न्यूजीलैंड में आज से दिखाई जाएगी 'द कश्मीर फाइल्स', सेंसर बोर्ड ने विरोध को किया खारिज, विवेक अग्निहोत्री ने कहा-'हम जंग जीत गए'
May 28, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • संस्कृति
  • पत्रिका
होम विश्व

न्यूजीलैंड में आज से दिखाई जाएगी ‘द कश्मीर फाइल्स’, सेंसर बोर्ड ने विरोध को किया खारिज, विवेक अग्निहोत्री ने कहा-‘हम जंग जीत गए’

by Alok Goswami
Mar 28, 2022, 03:15 am IST
in विश्व, दिल्ली
द कश्मीर फाइल्स के एक दृश्य में अभिनेता अनुपम खेर

द कश्मीर फाइल्स के एक दृश्य में अभिनेता अनुपम खेर

FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail
न्यूजीलैंड के भारत विरोधी छद्म सेकुलर गुट वहां के मुस्लिमों को आगे करके इस फिल्म के प्रदर्शन को रोकने की पूरी कोशिश में जुटे थे। अब वो सब पस्त हुए हैं

 न्यूजीलैंड में आखिरकार सेकुलर लॉबी के 'द कश्मीर फाइल्स'  फिल्म को लेकर किए गए दुष्प्रचार की हवा निकल गई है। वहां सेंसर बोर्ड ने अब इस फिल्म के सर्टिफिकेशन को लेकर चल रही रस्साकशी को भी खत्म करते हुए इसे अगले सप्ताह आर—18 सर्टिफिकेट के साथ प्रदर्शित करने का आदेश दिया है। उल्लेखनीय है कि न्यूजीलैंड के भारत विरोधी छद्म सेकुलर गुट वहां के मुस्लिमों को आगे करके इस फिल्म के प्रदर्शन को रोकने की पूरी कोशिश में जुटे थे। अब वो सब पस्त हुए हैं। फिल्म के निर्देशक और लेखक विवेक अग्निहोत्री ने ट्वीट करके कहा है—हम न्यूजीलैंड में जंग जीत गए हैं और अब द कश्मीर फाइल्स 28 मार्च से दिखाई जाएगी'। 

दरअसल यह फिल्म भारत सहित दुनिया भर के देशों में सराही ही नहीं जा रही बल्कि लोग इसका खुद से प्रचार—प्रसार कर रहे हैं। उनका कहना है कि कश्मीरी पंडितों के इस्लामी जिहादियों के ​हाथों नरसंहार के 32 साल बाद एक हिम्मत वाले फिल्मकार विवेक ने उस नरसंहार और उसके बाद 5 लाख कश्मीरी पंडितों के पलायन पर दस्तावेजी फिल्म बनाकर एक मिसाल कायम की है। 

द कश्मीर फाइल्स के लेखक-निर्देशक विवेक अग्निहोत्री का ट्वीट

 न्यूजीलैंड में आमतौर पर किसी फिल्म की 4—5 घंटे में समीक्षा करने के बाद सेंसर बोर्ड सर्टिफिकेशन तय करके उसे जारी कर देता है। लेकिन इस पर कोई आपत्ति करता है तो वहां के कानून में फिल्म की पुनर्समीक्षा करने का प्रावधान है। द कश्मीर फाइल्स के साथ भी शुरू में यही किया गया था। फिल्म 24 मार्च को रिलीज होनी थी, लेकिन इसे बेवजह समुदाय विशेष के प्रति हिंसा भड़काने और उग्रता दर्शाने वाली बताकर इसके प्रदर्शन को रोकने की कोशिश की गई। 

 

विदेशों में फिल्म को मिल रहे भारी जनसमर्थन और न्यूजीलैंड में जबरन पैदा किए गए विवाद के बारे में आस्ट्रेलिया के वरिष्ठ पत्रकार, आस्ट्रेलिया टुडे के संपादक जितार्थ भारद्वाज ने पांचजन्य से विशेष बातचीत में बताया कि दरअसल आस्ट्रेलिया और न्यूजीलैंड में ऐसे कायदे हैं कि फिल्म को लेकर विरोधी विचार वाले अपना मत रख सकते हैं। इसीलिए न्यूजीलैंड में भारतीय मूल के मुस्लिमों की बहुत ज्यादा आबादी न होने के बावजूद वहां बड़ी संख्या में सक्रिय अर्बन नक्सल गुटों ने उन्हें उकसाकर फिल्म पर आपत्तियां उठाने वाले हजारों ईमेल कराए। दूसरी तरफ न्यूजीलैंड में बसे कश्मीरी पंडितों ने भी अपना पक्ष रखते हुए बोर्ड को पत्र लिखे। हालांकि आस्ट्रेलिया का कानून भी ऐसी आपत्तियां दर्ज कराने की छूट देता है, लेकिन यहां ऐसा कुछ नहीं हुआ था। 

