कर्णावती: सोशल मीडिया पर कुछ तत्वों ने जैन तीर्थंकर और जैन धर्म के बारे में आपत्तिजनक टिप्पणी वाली पोस्ट लगाई थी। जिसके बारे में अहमदाबाद क्राइम ब्रांच ने शिकायत दर्ज कर इस आपत्तिजनक पोस्ट करने वाले लोगों के बारे में जांच शुरू की है।
पावागढ़ में हजारों साल पुरानी जैन तीर्थंकर की मूर्तियों को खंडित करने के बारे में कुछ दिनों पहले विवाद हुआ था। इस घटना को लेकर सोशल मीडिया पर कुछ अकाउंट्स पर जैन तीर्थंकर और जैन धर्म के बारे में आपत्तिजनक टिप्पणी की गई थी। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर इस प्रकार जैन धर्म के बारे में आपत्तिजनक टिप्पणी की गई है ऐसे मैसेज व्हाट्सएप ग्रुप में भेजे जा रहे थे। जिसके चलते जैन समाज के लोगों की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंची थी। जिसके चलते इस प्रकार की आपत्तिजनक टिप्पणी करने वाले फेसबुक आईडी की जानकारी एकत्रित की गई।
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जिसमें सामने आया कि सतीश राजगौर चावड़ा गौर का फेसबुक आईडी धारक, सीताराम बापू रामदास बापू नाम का फेसबुक आईडी धारक, धर्मेश बारैया फेसबुक आईडी धारक एवं केवल पैदाइशी नाम के फेसबुक आईडी धारक का नाम सामने आया था। इन चारों फेसबुक आईडी के खिलाफ क्राइम ब्रांच में शिकायत दर्ज कराई गई है। क्राइम ब्रांच ने इन चारों फेसबुक आईडी पर वास्तव में किसके द्वारा आपत्तिजनक पोस्ट रखी गई थी उस दिशा में जांच शुरू की है।
क्या थी आपत्तिजनक टिप्पणी
सतीश राजगौर चावदागौर नाम के व्यक्ति ने उसके फेसबुक अकाउंट पर लिखा था कि मंदिर पर कब्जा करने के लिए जैन समाज महिलाओं को आगे कर रहा है। इस पोस्ट को लेकर एक व्यक्ति ने जैन धर्म के बारे में अपमानजनक टिप्पणी लिखकर उस पोस्ट को वायरल किया था। सीताराम बापू रामदास बापू नाम के व्यक्ति ने उसके आईडी पर महावीर भगवान और जैनाचार्यो के बारे में आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। धर्मेश बारैया नाम के फेसबुक आईडी पर भी जैन धर्म की भावनाओं को ठेस पहुंचे उस प्रकार की आपत्तिजनक पोस्ट रखी गई थी। इस प्रकार सोशल मीडिया पर जैन धर्म के बारे में अपमानजनक टिप्पणियां किए जाने के बारे में गृह विभाग में भी प्रस्तुतिकरण दिया गया था।
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