कोलकाता हाई के पूर्व जस्टिस अभिजीत गंगोपाध्याय ने भाजपा का दामन थाम लिया है। हाल ही में जस्टिस गंगोपाध्याय ने जज के पद से इस्तीफा दिया था। उन्होंने संदेशखाली में टीएमसी के नेता शेख शाहजहां द्वारा महिलाओं के साथ की गई बर्बरता के मामले को जोरदार तरीके से उठाने के लिए भाजपा की तारीफ की।
जस्टिस गंगोपाध्याय ने संदेशखाली के मुद्दे को बहुत ही बुरी घटना करार दिया और कहा कि नेता वहां गए हैं, उन्हें वहां जाने से रोका गया। इसके बावजूद वो वहां पहुंचे और पीड़ित महिलाओं के साथ खड़े हुए। उन्होंने कहा कि अब वो पार्टी के वफादार सिपाही की तरह से काम करेंगे। साथ ही यह भी कहा कि हमारा एक ही लक्ष्य है और वो ये कि राज्य से भ्रष्ट टीएमसी को उखाड़ फेंकना है।
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गौरतलब है कि भाजपा में शामिल होने से पहले जस्टिस गंगोपाध्याय ने बकायदा अपना त्यागपत्र देश की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को भेजा और इसके साथ ही सर्वोच्च न्यायालय के मुख्य न्यायधीश और कोलकाता हाई कोर्ट के मुख्य न्यायधीश को एक प्रति भेजी। बता दें कि जस्टिस गंगोपाध्याय इसी वर्ष अगस्त के महीने में रिटायर होने वाले थे। मीडिया में ऐसी अटकलें हैं कि जस्टिस गंगोपाध्याय तमलुक लोकसभा सीट से भाजपा की टिकट पर चुनावी मैदान में उतर सकते हैं। उल्लेखनीय है कि हाल के चुनावों में तमलुक लोकसभा सीट टीएमसी का एक मजबूत गढ़ रहा है।
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टीएमसी में रहने के दौरान भाजपा नेता सुवेंदु अधिकारी वर्ष 2009 और 2014 लोकसभा चुनावों के दौरान यहां से चुनाव जीत चुके हैं। हालांकि, जब वर्ष 2016 में सुवेंन्दु अधिकारी टीएमसी छोड़कर भाजपा में शामिल हुए तब भी इस सीट पर टीएमसी का ही उम्मीदवार जीता था।
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