प्रदेश में पिछले कुछ समय से इस्लामी उन्माद की घटनाएं बढ़ गई हैं। जिहादी तत्व हिन्दुओं की नृशंस हत्या करने से बाज नहीं आ रहे हैं। उनके मन में शायद कानून का जरा भी भय नहीं बचा है। साल 2021 के बाद से अब तक करीब15 हिन्दुओं की हत्या हो चुकी है। इनमें कई घटनाएं तो मॉब लिचिंग की हैं। पता नहीं क्या कारण हैं कि जिहादी तत्वों पर लगाम नहीं लग पा रही है! शायद हिन्दू समाज उतना संगठित नहीं है कि दबाव बना पाए।
गत दिनों उदयपुर में एक नाबालिग किशोर की निर्मम हत्या हुई। हिन्दू समाज सड़कों पर उतरा तो आनन-फानन में दोषियों के घर पर बुलडोजर चलाने की कार्रवाई हुई। जयपुर में भी मुस्लिम युवकों ने एक हिन्दू युवक की हत्या की, लेकिन मामला कई दिन लटका रहा। ऐसे माहौल में, बहुसंख्यक हिन्दुओं की भावनाएं भड़काने के लिए जानबूझकर मंदिरों के आसपास अपशिष्ट फैलाने की कुचेष्टाएं भी की जा रही हैं।
कोटा के मोतीपुरा गांव के एक मंदिर में 15 अगस्त की रात कुछ मुस्लिम युवक घुस आए, मंदिर के पुजारी को चाकू दिखाकर जान से मारने की धमकी दी। पुजारी का दोष इतना था कि उसने मंदिर के बाहर मांस पकाने वाले बर्तन धोने को लेकर आपत्ति जताई थी। जयपुर और उदयपुर समेत कई स्थानों पर मंदिरों में अपशिष्ट फेंकने के मामले भी आएदिन सामने आते रहे हैं।
उदयपुर में मासूम देवराज की हत्या ने एक बार फिर बहुचर्चित कन्हैयालाल हत्याकांड की कड़वी यादें ताजा कर दीं। देवराज उदयपुर के सूरजपोल थाना क्षेत्र में भट्टियानी चौहट्टा स्थित सरकारी स्कूल में दसवीं कक्षा में पढ़ता था। किसी बात को लेकर देवराज की सहपाठी मुस्लिम छात्र से बहस हो गई।16 अगस्त को वह मुस्लिम छात्र बस्ते में चाकू छुपाकर स्कूल आया और देवराज की जांघ पर लगातार कई वार करके उसे घायल कर दिया। घटना के बाद शहर के हालात ऐसे बिगड़े कि प्रशासन को इंटरनेट सेवाएं निलंबित करनी पड़ीं। प्रशासन ने वन विभाग की भूमि पर अतिक्रमण कर बने आरोपी के घर को बुलडोजर से ध्वस्त कर दिया। इधर घायल देवराज को उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया। 80 घंटे तक चले उपचार के बाद आखिरकार देवराज रक्षाबंधन के दिन, 19 अगस्त को अपनी बहनों से सदा के लिए दूर चला गया। मौत से कुछ समय पहले ही उसकी बहन सुहानी और चचेरी बहन ने अस्पताल में भाई देवराज को राखी बांधी थी। लेकिन उसी दिन देवराज को मृत घोषित कर दिया गया।
अट्ठाइस जून 2022 को उदयपुर में कन्हैयालाल की निर्मम हत्या कर दी गई थी। वह दर्जी का काम करते थे। हत्या के दो मुख्य आरोपी गौस मोहम्मद और मोहम्मद रियाज अटारी ने उनकी हत्या करने के बाद उसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल किया। मामला बढ़ा तो इसकी जांच एनआईए को सौंपी गई। जांच एजेंसी ने इस हत्याकांड में नौ लोगों को आरोपी बनाया। इनमें से फिलहाल आठ आरोपी जेल में हैं, जबकि एक फरहाद मोहम्मद जमानत पर है।
रियाज के तार आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट (आईएस) के स्लीपर सेल ‘अलसूफा’ से जुड़े पाए गए। गौस मोहम्मद भी रियाज की टीम में था। गौस 2014 में 30 लोगों के साथ कराची गया था। कराची में इन सभी ने पाकिस्तानी संगठन ‘दावत-ए-इस्लामी’ से लगभग 40 दिन आतंकी ट्रेनिंग ली थी। गौस मुस्लिम युवाओं का ब्रेनवॉश कर उन्हें हिन्दुओं के खिलाफ भड़काता था। वह ‘अल्लाह के बंदे’, ‘लब्बो’ या ‘रसूलल्लाह’ जैसे नामों से वॉट्सएप समूह बनाकर मुस्लिमों में कट्टरता पैदा करने का काम करता था।
देवराज की मौत के बाद लोगों में प्रशासन की ढिलाई को लेकर आक्रोश देखने में आया। काफी कहा-सुनी के बाद, सरकार ने 51 लाख रुपये का मुआवजा और एक सदस्य को संविदा पर नौकरी देना स्वीकार किया। देवराज को 20 अगस्त को बड़ी संख्या में नम आंखें लिए उपस्थित शहरवासियों के सामने अंतिम विदाई दी गई। उधर पुलिस ने आरोपी मुस्लिम छात्र को हिरासत में लेने के बाद, उसके पिता को भी गिरफ्तार किया।
जिहादी उन्माद का दूसरा मामला जयपुर के शास्त्री नगर इलाके का है। गाड़ी आगे-पीछे करने जैसी मामूली बात से उपजे विवाद के बाद मुस्लिम युवकों ने स्कूटी सवार हिन्दू युवक को इतना पीटा कि उसकी हालत खराब हो गई। उसे अस्पताल ले जाया गया, जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई।
अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त उत्तर बजरंग सिंह के अनुसार, घटना आजाद नगर में 16 अगस्त, शुक्रवार रात साढ़े आठ बजे हुई। एक ई-रिक्शा पर आजाद नगर निवासी शाहरुख (23) के साथ दो अन्य युवक कहीं जा रहे थे। पास ही स्कूटी पर दिनेश स्वामी (36) और जितेंद्र सवार थे। गाड़ी को आगे—पीछे करने को लेकर ऐसी बहस हुई कि ई-रिक्शा सवार मुस्लिम युवकों ने दिनेश और जितेंद्र को पीट-पीटकर लहूलुहान कर दिया। दिनेश की कोहनी पर गंभीर चोट आई थी। घर पहुंचकर दिनेश को बेचैनी होने लगी। उसे अस्पताल ले जाया गया, जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। परिजनों की शिकायत पर शास्त्री नगर थाना पुलिस ने मामला दर्ज किया।
पुलिस ने आरोपी शाहरुख, मोहसिन और मोहम्मद शाकिर उर्फ लाला को गिरफ्तार कर लिया है। इस घटना के दो आरोपी जयपुर से भागकर फरीदाबाद पहुंच गए थे, जहां से उन्हें पकड़ा गया।
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