असम पुलिस ने इस्लामिक कट्टरपंथी मुफ्ती मुकिबुर रहमान अजहरी को पुलिस अधिकारियों के खिलाफ भड़काऊ बयान देने के आरोप में मंगलवार (2 जुलाई 2024) को गिरफ्तार किया। अजहरी ने सोशल मीडिया पर लखीमपुर पुलिस स्टेशन और पुलिस अधीक्षक को धमकाते हुए उनके खिलाफ हिंसक प्रदर्शन की धमकी दी थी। सोशल मीडिया पर आरोपी का भड़काऊ वीडियो वायरल होने के बाद दरांग जिले की पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, रहमान अजहरी ने 6 जुलाई को लखीमपुर पुलिस स्टेशन के घेराव की साजिश रची थी। उसने असम में 6 से 10 जुलाई के बीच राज्यव्यापी चक्काजाम और प्रदर्शन की भी धमकी दी थी। उसने ये धमकी मौलाना मुस्तफा कमाल द्वारा ईद के मौके पर की गई अपील के बाद दी थी। दरअसल, मौलाना कमाल ने मुस्लिमों से ईद पर गाय की कुर्बानी न देने की अपील की थी। मौलाना ने कहा था कि इस्लाम में कुर्बानी जरूरी है, लेकिन गाय की कुर्बानी इस्लाम में जायज नहीं है। उनके इस बयान पर असम के कट्टरपंथी भड़क गए और उनका विरोध करने लगे। उन्होंने मौलाना की गिरफ्तारी की भी मांग की। इसी क्रम में मुफ्ती मुकिबुर रहमान अजहरी ने सोशल मीडिया पर लाइव आकर कहा था कि वह मौलाना मुस्तफा कमाल के घर के साथ ही पुलिस स्टेशन और एसपी ऑफिस का भी घेराव करेगा, जिसमें दम है वो रोक कर दिखाए। ये वीडियो सोशल मीडिया पर देखते ही देखते वायरल हो गया।
वायरल वीडियो पर प्रतिक्रिया देते हुए असम के मंत्री हजारिका ने एक्स पर लिखा, “यह सब इसलिए हो रहा है, क्योंकि ईद के मौके पर अल्पसंख्यक समुदाय के एक व्यक्ति ने लोगों से गायों की कुर्बानी न देने की अपील की थी। यह कल्पना से परे है कि ऐसी सौम्य अपील से इतनी नफरत भड़क सकती है कि वह अब लाइव वीडियो में असम पुलिस को धमकी दे रहा है और हिंसा का आह्वान कर रहा है। आज असम किस दिशा में जा रहा है?”
बताया जा रहा है कि फेसबुक लाइव के दौरान मुफ्ती ने कमाल को गाली देते हुए कहा था कि वो 6 से 10 जुलाई के बीच लखीमपुर पुलिस स्टेशन और उस शैतान (मुस्तफा कमाल) के घर का घेराव करेगा। इस दौरान उसके साथ बड़ी संख्या में लोग होंगे। अगर एसपी और डीसीपी भी उसे फोन करें, तब भी वह घेराव करने से नहीं मानेगा। उसने आगे कहा कि वह फिर भी जाएगा इंशाअल्लाह। उस आदमी ने यह खेल शुरू किया है और यह उसका आखिरी खेल होगा। वो इस खेल को खत्म करके रहेगा। चाहे कितनी भी पुलिस को बुला ली जाए।
टिप्पणियाँ