Uttarakhand: देहरादून में रिस्पना, बिंदाल नदियों किनारे अवैध कब्जे, NGT के आदेश पर अतिक्रमण हटाओ अभियान शुरू
May 9, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • अधिक ⋮
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • अधिक ⋮
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • संस्कृति
  • पत्रिका
होम भारत उत्तराखंड

Uttarakhand: देहरादून में रिस्पना, बिंदाल नदियों किनारे अवैध कब्जे, NGT के आदेश पर अतिक्रमण हटाओ अभियान शुरू

देहरादून प्रशासन ,नगर निगम और एमडीडीए अब 2016 के बाद हुए अतिक्रमण को हटाने के लिए अवैध कब्जेदारों को नोटिस देकर कब्जा हटाने की कारवाई कर रहा है, अभी तक दो दर्जन कच्चे पक्के मकान ध्वस्त किए गए है।

by दिनेश मानसेरा
May 28, 2024, 10:46 am IST
in उत्तराखंड
Uttarakhand illegal encroachment removal action

प्रतीकात्मक तस्वीर

FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

देहरादून: राजधानी और आसपास में नदियां नाले सब जगह सरकारी जमीनों पर अवैध कब्जे ही कब्जे, इस शिकायत को गंभीरता से लेते हुए नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने अब प्रशासन पर एक्शन लेना शुरू कर दिया है, जिला अधिकारी सहित अन्य अधिकारियों पर एक एक लाख का जुर्माना वसूला है और इसे प्रशासनिक लापरवाही माना है।

देहरादून प्रशासन ,नगर निगम और एमडीडीए अब 2016 के बाद हुए अतिक्रमण को हटाने के लिए अवैध कब्जेदारों को नोटिस देकर कब्जा हटाने की कारवाई कर रहा है, अभी तक दो दर्जन कच्चे पक्के मकान ध्वस्त किए गए है। जबकि 2016 के बाद के 500 से ज्यादा अतिक्रमण प्रशासन द्वारा चिन्हित हुए हैं।

2016 से पहले के अतिक्रमण की बात इस लिए नहीं की जा रही क्योंकि तत्कालीन सरकार ने रिस्पना और बिंदाल बरसाती नदियों किनारे हुए अतिक्रमण को मलिन बस्तियों का रूप देते हुए इन्हें रेगुलाइज किए जाने का फैसला लिया था। देहरादून के बीच बहने वाली ये बरसती नदियां अब नाले में तब्दील हो चुकी हैं और इसके किनारे बदसूरत बस्तियां, राजनेताओं की राजनीति का अखाड़ा बन चुकी हैं। तुष्टिकरण, वोट बैंक की राजनीति ने यहां बाहरी लोगो को बसने दिया जो कि अब देहरादून की सबसे बड़ी समस्या का रूप ले चुकी है।

इसे भी पढ़ें: फिर सुलगा POJK, पाकिस्तानी सेना की तानाशाही के खिलाफ सड़कों पर उतरे लोग 

एनजीटी का मानना है कि ये अवैध अतिक्रमण नदी के फ्लड जोन में है और एक दिन कोई बड़ा जान-माल का नुकसान हो सकता है। नदी विशेषज्ञ भी मानते हैं कि नदियां तीस पैंतीस साल में अपने पुरानी मार्ग पर जरूर लौट कर आती है,इस लिए बिंदाल और रिस्पना में भी हमेशा खतरा बना रहेगा।

पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने अपने ड्रीम प्रोजेक्ट में रिस्पना रिवर फ्रंट को बनाए जाने को रखा था, लेकिन उनकी सरकार के जाते ही ये योजना भी मलिन बस्ती के कूड़े के ढेर में तब्दील हो गई। एनजीटी ने इन नदियों के अतिक्रमण को नहीं हटाने पर देहरादून की डीएम और अन्य अधिकारियों पर एक एक का जुर्माना डाला और आगे अतिक्रमण नहीं हटाने पर उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को अग्रिम कार्रवाई के लिए निर्देशित भी कर दिया है।

उधर इस अतिक्रमण को बचाने के लिए राजनीति भी शुरू हो चुकी है, स्थानीय निकाय चुनाव नजदीक है, विधायक, मंत्री, विपक्षी दलों के नेताओ को इसमें अपना जनाधार दिखता है लिहाजा वो, प्रशासन की अतिक्रमण हटाओ कार्रवाई को रोकने के लिए अपने अपने प्रभाव का इस्तेमाल भी कर रहे हैं।

प्रशासन के आगे एक तरफ कुआं एक तरफ खाई जैसी कहावत चरितार्थ हो रही है, एक तरफ राजनीतिक प्रभाव तो एक तरफ एनजीटी के भय उन्हें सता रहा है। बताया जाता है कि एनजीटी बेहद सख्त कारवाई का संकेत दे चुकी है। ऐसे में अतिक्रमण हटाना प्रशासन की मजबूरी बन चुका है।

