नई दिल्ली। सनातन धर्म पर डीएमके के दो नेताओं उदयनिधि स्टालिन और ए राजा के विवादित बयान पर उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई। याचिका भाजपा नेता और वकील विनीत जिंदल ने दायर की है।
याचिका में दिल्ली पुलिस और तमिलनाडु पुलिस के खिलाफ हेट स्पीच पर सुप्रीम कोर्ट के दिशा-निर्देश का पालन नहीं करने पर अवमानना की कार्यवाही चलाने की मांग की गई है। याचिका में कहा गया है कि अपने बयान में उदयनिधि मारन ने सनातन धर्म को डेंगू, मच्छर, मलेरिया और कोरोना से की। उदयनिधि मारन ने सनातन धर्म को खत्म करने की बात कही।
उल्लेखनीय है कि पांच सितंबर को उदयनिधि स्टालिन के सनातन धर्म पर दिए गए आपत्तिजनक बयान को लेकर देश के 262 प्रबुद्ध जनों ने चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ को पत्र लिखकर मांग की है कि सुप्रीम कोर्ट इस हेट स्पीच पर स्वतः संज्ञान लेकर उदयनिधि के खिलाफ अदालत की अवमानना की कार्रवाई करे।
क्या कहा था उदयनिधि स्टालिन और ए राजा ने
उदयनिधि स्टालिन ने कहा था कि ऐसे शून्य इतिहास वाले सनातनियों को जनता के सामने उजागर करने के लिए डीएमके के कामरेड को साधुवाद। हम फासिस्टों को चुनावी मैदान में हराएंगे और सनातन को खत्म करेंगे। उदयनिधि ने सम्मेलन में यह भी कहा कि सनातन धर्म मलेरिया और डेंगू की तरह है, इसलिए इसे खत्म किया जाना चाहिए। इसके बाद डीएमके के नेता ए राजा ने सनातन पर अपमानजनक टिप्पणी की। उन्होंने कहा कि सनातन एचआईवी और कुष्ठ रोग जैसा है। सनातन की तुलना एचआईवी एड्स और कुष्ठ जैसी बीमारियों से होनी चाहिए।
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