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बीते दिनों राष्ट्रीय सिख संगत का एक प्रतिनिधिमंडल राष्ट्रीय महामंत्री श्री अविनाश जायसवाल के नेतृत्व में गुजरात के राज्यपाल श्री ओपी कोहली एवं मुख्यमंत्री श्री विजय रूपाणी से मिला और दोनों माननीयों से विभिन्न विषयों पर विचार विमर्श किया।
संगत की ओर से जारी विज्ञप्ति में कहा गया कि राज्यपाल श्री ओपी कोहली ने कहा कि सौभाग्य से वर्ष 2016-17 देश, धर्म और समाज के रक्षक दशम् पातशाह श्री गुरु गोविंद सिंह जी महाराज का 350वां प्रकाश पर्व है। इस प्रकाश वर्ष को सभी को मनाना चाहिए। वहीं मुख्यमंत्री श्री विजय रूपाणी ने श्री गुरु गोविंद सिंह जी महाराज की शिक्षाओं को अपने प्रदेश में जन-जन तक पहुंचाने के लिए कार्यक्रम लागू करने का आश्वासन दिया। इस अवसर पर राष्ट्रीय महासचिव डॉ. अवतार सिंह शास्त्री, गुजरात प्रदेश अध्यक्ष श्री बलजीत सिंह संधू, महामंत्री श्री जगजीवन शर्मा एवं पवन शर्मा उपस्थित रहे। प्रतिनिधि
25 लाख वृक्ष लगाने का महाभियान
सूर्या फाउंडेशन ने स्थापना के 25 वर्ष पूरे होने पर 11 राज्यों के 1,500 गांवों में 25 लाख वृक्ष लगाने का महाअभियान चलाया है। इस अभियान में 11,000 युवा कार्यकर्ता हिस्सा ले रहे हैं। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सहसरकार्यवाह डॉ. कृष्ण गोपाल ने इन कार्यकर्ताओं को प्रेरणा दी और कहा कि भारतीय दर्शन के अनुसार एक पेड़ सौ पुत्र समान होता है और पेड़ लगाना महान कार्य है।
सूर्या फाउंडेशन के चेयरमैन श्री जयप्रकाश के अनुसार इस अभियान में सूर्या फाउंडेशन कीं आदर्श गांव योजना के अंतर्गत संस्कार केंद्र के कार्यकर्ता, यूथ क्लब के युवा, गांव के बड़े बुजुर्ग एवं महिलाएं सभी बड़े ही उत्साह के साथ बढ़ चढ़कर भाग ले रहे हैं। प्रतिनिधि
''सेना के अदम्य साहस को सलाम''
गत 30 सितंबर, 2016 का दिन भारत की सैन्य ताकत और धावा बोलने की सामर्थ्य के गौरवगान का दिन था। जब महानतम नौवहन सम्राट राजेन्द्र चोल के चित्र का अनावरण उस मजगांव गोदी में किया गया जो मुबंई में भारतीय नौसेना का शक्ति केन्द्र है। इस अवसर पर महाराष्ट्र के राज्यपाल विद्यासागर राव और मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस उपस्थित थे। चित्र को मजगांव गोदी के अध्यक्ष रिअर एडमिरल से.नि. राहुल सहरावत के सुपुर्द किया गया।
रक्षा मंत्री श्री मनोहर पर्रिकर ने इस अवसर एक विशेष संदेश के जरिये बधाई दी और सम्राट राजेन्द्र चोल को याद किया। कार्यक्रम के आयोजक पूर्व राज्यसभा सांसद श्री तरुण विजय ने कहा कि हमारी सेना ने पाक अधिक्रांत कश्मीर में सर्जिकल स्ट्राइक के जरिए आतंकियों के कैंपों को तहस-नहस करके गौरवपूर्ण काम किया है। इसके लिए देश के प्रधानमंत्री एवं सेना बधाई की पात्र है। मुंबई विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. संजय देशमुख ने कहा कि