पंजाब कांग्रेस के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष चौधरी सुनील कुमार जाखड़ ने कहा था कि वे हिंदू हैं,इसलिए ज्यादातर विधायक उनके पक्ष में थे, लेकिन उन्हें मुख्यमंत्री नहीं बनाया गया। अब इसी तरह का आरोप लगाते हुए पंजाब महिला आयोग की अध्यक्ष मनीषा गुलाटी कांग्रेस छोड़ कर भाजपा में शामिल हो गईं। उन्होंने कहा कि उन्हें कांग्रेस में हिंदू होने की वजह से हमेशा ही प्रताडि़त किया गया।
मनीषा ने कहा कि कांग्रेस में वे बहुत मुश्किल से समय काट रही थीं। उन्हें हर बार प्रताड़ित किया गया। हिंदू होने के कारण उन्हें प्रताडि़त किया गया और निजी रंजिश निकाली गई। दरअसल, कांग्रेस हमेशा से ही हिंदू विरोधी रही है। पंजाब चुनाव में यह सोच सामने आ रही है। पार्टी के बड़े नेता जिस तरह से कांग्रेस पर हिंदू विरोधी पार्टी होने का आरोप लगा रहे हैं, इससे पार्टी के प्रति पंजाब के मतदाता का रुझान भी तेजी से घट रहा है। हिंदू मतदाताओं ने कांग्रेस के प्रति गहरी नाराजगी व्यक्त की है। हिंदुओं का कहना है कि अब वक्त आ गया कि कांग्रेस को हिंदुओं की ताकत का अहसास करा दिया जाए, क्योंकि यदि इस वक्त भी हिंदू चुप रहे तो इसी तरह से प्रताड़ना का शिकार होते रहेंगे।
चन्नी सरकार में किया गया प्रताड़ित
मनीषा ने कहा कि चरणजीत सिंह चन्नी की सरकार आते ही उनका स्टाफ कम कर दिया। आयोग को मिलने वाले कई अनुदान को रोक दिया गया। इस संबंध में जब उन्होंने राज्य के गृह मंत्री से बात की, लेकिन कोई जवाब नहीं दिया गया। उनकी जान को खतरा था, खुफिया रिपोर्ट में भी इस तथ्य को उजागर किया गया। इसके बाद भी उनकी सुरक्षा की ओर ध्यान नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि चन्नी सरकार ने उन पर बहुत हमले किए। दरअसल, 2018 में जब मी टू मुहिम चली थी, तब पंजाब की एक महिला आईएएस अफसर ने चरणजीत सिंह चन्नी पर आरोप लगाए थे। अधिकारी का कहना था कि चन्नी ने उन्हें अश्लील संदेश भेजे। इस पर राज्य महिला आयोग ने स्वत: संज्ञान लेकर चन्नी को हटाने की मांग की थी। मामला इतना बढ़ गया था कि उस समय मनीषा धरने पर बैठ गई थीं।
महिला आईएएस अधिकारी को इंसाफ दिलाने के लिए मनीषा ने चेतावनी दी थी कि यदि राज्य सरकार ने इस संबंध में कार्यवाही नहीं की तो वह आंदोलन करेंगी। उस समय चन्नी तत्कालीन कैप्टन अमरिंदर सरकार में मंत्री थे। बाद में कैप्टन को जब कांग्रेस ने पद से हटाया तो चन्नी मुख्यमंत्री बन गए। मनीषा का आरोप है कि मुख्यमंत्री बनते ही चन्नी ने उनसे रंजिश निकालने की कोशिश की थी।
कैप्टन लेकर आए भाजपा में
बताया जा रहा है कि मनीषा को भाजपा में लाने की पटकथा कैप्टन ने लिखी। इस बात की चर्चा कई दिनों से चल रही थी वह भाजपा में जा सकती हैं। आखिरकार सोमवार को चंडीगढ़ में वह भाजपा में शामिल हो गईं। इधर, भाजपा को चन्नी को घेरने के लिए नया मुद्दा मिल गया है। कैप्टन की भी इस वक्त पूरी कोशिश है कि कांग्रेस को ज्यादा से ज्यादा नुकसान पहुंचाया जाए। मनीषा को भाजपा में लाना भी उनकी इसी सोच का परिणाम है।
हिंदू मतदाताओं कांग्रेस के खिलाफ लामबंद
कांग्रेस का हिंदू विरोधी चेहरा सामने आने के बाद पंजाब का हिंदू मतदाता अब कांग्रेस के खिलाफ एकजुट हो गया है। इस बार हिंदू मतदाता कांग्रेस को सबक सिखाने के मूड में नजर आ रहा है। अमृतसर के स्थानीय पत्रकार अनूप शर्मा ने बताया कि इस चुनाव में कांग्रेस का असली चेहरा सामने आ गया है। हिंदू मतदाता भी समझ गए कि यह पार्टी सिर्फ वोट बटोरने के लिए हिंदुओं का उपयोग कर रही है। हकीकत यह है कि इस पार्टी को हिंदुओं से सख्त नफरत है। यह पार्टी अपने एक एजेंडे के तहत ही चल रही है।
इस बार सत्ता से बाहर हो जाएगी कांग्रेस
जालंधर निवासी सतपाल सिंह व अजय सिंह ने बताया कि इस बार चुनाव में हिंदू मतदाता कांग्रेस को वोट नहीं देगा। यह पार्टी न देश की है, न हिंदू की। अब पंजाब के मतदाताओं को यह बात समझ में आ गई है। सिख पहले ही इस कांग्रेस से दूर हैं, क्योंकि इसने 84 के दंगों में सिखों पर जो अत्याचार किए, वह आज तक नहीं भूले हैं। भाजपा ने इसकी जांच करा कर दोषियों को दंड देने का काम किया है।
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