नई दिल्ली: राष्ट्रीय जांच एंजेसी (एनआईए) ने केरल में स्वयंसेवक श्रीनिवासन की हत्या में वांछित मुख्य आरोपी शफीक को गिरफ्तार कर लिया है। वह प्रतिबंधित संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) से जुड़ा हुआ है और पीएफी के हिट स्क्वॉड का हिस्सा था। एनआईए ने मंगलवार को इस बात की जानकारी दी।
एनआईए की ओर से बताया गया कि शफीक को कोल्लम जिले से सोमवार को गिरफ्तार किया। पलक्कड़ में 16 अप्रैल 2022 को आरएसएस के स्वयंसेवक श्रीनिवासन की हत्या कर दी गई थी और तभी से शफीक फरार था। एनआईए की जांच के अनुसार, शफीक ने हत्यारोपी अशरफ केपी को शरण दी थी।
कुख्यात शफीक मल्लपुरम का रहने वाला है। वह पीएफआई का सक्रिय सदस्य था। श्रीनिवासन की हत्या में 71 आरोपी शामिल हैं। मामले में एनआईए दो चार्जशीट दाखिल कर चुकी है। पहली चार्जशीट 17 मार्च 2023 और दूसरी चार्जशीट 6 नवंबर 2023 को दाखिल की गई थी। एक आरोपी अब्दुल नसीर की पिछले साल जनवरी में मौत हो चुकी है। दो भगोड़े अब्दुल नसीर को पिछले साल अक्टूबर और साहिर केवी को भी गिरफ्तार किया जा चुका है।
2047 तक इस्लामिक राज स्थापित करना चाह रहा था साहिर
साहिर, पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) का सक्रिय सदस्य है। वह हिंदुओं में दहशत फैलाने और 2047 तक इस्लामिक राज्य स्थापित करने के पीएफआई के नापाक एजेंडे के तहत काम कर रहा था। आरोप यह भी है कि साहिर मामले के मुख्य आरोपियों को संरक्षण भी दे रहा था।
श्रीनिवासन पर अरुवल से 20 बार किया गया था वार
हथियारों से लैस आरोपी बाइक पर आए। श्रीनिवासन की दुकान में घुसकर अचानक चाकू और धारदार हथियार ‘अरुवल’ (कत्ती) से श्रीनिवासन पर हमला किया। हमला योजनाबद्ध तरीके से किया गया, जिसमें श्रीनिवासन को समझने-संभलने का मौका नहीं मिला। प्रत्यक्षदर्शी के अनुसार, श्रीनिवासन पर 20 बार अरुवल से वार किए गए थे। ‘अरुवल’ केरल और तमिलनाडु में एक प्रकार का कृषि उपकरण है और इसका प्रयोग हथियार के रूप में भी होता है। इसका प्रयोग प्राय: गैंगस्टर करते हैं।
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