैं। मगर उसके बाद एडवाइज़री काउंसिल की एक बैठक हुई, जिसमे जल्दी चुनावों की मांग करने वालों को विदेशी ताकतों के हाथों में खेलने वाला कहा गया था।

यही कारण है कि बीएनपी के नेता कह रहे हैं कि 90% राजनीतिक दलों की सहमति इस निर्णय से पहले क्यों नहीं ली गई?

(डिस्क्लेमर: स्वतंत्र लेखन। यह लेखक के व्यक्तिगत विचार हैं; आवश्यक नहीं कि पाञ्चजन्य उनसे सहमत हो।)

Topics: मोहम्मद यूनुसMohammad YunusAwami League banबांग्लादेश चुनाव 2026बीएनपी विरोधअवामी लीग प्रतिबंधBangladesh Election 2026BNP protest
ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

भारत का बांग्लादेश को करारा जवाब: क्रिकेट सीरीज पर लिया बड़ा एक्शन!

Bangladesh Muhammad Yunus economic crisis

बांग्लादेश में सियासी जंग: यूनुस की एक मुलाकात ने तोड़ा जमात-एनसीपी का भरोसा

Bangladesh Muhammad Yunus

यूनुस ने भारत के खिलाफ उगला जहर: हसीना के बहाने PM मोदी पर निशाना, कट्टरपंथी अराजकता छिपाई

Bangladesh hindu houses burnt by Islamist

बांग्लादेशी हिंदुओं की अनसुनी चीखें: पटुआखाली में हिन्दू घर जलाए, कहां है मानवाधिकार?

अजमेरी हक, अभिनेत्री

हिंदी फिल्म में रॉ एजेंट बनी अभिनेत्री अजमेरी हक पर बांग्लादेश में लगा RAW एजेंट होने का आरोप

यूनुस और शेख हसीना

शेख हसीना ने यूनुस के शासन को कहा आतंकियों का राज तो बीएनपी ने कहा “छात्र नेताओं को कैबिनेट से हटाया जाए”

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

‘अचानक मौतों पर केंद्र सरकार का अध्ययन’ : The Print ने कोविड के नाम पर परोसा झूठ, PIB ने किया खंडन

UP ने रचा इतिहास : एक दिन में लगाए गए 37 करोड़ पौधे

गुरु पूर्णिमा पर विशेष : भगवा ध्वज है गुरु हमारा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को नामीबिया की आधिकारिक यात्रा के दौरान राष्ट्रपति डॉ. नेटुम्बो नंदी-नदैतवाह ने सर्वोच्च नागरिक सम्मान दिया।

प्रधानमंत्री मोदी को नामीबिया का सर्वोच्च नागरिक सम्मान, 5 देशों की यात्रा में चौथा पुरस्कार

रिटायरमेंट के बाद प्राकृतिक खेती और वेद-अध्ययन करूंगा : अमित शाह

फैसल का खुलेआम कश्मीर में जिहाद में आगे रहने और खून बहाने की शेखी बघारना भारत के उस दावे को पुख्ता करता है कि कश्मीर में जिन्ना का देश जिहादी भेजकर आतंक मचाता आ रहा है

जिन्ना के देश में एक जिहादी ने ही उजागर किया उस देश का आतंकी चेहरा, कहा-‘हमने बहाया कश्मीर में खून!’

लोन वर्राटू से लाल दहशत खत्म : अब तक 1005 नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण

यत्र -तत्र- सर्वत्र राम

NIA filed chargesheet PFI Sajjad

कट्टरपंथ फैलाने वाले 3 आतंकी सहयोगियों को NIA ने किया गिरफ्तार

उत्तराखंड : BKTC ने 2025-26 के लिए 1 अरब 27 करोड़ का बजट पास

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • ऑटो
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • लोकसभा चुनाव
  • वोकल फॉर लोकल
  • बोली में बुलेटिन
  • ओलंपिक गेम्स 2024
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies