नई दिल्ली: अलगाववादी और इस लोकसभा चुनाव में बारामुला से जीता इंजीनियर राशिद तिहाड़ जेल से रिहा हो गया है। उसने रिहाई के साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर विवादास्पद टिप्पणियों की बौछार कर दी। राशिद को आतंकवादी फंडिंग मामले में तिहाड़ जेल में रखा गया था। बुधवार को पटियाला हाउस कोर्ट द्वारा उसे जमानत पर रिहा कर दिया गया।
जेल से रिहा होते समय राशिद ने मीडिया से बात करते हुए कहा, “मोदी जी से कहना चाहेंगे, डरो मत, डराओ मत। हम डरने वाले नहीं हैं। साढ़े पांच साल बाद आने के बाद, मैं अपने लोगों पर गर्व महसूस करता हूं। मैं यह संकल्प लेता हूं कि मैं अपने लोगों को निराश नहीं करूंगा। मैं मोदी के ‘नए कश्मीर’ की धारणा का सामना करूंगा, जिसे जम्मू-कश्मीर के लोगों ने नकार दिया है। 5 अगस्त 2019 को उन्होंने जो भी किया, उसे लोगों ने अस्वीकार कर दिया है।”
राशिद ने कहा कि मैं मोदी जी की नीतियों के खिलाफ अपनी आखिरी सांस तक लड़ूंगा। राशिद ने उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती द्वारा मोदी का प्रोक्सी सपोर्ट कहने पर जवाब दिया, “उमर अब्दुल्ला क्या कहते हैं इससे बड़ी मेरी लड़ाई है। उनकी लड़ाई कुर्सी के लिए है, जबकि मेरी लड़ाई लोगों के लिए है।’महबूबा मुफ्ती को कश्मीर का गद्दार बताते हुए उसने कहा कि महबूबा मुफ्ती ने कश्मीर का बहुत नुकसान किया है। वह कश्मीर को तबाह कर रहीं है।
मोदी के विरोध में की थी वोटिंग
राशिद ने कहा, ‘पहले सोशल मीडिया पर पाबंदी लगी। कहीं बात करने नहीं दी गई। लोगों को ऐसा लगा कि हमें वोट देना चाहिए।कश्मीरियों ने जो वोट डाला, वह मोदी जी के प्यार में नहीं डाला, बल्कि यह बताने के लिए डाला कि कश्मीरी क्या चाहते हैं।‘
राशिद इंजीनियर का असली नाग शेख अब्दुल राशिद है। जम्मू-कश्मीर अवामी इत्तेहाद पार्टी का संस्थापक हैं। साल 2008 में यह ‘राशिद इंजीनियर’ के नाम से सामने आया था। 2019 में राष्ट्रीय जांच एजेंसी के द्वारा आतंकवादी फंडिंग मामले में गिरफ्तार कर लिया गया था।
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