इजरायल हमास युद्ध के बीच इजरायल पर लेबनान, सीरिया और ईरान से खतरा बढ़ता जा रहा है। लेबनान से हिजबुल्लाह लगातार हमले कर रहा है। दूसरी ओर सीरिया से भी इजरायली सीमा में लगातार घुसपैठ करने की कोशिशें की जा रही हैं। इस खतरे को इजरायल ने भी भांप लिया है। आईडीएफ ने बुधवार को कहा कि उसने अपने एयर डिफेंस को और अधिक मजबूत किया है। इसके साथ ही ईरान के साथ संभावित पलटवार को देखते हुए रिजर्व सैनिकों को भी मोर्चे पर वापस बुला लिया है।
इजरायल के पूर्व खुफिया सैन्य प्रमुख याडलिन का कहना है कि अगर ईरान सीधे इजरायल पर गोलीबारी करता है तो मुझे इस बात पर आश्चर्य नहीं होगा। जनवरी में पड़ोसी देश पाकिस्तान पर ईरान का हमला इस तरह की मिसाल पेश कर चुका है।
क्या है पूरा मामला
दरअसल, ये मामला और गरम तब हो गया, जब पिछले सप्ताह सीरिया की राजधानी दमिश्क में ईरानी दूतावास के बगल में स्थित एक कासुलर इमारत में विस्फोट हुआ, जिसका आरोप ईरान ने इजरायल पर लगाया था। ईरान ने कहा है कि वो इजरायल से इसका बदला लेगा।
ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला खामनेई ने सोमवार को सीरिया में हुए हमले का बदला लेने की कसम खाई। खामनेई के बयानों को दोहराते हुए पूरे तेहरान में इस इजरायल को धमकाने वाले पोस्टर लगा दिए गए हैं। ईरानी नेता ने देश को संबोधित करते हुए दावा किया कि गाजा में इजरायल हार रहा है और उसकी ये हार लगातार जारी रहेगी। ईरान का कहना है कि दमिश्क में इजरायल का हमला उसकी हताशा का नतीजा है।
इस बीच सोमवार को लेबनान से हिजबुल्लाह ने इजरायल पर कई रॉकेट दागे।
इस बीच इजरायली रक्षा मंत्री योव गैलेंट ने बुधवार को पहले कहा था कि इज़रायल पूरे मध्य पूर्व से खतरों का सामना करने के लिए “तैयारी बढ़ा रहा है”।
इजरायल और ईरान के बीच पुरानी अदावत
गौरतलब है कि इजरायल और ईरान के बीच पुरानी अदावत है। इजरायल ने संयुक्त राष्ट्र में ईरान के परमाणु कार्यक्रम का विरोध किया था। इसके अलावा हमास के साथ युद्ध के बीच ईरान लगातार इजरायल पर हमले की धमकियां देता रहा है।
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