पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव के बाद हुई हिंसा के मामले में कलकत्ता हाई कोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश राजेश बिंदल की पीठ ने एक फैसला सुनाया. हिंसा की निष्पक्ष जांच को लेकर दायर याचिकाओं पर पीठ ने फैसले में कहा कि चुनाव बाद हिंसा की जांच सीबीआई करेगी।
पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव के बाद हुई हिंसा के मामले में कलकत्ता हाई कोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश राजेश बिंदल की पीठ ने एक फैसला सुनाया. हिंसा की निष्पक्ष जांच को लेकर दायर याचिकाओं पर पीठ ने फैसले में कहा कि चुनाव बाद हिंसा की जांच सीबीआई करेगी।
अस्वाभाविक मृत्यु, हत्या और बलात्कार सहित अन्य अधिक महत्व के अपराध के मामलों की जांच सीबीआई करेगी, जबकि अपेक्षाकृत कम महत्वपूर्ण मामले की जांच के लिए 3 सदस्यीय सिट (SIT) का गठन किया गया है। जांच कमेटी अपनी रिपोर्ट हाई कोर्ट को देगी।
आईपीएस अधिकारी सुमन बाला साहू, सौमेन मित्रा और रणबीर कुमार के नेतृत्व में यह सिट गठित होगी। इस सीट की निगरानी सर्वोच्च न्यायालय के एक सेवानिवृत्त न्यायाधीश करेंगे. उस रिपोर्ट को भी छह सप्ताह के अंदर जमा करना होगा।
गौरतलब है कि पीठ ने राज्य में चुनाव के बाद हुई हिंसा के दौरान मानवाधिकारों के उल्लंघन की जांच के लिए एनएचआरसी के चेयरमैन को एक कमेटी बनाकर जांच कराने का आदेश दिया था। इस कमेटी ने अपनी रपट में ममता बनर्जी सरकार को दोषी माना है। इस रपट में कहा कि दुष्कर्म व हत्या जैसे मामलों की जांच सीबीआई से कराई जाए और इन मामलों की सुनवाई बंगाल से बाहर हो। साथ ही अन्य मामलों की जांच भी कोर्ट की निगरानी में विशेष जांच दल से कराई जानी चाहिए।
टिप्पणियाँ