देहरादून। चारधाम यात्रा में तीर्थयात्रियों का उत्साह बढ़ता ही जा रहा है। गंगोत्री और यमुनोत्री में भक्तों के आने का रिकॉर्ड टूट गया है। वहीं, बद्रीनाथ धाम में श्रद्धालुओ की भीड़ को देखते हुए वीआईपी दर्शन पर रोक लगा दी गई है। बद्री केदार मंदिर समिति और प्रशासन ने केवल सीएम कार्यालय से जारी वीआईपी प्रोटोकॉल को ही वीआईपी दर्जा दिए जाने का निर्णय लिया है।
केदारनाथ में मंदिर समिति ने लोक कलाकारों को केदारपुरी में मर्यादाओं में वाद्य यंत्र बजाने के लिए निवेदन किया है, जिससे कि ज्यादा शोर न हो।
प्रशासन द्वारा जारी विज्ञप्ति में बताया गया कि इस बार गंगोत्री धाम में काफी संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। वर्ष 2023 में 13670 तो इस साल 13 मई को रिकॉर्ड 18973 यात्री पहुंचे। यमुनोत्री में गेट और बैरियर व्यवस्था बनाने के बाद गंगोत्री धाम में तीर्थयात्रियों की भीड़ बढ़ गई है। हाईवे में कुछ स्थानों पर संकरी सड़क से बड़ी बसों की वजह से जाम लग रहा है। पुलिस, प्रशासन और मंदिर समिति ने रात दो बजे तक गंगोत्री धाम में दर्शनार्थियों को दर्शन करवाए। गंगा सप्तमी स्नान से गंगोत्री धाम में स्थानीय देव डोलियों के साथ श्रद्धालु पहुंचे।
यमुनोत्री और गंगोत्री धाम में इस बार पहुंचे तीर्थयात्रियों ने पिछले सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। खासकर दो दिनों से रिकॉर्ड भीड़ जुटने से धामों में मंदिर समिति ने देर रात तक दर्शन की व्यवस्था की। यमुनोत्री की भीड़ और गंगा सप्तमी पर बड़ी संख्या में गंगोत्री में श्रद्धालुओं के पहुंचने का सिलसिला जारी है। रिकॉर्ड भीड़ जुटने पर पुलिस-प्रशासन ने देर रात तक व्यवस्था की।
चारधाम में इस बार रिकॉर्ड तीर्थयात्री जुट रहे हैं। करीब 6 किमी पैदल दूरी पर यमुनोत्री धाम में भी काफी संख्या में भक्त दर्शन को पहुंच रहे हैं। यमुनोत्री धाम में 2023 में 28 मई को सर्वाधिक 12045 तीर्थयात्री पहुंचे थे, जो पिछले कई सालों का रिकॉर्ड था। लेकिन इस साल गत दिवस यमुनोत्री में 12148 तीर्थयात्रियों की संख्या ने नया रिकॉर्ड बना लिया है। यमुनोत्री में दर्शन को तीर्थयात्रियों की भीड़ जुटने का सिलसिला जारी है। इसके लिए प्रशासन ने बैरियर और गेट सिस्टम लागू कर दिया है। अब यमुनोत्री धाम में दर्शन सुचारू रूप से हो रहे हैं। लेकिन यमुनोत्री की भीड़ गंगोत्री धाम में पहुंचने से दबाव बढ़ गया है। यहां दो दिनों से रिकॉर्ड तीर्थयात्रियों ने दर्शन किये हैं। पिछले साल यमुनोत्री के बाद गंगोत्री में 29 मई को रिकॉर्ड 13670 तीर्थयात्री एक दिन में पहुंचे थे, जो इस साल गत दिवस 18973 हो गया है। यह अब तक का सर्वाधिक तीर्थयात्रियों के पहुंचने का रिकॉर्ड है। गंगा सप्तमी पर टिहरी और उत्तरकाशी जिले की देव डोलियों के पहुंचने से दबाव और बढ़ गया। इससे व्यवस्था बनाने में प्रशासन, पुलिस और मंदिर समिति को खासी मशक्कत करनी पड़ रही है। गंगोत्री धाम में संकरे मार्ग पर बड़ी बसों के फंसने से ज्यादा दिक्कतें उठानी पड़ रही है। इससे वाहनों का दबाव बढ़ने से गंगोत्री तक वाहन कतार में चल रहे हैं। हालांकि यहां भी उत्तरकाशी रामलीला मैदान, हीना, भटवाड़ी, गंगनानी, सुक्की, झाला, हर्षिल, धराली से रुक-रुक कर वाहन छोड़े जा रहे हैं। इससे गंगोत्री धाम में देर रात तक तीर्थयात्रियों के पहुंचने क्रम जारी रहा। प्रशासन के अनुरोध पर देर रात तक गंगोत्री मंदिर समिति ने सभी श्रद्धालुओं को दर्शन कराए। साथ ही प्रशासन, पुलिस एवं मंदिर समिति ने तीर्थयात्रियों को जलपान कराया। गंगोत्री में तीर्थयात्रियों की सुविधा के लिएरात 2 बजे तक बाजार खुला रहा। सुबह तक धाम में तीर्थयात्रियों को व्यवस्थित आवाजाही कराई जा रही है।
यमुनोत्री धाम में गेट सिस्टम के बाद पूरा ट्रैफिक गंगोत्री मार्ग की तरफ आ गया। इससे कुछ स्थानों पर संकरी सड़क पर बड़ी बसें फंसने से वाहनों का दबाव बढ़ गया। गंगोत्री में देर रात तक दर्शन कराए गए।
उत्तरकाशी के जिलाधिकारी डॉ मेहरबान सिंह बिष्ट ने बताया कि यात्रा मार्ग पर विभागीय अधिकारियों और कर्मचारियों को तैनात किया गए हैं। साथ ही भोजन, पानी, मेडिकल व्यवस्था तीर्थयात्रियों को उपलब्ध कराई जाने के निर्देश दिए गए हैं। फिलहाल दोनों धामों में भीड़ नियंत्रित हैं।
पांच गंगोत्री मंदिर समिति के अध्यक्ष हरीश सेमवाल ने बताया कि प्रशासन के अनुरोध पर देर रात तक मंदिर में तीर्थयात्रियों के दर्शन कराए गए। मंदिर समिति ने देर पहुंचे श्रद्धालुओं को जलपान की व्यवस्था कराई। गंगा सप्तमी पर्व पर बड़ी संख्या में देव डोलियां और यात्री गंगा स्नान को आते हैं। तीर्थयात्रियों को कोई असुविधा न हो, मंदिर समिति पूरे सहयोग को तैयार है।
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