देहरादून: पिछले दो दिनों में आफत की बारिश ने पहाड़ी क्षेत्रों में भारी नुकसान किया है। बारिश के कहर ने 14 लोगों की जान ले ली है, कई मवेशी और घर भी भूस्खलन की वजह से दब गए हैं। आपदा हालात का जायजा लेने सीएम धामी ने रुद्रप्रयाग, टिहरी, पौड़ी आदि जिलों का हवाई सर्वेक्षण भी किया और देहरादून में आपदा नियंत्रण कक्ष एस और सभी जिलों के अधिकारियों से ताजा घटनाक्रम की जानकारी भी लगातार ले रहे हैं।
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पीएमओ भी उत्तराखंड की आपदा पर बराबर नजर रखे हुए हैं और पीएम मोदी ने यहां वायुसेना को मदद के लिए भेजा है, जिसमें चिनूक हेलीकॉप्टर भी शामिल हैं। शासकीय जानकारी के अनुसार, रुद्रप्रयाग में मंदाकिनी नदी के उफान ने पैदल केदारमार्ग को नुकसान पहुंचाया है, जिससे करीब दो हजार तीर्थ यात्री फंस गए, एसडीआरएफ ने वैकल्पिक मार्ग बना कर यात्रियों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया है। रामबाड़ा, सोन प्रयाग में भी भारी बारिश से बहुत नुकसान हुआ है। यहां से हेलीकॉप्टर की मदद से तीर्थ यात्रियों को सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया है।
फिलहाल चारधाम यात्रा मार्ग पर शासन ने जिला प्रशासन के सुझाव पर ही आगे की यात्रा करने की अपील तीर्थ यात्रियों से की है। केदारनाथ पैदल मार्ग फिलहाल अवरुद्ध है जिसे ठीक करने के प्रयास किए जा रहे हैं। सीएम धामी ने यहां फंसे हुए तीर्थ यात्रियों को सुरक्षित स्थान पर लाए जाने के बाद बातचीत की। यात्रियों को सरकार की तरफ से हर सुविधा मुहिय्या कराने की बात कही।
टिहरी जिले में पांच लोगो की मौत की खबर है, घनस्याली क्षेत्र में भारी बारिश और बादल फटने से भारी नुकसान की खबर है। घनसाली के जखनियली में रात्रि को बादल फटा था, घटनास्थल पर क्षेत्रीय विधायक शक्तिलाल, जिलाधिकारी मयूर दीक्षित राहत कार्यों की देखरेख कर रहे हैं, सीएम धामी, लोक निर्माण मंत्री सतपाल महाराज भी यहां आपदा प्रभावित क्षेत्रों का जायजा लेने पहुंचे।
अल्मोड़ा के जागेश्वर क्षेत्र में देर रात बादल फटने से हालात डरावने हो गए, यहां बारिश थमने से राहत मिलने की खबर है यहां दो पुल भी बह गए हैं। अल्मोड़ा से बहने वाली कोसी, राम गंगा का जलस्तर खतरे के निशान पर रामनगर में बह रहा था, नैनीताल में गौला नदी भी रौद्र रूप धारण किए हुए है, बागेश्वर में सरयू नदी भी उफान पर है, पिथौरागढ़ में धौली गंगा, महा काली शारदा का जल प्रवाह भी बढ़ता जा रहा है। हरिद्वार में बीती रात भारी बारिश के दौरान सूखी नदी में कांवड़ियों के ट्रक बह गए, शहर के निचले इलाकों में पानी भर गया है, यहां एक कच्चा छज्जा गिर जाने से दो लोगो की मौत हो जाने की खबर है। हरिद्वार में गंगा खतरे की निशान पर बह रही है। शारदा जमुना राम गंगा कोसी गौला नदियां भी खतरे के निशान के आसपास बह रही है, जिससे यूपी के जिलों में भी बाढ़ आने का अलर्ट जारी कर दिया गया है।
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सीएम धामी देर रात तक लेते रहे रिपोर्ट
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने आवास से दोनों दिन देर रात आपदा सचिव से फोन पर वार्ता कर, भारी बारिश और आपदा को लेकर बातचीत की और, एनडीआरएफ एसडीआरएफ, को सतर्क रहने की बात कही, सीएम धामी, आपदा नियंत्रण कक्ष से लगातार संपर्क में रहे पहुंचे उन्होंने राज्य के आपदा हालात की समीक्षा कर सभी प्रभावित जिलों के डीएम से वार्ता भीं की। भारी बारिश की रात सीएम के निर्देश पर उनके विशेष सचिव डा पराग धकाते, आपदा सचिव विनोद सुमन, आईजी गढ़वाल करन सिंह नगनयाल, एसएसपी देहरादून अजय सिंह आपदा नियंत्रण कक्ष में सुबह तीन बजे तक बैठ कर हालात पर नजर रखे रहे।
केदारनाथ में नहीं फटा बादल
सीएम पुष्कर सिंह धामी ने इस खबर का खंडन किया कि केदारनाथ मंदिर क्षेत्र में बादल फटने की घटना हुई है, उन्होंने कहा कि केदारनाथ केदारनगरी में कोई बादल नहीं फटा है, वहां सब कुछ सामान्य है। भारी बारिश की वजह से नीचे रामबाड़ा सोनप्रयाग में बारिश से नुकसान हुआ है, केदारनाथ का पैदल मार्ग का कुछ हिस्सा क्षतिग्रस्त हुआ है जिसकी मरम्मत की जा रही है, जो तीर्थ यात्री फंसे थे उन्हें वैकल्पिक मार्ग से सुरक्षित निकालने के लिए एसडीआरएफ मदद कर रही है। सीएम धामी ने कहा आपदा प्रबंधन पीडब्ल्यूडी सिंचाई विभाग और जिला प्रशासन मिलकर राहत के कार्यों में जुटे है और वे स्वयं इस और निगरानी रख रहे है।
अगले चौबीस घंटे भी मौसम विभाग द्वारा भारी बारिश की दृष्टि से एलर्ट मोड पर रखे गए है, देहरादून नैनीताल सहित पहाड़ी जिलों में भी स्कूल आज बंद रखे गए है, आज शाम से फिर से मौसम खराब होने का अंदेशा जताया गया है।
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