केरल के कोच्चि अंतर्गत आने वाले मुनंबम गांव पर वक्फ बोर्ड के दावे पर कांग्रेस सीएम पिनाराई विजयन से भिड़ गई है। राज्य विधानसभा में एलओपी और कांग्रेस नेता वीडी सतीशन ने मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन पर जानबूझकर मुनंबम गांव से जुड़े मुद्दे को नहीं सुलझाने का आरोप लगाया है। कांग्रेस नेता का आरोप है कि ऐसा करके वह ईसाइयों और मुस्लिमों के बीच दरार पैदा करना चाहते हैं। लेकिन, सवाल ये है कि आखिर ऐसा क्या हुआ कि कांग्रेस वक्फ बोर्ड के विरोध में स्वर उठाने लगी?
जबकि, ये समझने वाली बात है कि ये वही कांग्रेस जिसने केरल की पी विजयन की अगुवाई वाली वामपंथी सरकार के साथ एक स्वर में केंद्र सरकार द्वारा लाए गए वक्फ संशोधन अधिनियम-2024 का पुरजोर विरोध किया था। यहीं नहीं जब केरल विधानसभा में वक्फ अधिनियम के खिलाफ प्रस्ताव पारित किया गया था तो उस दौरान भी कांग्रेस ने इसका समर्थन किया था। फिर अचानक से ये बदलाव क्यों? अचानक से मुनंबम के पीड़ितों की तरफ झुकाव क्यों है?
राज्य विधानसभा में वक्फ संशोधन विधेयक का विरोध करने के बाद अब कांग्रेस नेता वीडी सतीशन ये आरोप लगा रहे हैं कि पिनाराई विजयन भाजपा के लिए काम करते हैं और इसीलिए वो मुनंबम मुद्दे के समाधान में देरी कर रहे हैं। वीडी सतीशन का कहना है कि सरकार चाहे तो 10 मिनट के अंदर ही मुनंबम में ईसाइयों की जमीन के मसले को सुलझा सकती है। सतीशन का आरोप है कि सरकार जानबूझकर इस मुद्दे को लंबा खींचने की कोशिश कर रही है, ताकि वह चुनावी लाभ ले सके। इन सभी चर्चाओं के बीच ये स्पष्ट करना आवश्यक हो जाता है कि आखिर मुनंबम का मामला है क्या ?
मुनंबम दरअसल, केरल राज्य के कोच्चि जिले के अंतर्गत आने वाला एक कोस्टल विलेज है। इस गांव में 600 से अधिक ईसाई परिवार रहते हैं। इन्हीं ईसाई परिवारों की जमीन पर हाल ही में केरल वक्फ बोर्ड ने अपना दावा ठोंक दिया। वक्फ बोर्ड ने मुनंबम की 410 एकड़ जमीन को अपना बता दिया। उसे अपने नाम पर रजिस्टर कर लिया। लोगों ने इसका जमकर विरोध किया। कांग्रेस और एलडीएफ दोनों ही वक्फ बोर्ड के मौजूदा कानून का समर्थन कर रही हैं। मुस्लिम तुष्टिकरण में सब कुछ भूल बैठीं ये दोनों ही पार्टियां अब एक दूसरे के विरोध का दिखावा कर रहीं हैं।
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ये सब क्यों हो रहा है? इसका जबाव कांग्रेस नेता वीडी सतीशन के बयानों से मिलता है। वीडी सतीशन ने पिनाराई विजयन के बहाने भाजपा को घेरने की कोशिश की और दावा किया कि भाजपा को चुनावी फायदा देने के लिए मुनंबम जमीन मुद्दे का सामाधान नहीं कर रहे हैं। हालांकि, कांग्रेस नेता ने बड़ी ही शातिरता के साथ इस बात को झुठला दिया कि इसी केरल में वामपंथियों ने कई बार भाजपा नेताओं को निशाना बनाया था। फिर किस तरह से विजयन भाजपा के लिए काम कर सकते हैं। इसके साथ ही कांग्रेस नेता सतीशन ने इस बात को भी स्पष्ट किया कि हाल ही मुस्लिम लीग के नेताओं की एक बैठक हुई थी, जिसमें उन्होंने इस बात को माना कि मुनंबम पर वक्फ बोर्ड का दावा गलत है। यह वक्फ भूमि नहीं है। कांग्रेस का आरोप है कि इस मामले को इसलिए खींचा जा रहा है कि अगर ये मुद्दा सुलझ जाए तो भी ये खाईं न पट सके।
जिस प्रकार से केंद्र द्वारा लाए गए वक्फ संशोधन विधेयक-2024 के विरोध में कांग्रेस आई थी, उसका अचानक से मुनंबम के पीड़ितों के प्रति झुकाव उसके असल इरादों को दिखाता है। कांग्रेस असल में मुस्लिमों के साथ-साथ अब मुनंबम के बहाने ईसाइयों को भी हाथ से हीं जाने देना चाहती। अब जब चूंकि मुस्लिम लीग ने मुनंबम को वक्फ की संपत्ति मानने से इंकार कर दिया है तो कांग्रेसको मौका मिल गया है और वह अब ईसाइयों को भी अपने पाले में करने की कोशिशें कर रही है।
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