‘मोदी सरनेम’ पर टिप्पणी मामले में राहुल गांधी दोषी करार, 2 साल की सजा, सूरत की कोर्ट ने सुनाया फैसला

सूरत की कोर्ट ने कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को उनकी 'मोदी सरनेम' टिप्पणी को लेकर दायर आपराधिक मानहानि मामले में दोषी ठहराया है।

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WEB DESK

सूरत। अपने विवादित बयानों को लेकर सुर्खियों में रहने वाले  कांग्रेस के नेता राहुल गांधी को सूरत की कोर्ट ने दोषी ठहराया है। सांसद राहुल गांधी ने मोदी सरनेम को लेकर विवादित टिप्पणी की थी। सूरत की जिला अदालत ने इस मामले में आज राहुल गांधी को दोषी करार दिया है। कोर्ट ने कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को उनकी ‘मोदी सरनेम’ टिप्पणी को लेकर दायर आपराधिक मानहानि मामले में दोषी ठहराया है। राहुल गांधी को 2 साल की सजा सुनाई गई है। हालांकि उन्हें जमानत मिल गई है। उनकी सजा को भी कोर्ट ने 30 दिन के लिए निलंबित रखा है। इस दौरान वह ऊपरी अदालत में अपील कर सकते हैं। वहीं, राहुल गांधी गुरुवार सुबह सूरत जिला कोर्ट पहुंचे।

वर्ष 2019 में लोकसभा चुनाव से पहले कर्नाटक में रैली के दौरान राहुल गांधी ने मोदी सरनेम को लेकर टिप्पणी की थी। राहुल गांधी ने कहा था कि ऐसा कैसे हो सकता है कि सभी चोरों का एक ही सरनेम मोदी हो? उन्होंने कोलार में यह विवादित बात कही थी।
गुजरात के पूर्व मंत्री और भाजपा विधायक पूर्णेश मोदी ने राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि का मामला दर्ज कराया था। उन्होंने इलेक्ट्रानिक सबूत भी पेश किए थे। राहुल गांधी को कोर्ट में बुलाने की भी मांग की थी।

जा सकती है राहुल गांधी की संसद सदस्यता

कोर्ट से 2 साल की सजा मिलने पर राहुल गांधी की संसद सदस्यता जा सकती है। जनप्रतिनिधित्व कानून के तहत यदि किसी जनप्रतिनिधि को दो साल या फिर इससे ज्यादा की सजा होती है तो उसकी सदस्यता खत्म हो जाएगी। सदस्यता तभी बच सकती है जब वह ऊपरी अदालत में अपील करेंगे। इसी कानून में प्रावधान है कि यदि दोषी ठहराया गया जनप्रतिनिधि ऊपरी अदालत में अपील करता है, उसकी अपील मंजूर हो जाती है और कोर्ट उसकी दोषसिद्धि को खत्म कर देता है या फिर उसे दो साल से कम की सजा सुनाता है तो सदस्यता बच सकती है। राहुल गांधी के लिए ये तीस दिन बेहद अहम होंगे। इसके अलावा संसद से भी तीन महीने की मोहलत ली जा सकती है।

 

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