नई दिल्ली। तमिलनाडु में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) 19 या 26 नवंबर को पथ संचलन निकाल सकेगा। सुप्रीम कोर्ट ने मद्रास हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ तमिलनाडु सरकार को कोई राहत नहीं दी है। जस्टिस सूर्यकांत की अध्यक्षता वाली बेंच ने कहा कि 3 दिन में आरएसएस प्रस्तावित रूट प्लान प्रशासन को सौंपे। 16 नवंबर तक राज्य सरकार उस पर फैसला ले।
तमिलनाडु की स्टालिन सरकार ने आरएसएस को पथ संचलन निकालने की इजाज़त देने के मद्रास हाई कोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। सुनवाई के दौरान तमिलनाडु सरकार की ओर से पेश वकील कपिल सिब्बल ने कहा था कि हाई कोर्ट यह तय कर रहा है कि किन जगहों पर पथ संचलन निकालने की अनुमति दी जाए, यह पूरी तरह से दुर्भावनापूर्ण है। तमिलनाडु सरकार ने मद्रास हाई कोर्ट और उसकी मदुरै बेंच के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी, जिसमें हाई कोर्ट ने आरएसएस को पथ संचलन निकालने के लिए मांगी गई अनुमति वाली जगह पर पथ संचलन निकालने की अनुमति देने का आदेश दिया है।
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