जितार्थ बताते हैं कि न्यूजीलैंड में आमतौर पर किसी फिल्म की 4—5 घंटे में समीक्षा करने के बाद सेंसर बोर्ड सर्टिफिकेशन तय करके उसे जारी कर देता है। लेकिन इस पर कोई आपत्ति करता है तो वहां के कानून में फिल्म की पुनर्समीक्षा करने का प्रावधान है। द कश्मीर फाइल्स के साथ भी शुरू में यही किया गया था। फिल्म 24 मार्च को रिलीज होनी थी, लेकिन इसे बेवजह समुदाय विशेष के प्रति हिंसा भड़काने और उग्रता दर्शाने वाली बताकर इसके प्रदर्शन को रोकने की कोशिश की गई। 

न्यूजीलैंड फिल्म सेंसर बोर्ड के निदेशक डेविड शैंक्स ने इसकी फिर से समीक्षा की; और पाया कि फिल्म में ऐसा कुछ नहीं जो उग्रता या समुदाय विशेष के प्रति हिंसा का संदेश देता हो। उन्होंने फिल्म को आर—16 की बजाय आर—18 का सर्टिफिकेट जारी किया। इससे पहले उन्होंने दोनों पक्षों की विस्तार से बात सुनी थी और उनके तमाम शुबहों को दूर किया था। जितार्थ के अनुसार, शैंक्स ने आर—18 सर्टिफिकेट देने के पीछे फिल्म के आखिरी दृश्य का उल्लेख किया जिसमें जिहादी कश्मीरी पंडितों, पुरुषों, महिलाओं और बच्चों को बहुत पास से गोली मारता दिखता है। शैंक्स को लगा कि यह दृश्य 'छोटी उम्र वालों' पर गहरा असर डाल सकता है।

न्यूजीलैंड में इस फिल्म को लेकर उठे विवाद पर पिछले सप्ताह वहां के पूर्व उप प्रधानमंत्री विंस्टन पीटर्स भी फिल्म के समर्थन में आए थे। उन्होंने कहा था कि देश में फिल्म को रिलीज नहीं होने देना न्यूजीलैंडवासियों की आजादी पर हमला है। पीटर्स ने फेसबुक पर लिखा था, 'यह फिल्म 1990 में कश्मीर में हिंदुओं के नस्लीय परिमार्जन के गिर्द घटीं सच्ची घटनाओं को लेकर बनी है। आज 32 साल बाद करीब 4 लाख कश्मीरी पंडित निर्वासित जीवन जी रहे हैं।' उन्होंने आगे लिखा, 'इस फिल्म को सेंसर करना न्यूजीलैंड में 15 मार्च को हुए अत्याचारों की जानकारी या तस्वीरों को सेंसर करने या 9/11 के हमले की सभी तस्वीरों को हटाने जैसा ही है।'

बहरहाल, जितार्थ ने कहा कि पहले आस्ट्रेलिया में यह फिल्म सिर्फ मेलबर्न में एक स्क्रीन पर दिखाई गई थी। लेकिन तीन दिन के अंदर ही मेलबर्न और सिडनी में चार स्क्रीनों पर यह फिल्म प्रदर्शित की गई। सोशल मीडिया पर आस्ट्रेलिया में फिल्म देखकर निकले लोगों के भावुक कर देने वाले वीडियो भी वायरल हुए थे। इसी तरह अमेरिका और यूरोप के अनेक देशों में फिल्म को शानदार सफलता मिल रही है। पिछले सप्ताह यह अमेरिका में बॉक्स आफिस पर दूसरी सबसे बड़ी फिल्म बनकर उभरी थी। सिंगापुर में बड़ी संख्या में लोग इस फिल्म को देखने आ रहे हैं। कहना न होगा, द कश्मीर फाइल्स ने बॉक्स आफिस पर बड़ी से बड़ी कमर्शियल फिल्मों की छुट्टी कर दी है। 

Alok Goswami
Journalist at Bahrat Prakashan | Website

A Delhi based journalist with over 25 years of experience, have traveled length & breadth  of the country and been on foreign assignments too. Areas of interest include Foreign Relations, Defense, Socio-Economic issues, Diaspora, Indian Social scenarios, besides reading and watching documentaries on travel, history, geopolitics, wildlife etc.

