जम्मू की अंतरराष्ट्रीय सीमा पर ड्रोन के जरिए गिराए गए हथियारों और विस्फोटकों को इकट्ठा करने और ले जाने में शामिल आतंकियों के एक मददगार की जम्मू के बाहरी क्षेत्र में स्थित कोटबलवाल जेल में दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई।
अंतरराष्ट्रीय सीमा पर ड्रोन से हथियार और विस्फोटक गिराए जाने का यह मामला 29 मई को कठुआ के राजबाग पुलिस स्टेशन में दर्ज किया गया था और 30 जुलाई को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने इस मामले की जांच शुरू की थी। एनआईए ने इस महीने की शुरुआत में मुनि मोहम्मद को गिरफ्तार किया था। उसे 10 अगस्त को कोटबलवाल जेल में दाखिल कराया गया था।
जेल सूत्रों के अनुसार आज बाकी कैदियों के साथ जुमे की नमाज अदा करते समय मुनि मोहम्मद अचानक गिर गया। उसे तुरंत पुलिस के जवानों ने अस्पताल पहुंचाया जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया। कठुआ जिले के रामपुरा गांव के रहने वाले 36 वर्षीय मुनि मोहम्मद पर देश विरोधी गतिविधियों में शामिल होने, भोले भाले युवाओं को आतंकी गतिविधियों में शामिल होने के लिए उकसाने तथा कई अन्य आरोप लगाए गए थे।
एनआईए ने गुरुवार को जम्मू-कश्मीर के पांच जिलों में अंतरराष्ट्रीय सीमा पर पाकिस्तानी ड्रोन द्वारा हथियार गिराए जाने की जांच के सिलसिले में तलाशी ली थी। पुलिस के अनुसार आतंकियों का यह मददगार दो साल से अधिक समय से सक्रिय था। वह अंतरराष्ट्रीय सीमा पर पाकिस्तानी ड्रोन के माध्यम से गिराए गए हथियारों और विस्फोटकों के संग्रह करने और आगे आतंकियों तक पहुंचाने में शामिल था।
टिप्पणियाँ