भारत को गर्व है कि उसके यहां राजेन्द्र चोल और शिवाजी महाराज जैसे वीर हुए। राज्यपाल डॉ. राव ने श्री तरुण विजय को धन्यवाद दिया और कहा कि तमिल में जो गौरवशाली प्रतीक हैं, उन्हें ऐसे कार्यक्रमों से देश के अन्य भागों में लाने के इस अभियान की मैं सराहना करता हूं। इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री फडणवीस ने कहा कि भारत हमेशा एक समुद्री शक्ति था। लेकिन एक समय में इसकी उपेक्षा हुई और 2008 में मुंबई हमला इसका उदाहरण है। इसलिए एक बार फिर समद्री शक्ति को और मजबूती देने के लिए चोलों के महान नौसैनिक साम्राज्य की यादों को पुनर्जीवित करने की जरूरत है। प्रतिनिधि
श्रद्धाञ्जलि
गत 4 अक्तूबर को बंगलुरू में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के वरिष्ठ कार्यकर्ता श्री के.गोपीनाथ का निधन हो गया। वे रा.स्व.संघ के ज्येष्ठ प्रचारक श्री के. सूर्यनारायण राव, अखिल भारतीय राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ के श्री के. नरहरि एवं राष्ट्र सेविका समिति की वरिष्ठ पदाधिकारी रुक्मणी अक्का के छोटे भाई थे। वह संघ के साथ 1948 से जुड़े। वे कर्नाटक में जनसंघ के राज्य कोषाध्यक्ष रहे। आपातकाल के समय वे श्री लाल कृष्ण आडवाणी के करीबियों में से एक थे क्योंकि जब बंगलुरू केंद्रीय जेल में थे तब उनके जरिए ही कोई भी संदेश आडवाणी जी तक पहुंचता था। परम पूज्य श्री गुरुजी एवं श्री अटल बिहारी वाजपेयी के साथ भी उनके निकट संबंध रहे। रा.स्व.संघ के सहसरकार्यवाह श्री दत्तात्रेय होसबाले, अखिल भारतीय व्यवस्था प्रमुख श्री मंगेश भेंडे, अखिल भारतीय सह बौद्धिक प्रमुख श्री सीआर.मुकुंदा एवं क्षेत्रीय संघचालक श्री वी.नागराज ने उनके निधन पर संवेदना व्यक्त की। प्रतिनिधि
छोटी-छोटी बातें देश की प्रगति में सहायक
देश में व्याप्त आतंरिक समस्याएं व प्रखर देशभक्ति का अभाव राष्ट्र के लिए सबसे बड़ा संकट है। यह बात राष्ट्र सेविका समिति की अखिल भारतीय महाविद्यालयीन तरुणी प्रमुख सुश्री भाग्यश्री साठ्ये ने कही। वे जयपुर में रामबाग स्थित एसएस जैन सुबोध महाविद्यालय में राष्ट्र सेविका समिति की ओर से आयोजित 'दैनिक जीवन में देशभक्ति' विषय पर व्याख्यान कार्यक्रम को संबोधित करते हुए बोल रही थीं। उन्होंने कहा कि अपने आस-पास स्वच्छता, यातायात नियमों का पालन, पर्यावरण संतुलन, राष्ट्रीय धरोहर की रक्षा, ऐतिहासिक महापुरुषों की जीवनी को मार्गदर्शक बनाकर हम देश की आतंरिक व्यवस्था को सुचारू रूप से चला सकेंगे। इससे विभिन्न समस्याओं और चुनौतियों का समाधान किया जा सकता है। कार्यक्रम की शुरुआत में महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो. के.बी. शर्मा ने मुख्य वक्ता का स्वागत किया। सभी लोगों का अंत में संयोजिका डॉ. मधु शर्मा ने आभार ज्ञापित किया। ल्ल प्रतिनिधि
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