रिस्पना नदी पर सर्वाधिक अवैध कब्जे

जानकारी के मुताबिक विधानसभा के पीछे से बहने वाली रिस्पना नदी की खूबसूरती कभी देहरादून की शान होती थी, इस नदी के 13 किमी क्षेत्र में 27 मलिन बस्तियों बन चुकी है। बिंदाल और रिस्पना में 129 बस्तियां चिन्हित हुई है जिनमें करीब 40 हजार लोग, सरकार की जमीन पर अतिक्रमण करके बैठे हुए हैं।

कांग्रेस की सरकार ने दिया था संरक्षण

राज्य और राजधानी बनने के बाद हजारों लोग यहां अवैध रूप से बाहरी प्रदेशों से यहां आकर बसते चले गए, जिनमें ज्यादातर अल्पसंख्यक समुदाय से थे। 2016 में हरीश रावत सरकार ने वोट बैंक की लालच में अपने स्थानीय विधायको पार्षदों के कहने पर इन मलिन बस्तियों को रेगुलाइज करने का जिओ जारी कर दिया, जिसके बाद से ये अवैध कब्जे की जमीन 100-100 के स्टांप पेपर पर बिकने लगी। 2017 में जब बीजेपी सरकार आई तो एक हाई कोर्ट में दायर एक जनहित याचिका पर एक आदेश के बाद इन बस्तियों के नियमितीकरण की प्रकिया पर रोक लगानी पड़ी। अब इस पर एनजीटी भी संज्ञान ले रहा है, जिसके बाद प्रशासन को अतिक्रमण हटाना पड़ रहा है।

Topics: देहरादून न्यूजDehradun Newsउत्तराखंडUttarakhandअतिक्रमणEncroachmentएनजीटीNGTचुनावElections
ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

गंगनानी में हेलीकॉप्टर क्रैश

ब्रेकिंग न्यूज: गंगनानी में हेलीकॉप्टर क्रैश, 6 लोगों की मौत, एक की हालत गंभीर

उत्तराखंड बना वेडिंग हब! : जहां हुआ शिव-पार्वती विवाह वहां पर संपन्न हुए 500+ विवाह, कई विदेशी जोड़ों पसंदीदा डेस्टिनेशन

उत्तराखंड : नंदप्रयाग में मुरारी बापू की राम कथा में पहुंचे CM धामी, सनातन संस्कृति पर कही बड़ी बात

Uttar Pradesh Rape and conversion case

अफजाल ने नाबालिग भतीजी के साथ की दरिंदगी, दुष्कर्म कर जंगल में छोड़ा, पुलिस ने किया मुकदमा दर्ज

पूजा विश्वास (फाइल फोटो)

उत्तराखंड: लव जिहाद का शिकार हुई पूजा, मुश्ताक ने सिर धड़ से अलग कर शव नाले में फेंका, दिल दहला देगी खौफनाक साजिश

Uttakhand chardham yatra

उत्तराखंड: चारधाम यात्रा सादगी के साथ शुरू, हरिद्वार, ऋषिकेश से जत्थे हुए रवाना

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

‘आतंकी समूहों पर ठोस कार्रवाई करे इस्लामाबाद’ : अमेरिका

भारत के लिए ऑपरेशन सिंदूर की गति बनाए रखना आवश्यक

पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ

भारत को लगातार उकसा रहा पाकिस्तान, आसिफ ख्वाजा ने फिर दी युद्ध की धमकी, भारत शांतिपूर्वक दे रहा जवाब

‘फर्जी है राजौरी में फिदायीन हमले की खबर’ : भारत ने बेनकाब किया पाकिस्तानी प्रोपगेंडा, जानिए क्या है पूरा सच..?

S jaishankar

उकसावे पर दिया जाएगा ‘कड़ा जबाव’ : विश्व नेताओं से विदेश मंत्री की बातचीत जारी, कहा- आतंकवाद पर समझौता नहीं

पाकिस्तान को भारत का मुंहतोड़ जवाब : हवा में ही मार गिराए लड़ाकू विमान, AWACS को भी किया ढेर

पाकिस्तान ने जम्मू-कश्मीर से लेकर राजस्थान तक दागी मिसाइलें, नागरिक क्षेत्रों पर भी किया हमला, भारत ने किया नाकाम

‘ऑपरेशन सिंदूर’ से तिलमिलाए पाकिस्तानी कलाकार : शब्दों से बहा रहे आतंकियों के लिए आंसू, हानिया-माहिरा-फवाद हुए बेनकाब

राफेल पर मजाक उड़ाना पड़ा भारी : सेना का मजाक उड़ाने पर कांग्रेस नेता अजय राय FIR

घुसपैठ और कन्वर्जन के विरोध में लोगों के साथ सड़क पर उतरे चंपई सोरेन

घर वापसी का जोर, चर्च कमजोर

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • ऑटो
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • लोकसभा चुनाव
  • वोकल फॉर लोकल
  • बोली में बुलेटिन
  • ओलंपिक गेम्स 2024
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies