केन्द्र सरकार ने 10 इन-ऑर्बिट संचार उपग्रहों को भारत सरकार से मेसर्स न्यूस्पेस इंडिया लिमिटेड (एनएसआईएल) को हस्तांतरित किए जाने को मंजूरी दे दी है। एनएसआईएल भारत सरकार के पूर्ण स्वामित्व वाला सार्वजनिक क्षेत्र का एक उपक्रम है। यह अंतरिक्ष विभाग के प्रशासनिक नियंत्रण में कार्य करता है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमण्ड्ल ने एनएसआईएल की अधिकृत शेयर पूंजी को एक हजार करोड़ रुपये से बढ़ाकर 75 सौ करोड़ रुपये करने को भी मंजूरी दे दी है।
सरकारी विज्ञप्ति के अनुसार एनएसआईएल को इन परिसंपत्तियों का हस्तांतरण इस कंपनी को पूंजी प्रधान कार्यक्रमों या परियोजनाओं को साकार करने के लिए वांछित वित्तीय स्वायत्तता प्रदान करेगा और इस प्रकार अर्थव्यवस्था के अन्य क्षेत्रों में रोजगार की व्यापक संभावनाओं और प्रौद्योगिकी आधारित अन्य लाभ की पेशकश करेगा। इस मंजूरी से अंतरिक्ष क्षेत्र में घरेलू आर्थिक गतिविधियों को गति मिलने और वैश्विक अंतरिक्ष बाजार में भारत की हिस्सेदारी बढ़ने की उम्मीद है।
अंतरिक्ष क्षेत्र में किए गए सुधारों ने एनएसआईएल को समग्र वाणिज्यिक अंतरिक्ष गतिविधियों को शुरू करने और एक पूर्ण उपग्रह ऑपरेटर के रूप में कार्य करने का अधिकार दिया है। सिंगल-विंडो ऑपरेटर के रूप में कार्य करते हुए एनएसआईएल अंतरिक्ष क्षेत्र में व्यवसाय करने में आसानी की सुविधा भी प्रदान करेगी। एनएसआईएल बोर्ड को अब उपग्रह संचार के क्षेत्र में बाजार के परिदृश्य तथा वैश्विक रुझानों के अनुरूप ट्रांसपोंडरों का मूल्य निर्धारित करने का अधिकार होगा। एनएसआईएल को अपनी आंतरिक नीतियों एवं दिशानिर्देशों के अनुसार क्षमता (कैपेसिटी) की पेशकश करने और उसे आवंटित करने के लिए भी अधिकृत किया गया है।
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