पंजाब में आम आदमी पार्टी के नेतृत्व वाली भगवन्त मान सरकार द्वारा बुलाए गए विधानसभा के विशेष सत्र के समानान्तर जनता की विधानसभा चला कर भाजपा ने राज्य सरकार को भ्रष्टाचार, राज्य में बिगड़ती कानून व्यवस्था व नशों को लेकर जम कर प्रहार किए। चंडीगढ़ में सेक्टर-37 स्थित भाजपा प्रदेश मुख्यालय के पास बतरा सिनेमा की पार्किंग सभी नेता पहुंचे जहां जनता की विधानसभा चलाई गई। इस जनता की विधानसभा में पंजाब से जुड़े 6 मुद्दे उठाए गए। इनमें भ्रष्टाचार, अधूरे वादे, खेती-किसानी, नशाखोरी, अनुसूचित जाति/अन्य पिछड़ा वर्ग और कानून व्यवस्था की बिगड़ती स्थिति शामिल रही। कांग्रेस से कुछ महीने पहले ही भाजपा में आए पूर्व सांसद सुनील जाखड़ ने भगवंत मान सरकार के शासनकाल में पंजाब में बढ़े भ्रष्टाचार का मुद्दा उठाया। इसके बाद ऑपरेशन लोटस पर बहस हुई। पूर्व सांसद सुनील जाखड़ ने कहा कि भैंस खरीदते वक्त भी लोग उसका पिछला रिकॉर्ड देखते हैं। आप के विधायक कौन खरीदेगा। जाखड़ ने कहा कि आप के 23 एमएलए पर आपराधिक मामले दर्ज हैं।
जनता विधानसभा में चर्चा के दौरान पूर्व कैबिनेट मन्त्री मनोरंजन कालिया ने कहा कि सिमरनजीत सिंह मान ने पिछले दिन कहा था कि भगत सिंह आतंकवादी थे। इस संबंध में उन्होंने सीएम भगवंत मान को पत्र लिखा कि सिमरनजीत सिंह मान पर पर्चा दर्ज किया जाए। इस पत्र का 15 दिन बाद जवाब मिला। इस दौरान मान के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पास किया गया।
हरजोत कमल ने प्रस्ताव पेश किया कि महाराजा रंजीत सिंह की फोटो नहीं लगाई गई। भगत सिंह और डा. अंबेडकर की फोटो लगी तो महाराजा रंजीत सिंह की क्यों नहीं लग सकती।
सुनील जाखड़ ने चर्चा में हिस्सा लेते हुए आप सरकार पर भ्रष्टाचार का आरोप जड़े। कहा कि आप सरकार में भ्रष्टाचार की हदें पार हो रही हैं। आडियो वायरल हो रहा है। इसको लेकर प्रस्ताव लेकर आए। जाखड़ ने चंडीगढ़ एयरपोर्ट का नाम भगत सिंह के नाम पर रखने पर प्रधानमन्त्री श्री नरेन्द्र मोदी का आभार जताया।
भाजपा नेताओं ने आम आदमी पार्टी की सरकार की नीतियों का विरोध किया। उन्होंने कहा कि इस सरकार ने किसानों की कोई मदद नहीं की। पंजाब में अमन-कानून की स्थिति बदतर हो चुकी है। सरकार ने अपनी नाकामी छुपाने के लिए ऑपरेशन लोटस जैसे बहाने बनाए। राज्य को कर्ज से उबारने के लिए सरकार के पास कोई योजना नहीं है।
इससे पहले पंजाब भाजपा के अध्यक्ष अश्वनी शर्मा राज्य से भाजपा के दोनों विधायकों के साथ विधानसभा सदन गए। आम आदमी पार्टी सरकार ने यह सेशन बिजली और पराली के मुद्दे पर चर्चा के लिए बुलाया। सदन की कार्यवाही शुरू होने के बाद मुख्यमंत्री भगवंत मान ने जैसे ही विश्वास प्रस्ताव पेश किया, भाजपा के दोनों विधायक उसका विरोध करते हुए सदन का बायकॉट कर बाहर आ गए।
ज्ञात रहे कि आप्रेशन लोटस का शिगूफा छेड़ भगवन्त मान ने 22 सितम्बर को विशेष अधिवेशन बुलाया था जिसे नियमों के विपरीत बता कर राज्यपाल ने मंजूरी देने से इंकार कर दिया। इसके बाद सरकार ने अन्य एजेंडे बता कर 27 सितम्बर को इसकी अनुमति ले ली और अब बताया जा रहा है कि सरकार इन एजेंडों की आड़ में विश्वास मत लाना चाहती है। आम आदमी पार्टी की सरकार के इस प्रपंच के चलते भाजपा ने आज जनता की विधानसभा चला कर राज्य के मुद्दों को जनता के सामने रखा।
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