कानपुर जनपद में जुमे की नमाज के बाद हुई हिंसा के मुख्य अभियुक्त हयात ज़फर हाशमी के करीबी बिल्डर मोहम्मद वसी की 31 बिल्डिंग, कानपुर विकास प्राधिकरण की रडार पर हैं। इन सभी इमारतों की जांच की जा रही है।
कानपुर विकास प्राधिकरण इन सभी इमारतों की पत्रावली निकाल कर जांच कर रहा है। वसी अहमद ने बीते वर्षों में कानपुर जनपद में वाजिदपुर, नेताजी नगर, चमनगंज, बेकनगंज और नई सड़क पर इमारतों का निर्माण कराया है। बताया जा रहा है कि घनी आबादी में भी वसी अहमद ने नियम विरुद्ध तरीके से बहुमंजिला इमारतों का निर्माण कराया। इन सभी इमारतों की कीमत 100 करोड़ रुपये से अधिक आंकी गई है। जानकारी के अनुसार बीते कुछ वर्षों में वसी अहमद ने अवैध निर्माण कराते हुए कई इमारतें बनवाई। यह भी संज्ञान में आया है कि कुछ निर्माण का तो नक्शा भी स्वीकृत नहीं कराया गया है।
उल्लेखनीय है कि उत्तर प्रदेश के कानपुर जनपद में गत 3 जून को जुमे की नमाज के बाद जमकर बवाल हुआ था। जुमे की नमाज के बाद मुसलमान, नूपुर शर्मा के बयान का विरोध कर रहे थे। मुसलमानों ने बाजार को बंद कराने का प्रयास किया। इस दौरान वहां पर बवाल हो गया। बवाल बढ़ने के बाद मौके पर पथराव होने लगा। उपद्रवियों ने मौके पर बमबाजी की और हवा में गोली भी चलाई। कई गाड़ियों को नुकसान पहुंचा था। कुछ लोगों को आंशिक रूप से चोट भी आई थी।
कानपुर में हुई उस हिंसा के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कानून एवं व्यवस्था की समीक्षा करने के बाद कहा कि किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। अपर पुलिस महानिदेशक कानून एवं व्यवस्था, प्रशांत कुमार ने पूरे मामले पर नजर बनाए रखी और अतिरिक्त पुलिस बल कानपुर के लिए रवाना किया। पुलिस ने समय रहते ही इस उपद्रव को नियंत्रित कर लिया और उपद्रव करने वालों को गिरफ्तार कर लिया। उपद्रव की साजिश रचने वाला भी लखनऊ से गिरफ्तार किया गया।
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