नैनीताल । नाबालिग हिन्दू लड़की के साथ उस्मान द्वारा किए गए दुष्कर्म की घटना के बाद से चलाए जा रहे सत्यापन अभियान में नैनीताल प्रशासन की भी आंखे खुली है।
नैनीताल जिले के रामनगर, हल्द्वानी ,भवाली और झील नगरी नैनीताल में सरकारी जमीनों पर अवैध कब्जे के दर्जनों मामले चिन्हित हुए है,इसके अलावा झील विकास प्राधिकरण और नगर प्रशासन ने सौ गज से कम प्लाटो की अवैध बिक्री, बिना रजिस्ट्री के मकान बनाने, सरकारी भूमि को स्टांप पेपर पर बेचने खुर्द बुर्द करने के मामले चिन्हित किए है।
प्रशासनिक सूत्रों के अनुसार ज्यादातर मामले मुस्लिम बाहुल्य क्षेत्रों में है जहां बड़ी संख्या में सरकारी जमीनों को अवैध कब्जे कर बेच दिया गया, प्रशासन को भनक तक नहीं लगी और वहां कच्चे पक्के मकान खड़े कर दिए गए है।
हल्द्वानी के गौजाजाली, गौलापार बागजाला, बनभूलपुरा, राजेंद्रनगर में, रामनगर शहर में कोसी नदी किनारे पुछड़ी बस्ती में, नैनीताल में मस्जिद के पीछे, भवाली में श्यामखेत के आसपास अभी तक करीब दो सौ ऐसे अतिक्रमण के मामले चिन्हित किए जा चुके है। जबकि अभी केवल दो दिन का अभियान पूरा हुआ है। बहुत से ऐसे स्थान चिन्हित हुए जहां बिना भू दस्तावेजों के बिजली पानी के कनेक्शन भी दिए गए है। कोई रजिस्ट्री बैनामा मानचित्र तक नहीं है।
डीएम वंदना सिंह ने बताया कि मुख्यमंत्री द्वारा दिए गए दिशा निर्देश के तहत ऐसे अतिक्रमण को चिन्हित किया जा रहा है जोकि सरकारी भूमि पर है, बिना भू दस्तावेजों के अवैध रूप से मकान बना लिए गए, स्टांप चोरी कर राजस्व को नुकसान पहुंचाया गया अपनी पहचान छुपाई गई। उन्होंने बताया कि सत्यापन के लिए गठित की गई प्रशासनिक टीमों द्वारा अभी चिन्हीकरण की कारवाई की जा रही है। आगे इन पर विधिक कार्रवाई की जाएगी।
पूछड़ी बस्ती रामनगर के एसआईटी जांच
रामनगर में कोसी नदी किनारे बाहर से आए लोगों द्वारा सरकारी जमीनों पर अवैध कब्जे कर बस्ती बसा लिए जाने की जांच के लिए शासन ने एसआईटी गठित कर दी है जिसका नोडल आईजी कुमाऊं रिदम अग्रवाल को बनाया गया है। एसआईटी जांच के लिए डीएम नैनीताल द्वारा शासन को पत्र लिखा गया था। इन अवैध कब्जों को लेकर वन विभाग द्वारा पुलिस में एफ आई आर भी नामजद दर्ज की जा चुकी है और अतिक्रमण हटाने के लिए कई बार मुनादी भी की जा चुकी है।
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