इजरायल और फिलिस्तीनी आतंकी संगठन हमास के मध्य चल रहे युद्ध में एक नया मोड़ आ गया है। दरअसल, हमास पर गोलाबारी कर रहे इजरायल के एक टैंक का गोला गलती से मिस्र की एक सैन्य चौकी पर जा गिरा। इससे युद्ध के गाजा बॉर्डर से निकलकर मिस्र तक फैलने का खतरा उत्पन्न हो गया हैं। दावा है कि इजरायली गोले के फटने से मिस्र में कईयों को चोटें भी आई हैं।
इस घटना को लेकर इजरायली सेना ने एक बयान जारी किया है। सेना ने इस घटना पर अफसोस जताते हुए कहा कि उसके एक टैंक ने गाजा पट्टी की सीमा के पास गलती से गोलीबारी की और मिस्र की एक चौकी पर हमला कर दिया। सेना के एक बयान में कहा गया, “आईडीएफ केरेम शालोम क्षेत्र के पास हुई घटना के संबंध में दुख व्यक्त करता है।” दरअसल, आईडीएफ ने हमास के आतंकी ठिकाने पर हमले करने की कोशिश की थी।
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इस घटना को लेकर मिस्र ने भी इजरायली गोले से अपने सैनिकों को मामूली चोटें आने की बात कही है। हालांकि, मिस्र की सेना ने इस मामले में अधिक जानकारी शेयर नहीं की। हालांकि, मिस्र की आर्मी की तरफ से कहा गया है कि इजरायल ने अनजाने में हुई घटना पर तुरंत खेद व्यक्त किया है और जांच चल रही है। वही आईडीएफ ने घटना की जांच और समीक्षा की बात कही है।
पश्चिमी देशों ने इजरायल का बचाव किया
इस बीच अमेरिका, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली और यूनाइटेड किंगडम के नेताओं ने एक संयुक्त बयान जारी कर हमास के खिलाफ इजरायल के बचाव के अधिकार के लिए अपने समर्थन को दोहराया है। इसके साथ ही उन्होंने इजरायल से आम फिलिस्तीनियों को युद्ध में हताहत नहीं करने का आह्वान भी किया है। इजरायल के मुद्दे पर फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रॉन, जर्मन चांसलर ओलाफ स्कोल्ज़, इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी और ब्रिटेन के प्रधान मंत्री ऋषि सुनक ने आज पहले संयुक्त फोन कॉल पर बात की। इसके बाद पश्चिमी नेताओं ने ये संयुक्त बयान जारी किया।
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गौरतलब है कि 7 अक्टूबर को हमास के बर्बर इस्लामी आतंकियों ने इजरायल में भीषण रक्तपात करते हुए 1300 से अधिक आम इजरायलियों की हत्या कर दी थी। यहीं नहीं आतंकी 200 से अधिक लोगों को बंधक भी बनाकर गाजा ले गए थे। इसके बाद से इजरायल हमास को जड़ से समाप्त करने के लिए युद्ध लड़ रहा है।
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