नई दिल्ली। एयर चीफ मार्शल वीआर चौधरी ने कहा है कि देश की आजादी के बाद पहली बार भारतीय वायुसेना की हथियार प्रणाली शाखा (वेपन सिस्टम ब्रांच) को सरकार से मंजूरी मिल गई है। अब भारतीय वायु सेना आर्मेनिया, स्पेन और आइवरी कोस्ट में अतिरिक्त रक्षा अताशे के रूप में अपने अधिकारियों को तैनात करेगी। इसी तरह अमेरिकी प्रशांत वायु कमान में भी संपर्क अधिकारी के रूप में वायु सेना का एक प्रतिनिधि तैनात किया जाएगा।
वायु सेना प्रमुख चौधरी बुधवार को नई दिल्ली में एक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने इस बात पर ख़ुशी जताई कि सरकार से पहली बार वायु सेना को अपनी हथियार प्रणाली शाखा की स्थापना करने के लिए मंजूरी मिली है। इस शाखा में शामिल होने को लेकर उम्मीदवारों के चयन के लिए कुछ सप्ताह पहले एएफसीएटी परीक्षा आयोजित की गई थी। उन्होंने बताया कि लगभग 33 अधिकारियों का पहला बैच अगले साल की शुरुआत में अकादमी में शामिल होगा और अगले साल के अंत में हथियार प्रणाली के रूप में कमीशन प्राप्त करेगा। उन्होंने कहा कि इस समय 155 महिला अग्निवीर बेलगाम (कर्नाटक) के भारतीय वायु सेना प्रशिक्षण केंद्र में प्रशिक्षण ले रही हैं।
क्या है वेपन सिस्टम ब्रांच?
वायुसेना में अभी तक तीन ब्रांच का परिचालन होता है, जिनमें फ्लाइंग ब्रांच, टेक्निकल ब्रांच और ग्राउंड ड्यूटीज ब्रांच हैं। आजादी के बाद पहली बार वायुसेना में चौथी एवं एक नई परिचालन हथियार प्रणाली शाखा का गठन किया जा रहा है। यह ब्रांच विमानों में हथियार प्रणाली का संचालन करेगी। इस ब्रांच की चार सब स्ट्रीम बनाई गई हैं, जो फ्लाइंग, रिमोट, इंटेलिजेंस व सरफेस हैं। वेपन सिस्टम ब्रांच की फ्लाइंग स्ट्रीम ट्विन-सीट या मल्टी-क्रू एयरक्राफ्ट में सिस्टम ऑपरेटर शामिल होंगे। रिमोट स्ट्रीम पायलट रहित विमानों व ड्रोन के लिए होगा। इंटेलिजेंस सब-स्ट्रीम में इमेज खुफिया जानकारियों का विश्लेषण, इंफॉर्मेशन वारफेयर स्पेशलिस्ट और रिमोट-पायलट एयरक्राफ्ट और स्पेस-बेस्ड सिस्टम के लिए सिग्नल इंटेलिजेंस ऑपरेटर शामिल होंगे। इसी तरह सरफेस स्ट्रीम सतह से हवा में लक्षित हथियारों और सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलों के लिए कमांडरों और ऑपरेटरों को नियुक्त करेंगी।
(सौजन्य सिंडिकेट फीड)
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