  • Alok Goswami
    https://panchjanya.com/author/alok-goswami/
    May 28, 2025, 02:55 pm IST
    बड़े बेआबरू होकर शाहबाज Iran से निकले, खामेनेई ने दिखाया ठेंगा, Chabahar के रास्ते भारत की सफल कूटनीति का कमाल
  • Alok Goswami
    https://panchjanya.com/author/alok-goswami/
    May 28, 2025, 12:17 pm IST
    Bangladesh: यूनुस और सेना प्रमुख में खिंची तलवारें, वकारुज्जमां ने कहा-‘खूनी गलियारा राखाइन स्वीकार नहीं’
  • Alok Goswami
    https://panchjanya.com/author/alok-goswami/
    May 27, 2025, 03:55 pm IST
    बांग्लादेशियों संग न करना शादी, जानिए चीन ने क्यों जारी की चीनियों के लिए ऐसी एडवाइजरी
  • Alok Goswami
    https://panchjanya.com/author/alok-goswami/
    May 27, 2025, 12:17 pm IST
    मक्का वाले Saudi Arab में अब शराब की खरीद-बेच को हरी झंडी, जानिए क्या है प्रिंस सलमान की नई ‘विजन 2030’ नीति
ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

सेना कमांडरों को मिले अनुशासनात्मक अधिकार, जानिए इससे क्या होगा लाभ..?

मणिपुर में एंटी-इंसर्जेंसी अभियान : 3 उग्रवादी गिरफ्तार, भारी मात्रा में हथियार बरामद

आचार्य प्रेमानंद जी महाराज

मदद करने के बाद लोग क्यों बदल जाते हैं? जानिए प्रेमानंद जी महाराज से

पंजाब : चंडीगढ़ में COVID से पहली मौत, कोरोना की लहर से विभाग अलर्ट पर

Operation Sindoor BSF Pakistan infiltration

ऑपरेशन सिंदूर के बाद फिर मॉक ड्रिल : पाकिस्तान से लगे राज्यों के लिए आदेश जारी

वीर सावरकर

Veer Savarkar Jayanti : भगत सिंह से ढींगरा तक के प्रेरणा थे वीर सावरकर

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

सेना कमांडरों को मिले अनुशासनात्मक अधिकार, जानिए इससे क्या होगा लाभ..?

मणिपुर में एंटी-इंसर्जेंसी अभियान : 3 उग्रवादी गिरफ्तार, भारी मात्रा में हथियार बरामद

आचार्य प्रेमानंद जी महाराज

मदद करने के बाद लोग क्यों बदल जाते हैं? जानिए प्रेमानंद जी महाराज से

पंजाब : चंडीगढ़ में COVID से पहली मौत, कोरोना की लहर से विभाग अलर्ट पर

Operation Sindoor BSF Pakistan infiltration

ऑपरेशन सिंदूर के बाद फिर मॉक ड्रिल : पाकिस्तान से लगे राज्यों के लिए आदेश जारी

वीर सावरकर

Veer Savarkar Jayanti : भगत सिंह से ढींगरा तक के प्रेरणा थे वीर सावरकर

Soaked cloves benefits

भीगी हुई लौंग खाने के जबरदस्त फायदे

ईरान के सर्वोच्‍च नेता अयातुल्‍ला खामेनेई के साथ पाकिस्तानी प्रधानमंत्री की मुलाकात थोथी रही और कश्मीर को लेकर तेहरान का कोई उलटा बयान नहीं आया

बड़े बेआबरू होकर शाहबाज Iran से निकले, खामेनेई ने दिखाया ठेंगा, Chabahar के रास्ते भारत की सफल कूटनीति का कमाल

Operation sindoor

पंजाब की चिट्ठी: ऑपरेशन सिंदूर पर विपक्ष की ‘शल्यवाद’ रणनीति: क्या राष्ट्रहित से बड़ी हो गई राजनीति?

वीर सावरकर

स्वातंत्र्यवीर सावरकर और उन पर लगने वाले झूठे आरोप

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • ऑटो
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • लोकसभा चुनाव
  • वोकल फॉर लोकल
  • बोली में बुलेटिन
  • ओलंपिक गेम्स 2024
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies